थप्पड़बाज नरेश मीणा की रिहाई के लिए आज महापंचायत, 1 लाख लोगों के जुटने का दावा
आज रविवार के दिन नरेश मीणा की रिहाई के लिए उनके समर्थक टोंक के नगरफोर्ट में महापंचायत बुला रहे हैं। उनके समर्थकों ने दावा किया है कि इस पंचायत में करीब एक लाख लोग जुटने वाले हैं। नरेश मीणा फिलहाल जेल में बंद हैं।

आज रविवार के दिन नरेश मीणा की रिहाई के लिए उनके समर्थक टोंक के नगरफोर्ट में महापंचायत बुला रहे हैं। उनके समर्थकों ने दावा किया है कि इस पंचायत में करीब एक लाख लोग जुटने वाले हैं। नरेश मीणा फिलहाल जेल में बंद हैं। इसी साल 14 नवंबर को राजस्थान में उपचुनाव के दौरान हुए विवाद में उन्हें आरोपी पाया गया था। इस घटना के दौरान निर्दलीय चुनाव लड़ रहे नरेश मीणा ने एमसडीएम को थप्पड़ जड़ दिया था। इसके बाद कई समर्थकों सहित उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था।
सुरक्षा के किए गए कड़े इंतजाम
आज हो रही महापंचायत में बड़ी तादात में लोगों के जुटने के दावों के चलते पुलिस ने सख्ती बरतते हुए सुरक्षा से जुड़े तमाम इंतजाम किए हैं। एसपी और कलेक्टर का कहना है कि हम किसी भी सूरत में कानून व्यवस्था को बिगड़ने नहीं देंगे। कलेक्टर सोम्या झा ने बताया है कि महापंचायत की परमीशन शर्तों के साथ दी गई है। जिला कलेक्टर डॉ सौम्या झा ने जनता से अपील की है कि घबराए नहीं सभा शांति पूर्व सम्पन्न होगी. वहीं, टोंक पुलिस अधीक्षक विकास सागवान का कहना है कि सभा में आने वाले हर व्यक्ति पर रखी जाएगी. रास्तों पर जगह-जगह चेकिंग पॉइंट बनाए गए हैं. गाड़ियों के नंबर नोट करने से लेकर वीडियोग्राफी भी की जाएगी. सभा पर ड्रोन से नजर रखी जायेगी
कहां से शुरू हुआ था विवाद
13 नवंबर को राजस्थान के देवली-उनियारा सीट पर उपचुनाव थे। इस दौरान ग्रामीणों ने कई मांगें रखीं और फिर वोटिग को बहिष्कार करने की मांग रख दी। इसके बाद मामला बिगड़ने लगा, तो निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा ने बढ़ती बहस के बीच एसडीएम अमित चौधरी को थप्पड़ जड़ दिया था। इसके बाद उन्हें पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तारी के बाद हुईं आगजनी की घटनाएं
थप्पड़कांड में गिरफ्तार हुए नरेश मीणा की गिरफ्तारी के विरोध में जगह-जगह प्रदर्शन हुए। इस दौरान आगजनी की घटनाएं भी हुईं। गुस्साए समर्थकों ने उत्पात मचाते हुए टोंक-सवाईमाधोपुर नेशनल हाईवे 116 और हाईवे 148डी जाम लगा दिया। हालांकि इस बीच करीब चार घंटे की देरी से मतदान हुए और देर रात तक चले। मगर गुस्साए लोगों ने फिर बाद में आगजनी और हिंसा की वारदातों को अंजाम दिया। इसमें चौपहिया और दोपहिया वाहनों को जलाने के भी मामले सामने आए थे।
पुलिस की नाकेबंदी और चक्का जाम की अपील
बढ़ती हिंसा को देखते हुए पुलिस ने आंसू गैस के गोले भी छोड़े थे। इसके बाद बढ़ते मामले को देखते हुए पुलिस बख्तरबंद गाड़ी में बैठाकर तुरंत वहां से निकल गई थी। लेकिन पुलिस हिरासत से पहले मीणा ने करीब 20 मिनट का वीडियो जारी किया था। इसमें उन्होंने कहा था कि मैं समरावता गांव के अंदर बैठा हूं। पुलिस ने इस गांव को चारो तरफ से घेरकर नाकाबंदी कर रखी है। पुलिस किसी को गांव के अंदर आने नहीं दे रही है। मेरी आप से अपील है कि तुम सब पुलिस को घेरकर उनकी नाकेबंदी कर दो, चक्का जाम कर दो।