लक्ष्य सेन ने ओलंपिक में रचा इतिहास, बैडमिंटन मेंस सिंगल्स के सेमीफाइनल में पहुंचने वाले पहले भारतीय बने
- भारतीय शटलर लक्ष्य सेन ने चीनी ताइपे के चोउ टिएन चेन को 2-1 से हराकर ओलंपिक में इतिहास रच दिया। वे भारत के पहले खिलाड़ी बन गए, जिन्होंने बैडमिंटन मेंस सिंगल्स के सेमीफाइनल में प्रवेश किया है।
भारत के स्टार शटलर लक्ष्य सेन ने पेरिस ओलंपिक 2024 के बैडमिंटन के मेंस सिंगल्स इवेंट के सेमीफाइनल में प्रवेश करते ही इतिहास रच दिया। लक्ष्य सेन ओलंपिक में बैडमिंटन के मेंस सिंगल्स का क्वॉर्टर फाइनल जीतने वाले पहले भारतीय खिलाड़ी बन गए हैं। सेमीफाइनल में पहुंचने के लिए उन्होंने चीनी ताइपे के दिग्गज खिलाड़ी चोउ टिएन चेन को हराकर ये उपलब्धि हासिल की है। भारत के कई खिलाड़ी ओलंपिक खेलों में बैडमिंटन में मेंस सिंगल्स के क्वॉर्टर फाइनल तक पहुंचे, लेकिन ऐसा पहली बार था, जब किसी पुरुष खिलाड़ी ने इसे जीता।
चीनी ताइपे के चोउ टिएन चेन के खिलाफ लक्ष्य सेन ने पहला गेम 21-19 के करीबी अंतर से गंवाया था। हालांकि, अगले ही गेम में उन्होंने वापसी करते हुए टिएन चेन को 21-15 से करारी शिकस्त देकर उसके हौसले पस्त किए थे। वहीं, अगले गेम में उन्होंने लगभग एकतरफा जीत दर्ज की। लक्ष्य सेन ने तीसरा गेम 21-12 के अंतर से जीता और सेमीफाइनल का टिकट हासिल किया। राउंड 16 का मैच उनके लिए कठिन था, क्योंकि लक्ष्य के सामने उनके ही हमवतन एसएच प्रणय थे। एसएच प्रणय को लक्ष्य सेन ने 2-0 से करारी शिकस्त देकर क्वॉर्टर फाइनल में जगह बनाई थी।
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उत्तराखंड के अल्मोड़ा के रहने वाले लक्ष्य सेन महज 22 साल के हैं। उन्होंने 2021 वर्ल्ड चैंपियनशिप में ब्रॉन्ज मेडल जीता था। वहीं, 2022 कॉमनवेल्थ गेम्स में वे गोल्ड मेडल जीत चुके हैं। इसके अलावा उसी इवेंट में वे मिक्स्ड टीम के तौर पर सिल्वर मेडल भी अपने नाम कर चुके हैं। एशियन गेम्स 2022 में उनको सिल्वर मेडल मिला था। इसके अलावा भी उनके नाम कई मेडल हैं। अगर वे ओलंपिक खेलों में गोल्ड, सिल्वर या कांस्य पदक जीत जाते हैं तो निश्चित तौर पर वे भारत के पहले पुरुष शटलर बन जाएंगे, जिन्होंने कोई ओलंपिक मेडल जीता है।
पदक से एक जीत दूर
लक्ष्य सेन ओलंपिक मेडल से एक जीत दूर हैं। अगर वे सेमीफाइनल में जीत जाते हैं तो फिर बिना किसी अगर-मगर ये तय हो जाएगा कि वे फाइनल हारने पर भी कम से कम सिल्वर मेडल अपने नाम कर लेंगे। अगर वे सेमीफाइनल हार जाते हैं तो फिर कांस्य पदक के लिए लड़ाई लड़ेंगे और अगर उस मैच में जीत जाते हैं तो फिर कांस्य पदक अपने नाम कर लेंगे। हालांकि, लक्ष्य सेन का लक्ष्य यही होगा कि वे सेमीफाइनल जीतकर कम से कम सिल्वर मेडल पक्का करें।
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