1/8नवरात्रि के अष्टमी और नवमी के दिन मां दुर्गा के भक्त अपने घर में कन्या पूजन करते हैं। कन्या पूजन सिर्फ एक परंपरा नहीं, बल्कि मां दुर्गा के आशीर्वाद पाने का खूबसूरत और आसान तरीका है। इस दिन छोटी-छोटी कन्याओं को मां दुर्गा का स्वरूप मानकर हलवा-काले चने का भोग प्रसाद में खिलाकर कुछ शुभ उपहार भेंट किए जाते हैं। कन्याओं को दिए जाने वाले ये उपहार आध्यात्मिक महत्व के साथ-साथ वैज्ञानिक दृष्टिकोण से भी लाभकारी होते हैं। अगर आप इस नवरात्रि घर आईं कंजकों को कोई शुभ चीज उपहार में देना चाहती हैं, तो ये नवरात्रि कन्या पूजन गिफ्ट आइडियाज आपके काम आ सकते हैं।

घर आईं छोटी-छोटी कन्याओं को आप रंग-बिरंगे कपड़े जैसे लहंगा-चोली, दुपट्टा, स्कर्ट, या सलवार-सूट गिफ्ट में दे सकते हैं। जिसके लिए आप लाल, पीला, गुलाबी या हरा रंग जैसे शुभ रंगों को पसंद कर सकते है। आध्यात्मिक दृष्टिकोण के अनुसार कन्याओं को दिए जाने वाले वस्त्र आप मां दुर्गा को अर्पित कर रहे होते हैं। यह माता के प्रति श्रद्धा और समृद्धि का प्रतीक है। जबकि बात अगर इसके पीछे छिपे वैज्ञानिक कारण की करें तो नए कपड़े पहनने से मन में सकारात्मकता और आत्मविश्वास बढ़ता है। रंग-बिरंगे कपड़े मस्तिष्क पर सकारात्मक प्रभाव डालकर मूड को बेहतर बनाते हैं।

छोटी-छोटी कंजकों को श्रृंगार करने का बड़ा शौक होता है। आप उन्हें कन्या पूजन के दौरान बिंदी, काजल, मेहंदी, चूड़ियां, हेयर क्लिप, रिबन, या छोटे गहने जैसे झुमके उपहार में दे सकते हैं। श्रृंगार सामग्री मां दुर्गा के सौंदर्य और शक्ति के रूप को दर्शाती है। वही अगर इसके पीछे का वैज्ञानिक कारण देखें तो बिंदी माथे पर लगाने से एक्यूप्रेशर बिंदु पर दबाव पड़ता है, जो तनाव कम करता है और एकाग्रता बढ़ाता है।

स्टेशनरी सामग्री को मां सरस्वती का आशीर्वाद माना जाता है, जो बुद्धि और विद्या प्रदान करती हैं। आप कन्याओं को उपहार में किताबें, कॉपियां, पेन, पेंसिल सेट, स्केच पेन, जैसी स्टेशनरी सामग्री दे सकते हैं। शैक्षिक सामग्री बच्चों में रचनात्मकता और सीखने की प्रवृत्ति को बढ़ावा देती है।

हलवा, पूरी, लड्डू, खीर, या सूखे मेवे जैसे खाद्य पदार्थ और मिठाई मां को भोग के रूप में चढ़ाए जाते हैं और कन्याओं को प्रसाद के रूप में दिए जाते हैं, जो माता की कृपा का प्रतीक है। इसके अलावा मिठाई और मेवे तुरंत ऊर्जा प्रदान करते हैं। मेवों में प्रोटीन, विटामिन, और खनिज होते हैं, जो बच्चों के शारीरिक और मानसिक विकास में सहायक हैं।

आप घर आईं कन्याओं को उपहार में छोटी राशि जैसे (11, 21, 51 रुपये) दक्षिणा के रूप में लाल कपड़े में लपेटकर दे सकते हैं। दक्षिणा कन्याओं को मां का स्वरूप मानकर दी जाती है, जो समृद्धि और सौभाग्य का प्रतीक है। इसके अलावा छोटी राशि बच्चों में वित्तीय जिम्मेदारी का भाव जगाती है। यह उन्हें बचत और खर्च के प्रति जागरूक करता है, जो मनोवैज्ञानिक रूप से सकारात्मक प्रभाव डालता है।

गुड़िया, टेडी बेयर, या उम्र के अनुसार उपयुक्त खिलौने उपहार में दिए जा सकते हैं। खिलौने कन्याओं को खुशी प्रदान करते हैं, जो मां दुर्गा की कृपा और आनंद का प्रतीक है। इससे अलग खिलौने बच्चों की रचनात्मकता और कल्पनाशीलता को भी बढ़ाते हैं। खेलने से तनाव कम होता है और मस्तिष्क का विकास होता है।

सेब, केला, अनार, नारियल, जैसे फल प्रकृति और मां दुर्गा की प्रचुरता का प्रतीक हैं। फल विशेष रूप से नारियल शुभ माना जाता है, क्योंकि यह पवित्रता और समृद्धि का प्रतीक है। जबकि अगर इसका वैज्ञानिक कारण देखें तो फल विटामिन, फाइबर, और एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होते हैं, जो बच्चों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देते हैं और रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करते हैं।
