फोटो गैलरी

Hindi Newsगुजरात: भूमि आवंटन मुद्दे पर कांग्रेस का मोदी पर निशाना

गुजरात: भूमि आवंटन मुद्दे पर कांग्रेस का मोदी पर निशाना

गुजरात की मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल की बेटी अनार पटेल से कथित रूप से करीबी कारोबारी संबंधों वाली एक कंपनी को पांच साल पहले भूमि आवंटन के गुजरात सरकार के एक फैसले से आज राजनीतिक भूचाल आ गया और...

गुजरात: भूमि आवंटन मुद्दे पर कांग्रेस का मोदी पर निशाना
एजेंसीSat, 06 Feb 2016 07:48 AM
ऐप पर पढ़ें

गुजरात की मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल की बेटी अनार पटेल से कथित रूप से करीबी कारोबारी संबंधों वाली एक कंपनी को पांच साल पहले भूमि आवंटन के गुजरात सरकार के एक फैसले से आज राजनीतिक भूचाल आ गया और कांग्रेस ने इस मामले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला बोला।

माना जाता है कि वर्ष 2010 में गुजरात सरकार ने एक रिसार्ट बनाने के लिए वल्र्डवुडस रिसाटर्स एंड रियलिटी प्राइवेट लिमिटेड को गिर बाघ अभयारण्य के पास 250 एकड़ भूमि आवंटित की। यह आवंटन 15 रूपये प्रति वर्ग मीटर या 60 हजार रूपये प्रति एकड़ की दर पर हुआ।

कांग्रेस ने मोदी पर निशाना साधा और उच्चतम न्यायालय की निगरानी में एसआईटी जांच तथा गुजरात की मुख्यमंत्री के इस्तीफे की मांग की। मोदी से इस मुद्दे पर खुद को पाक साफ साबित करने के लिए कहते हुए पार्टी ने उनसे पूछा कि अनार पटेल से कथित रूप से करीबी कारोबारी संबंध रखने वाली एक कंपनी को गिर शेर अभयारण्य के पास सरकारी जमीन आवंटित करते समय क्या उन्हें तत्कालीन राजस्व मंत्री आनंदीबेन पटेल के स्पष्ट हितों के टकराव की जानकारी थी।

वरिष्ठ कांग्रेसी नेता आनंद शर्मा ने एआईसीसी संवाददाता सम्मेलन में कहा, क्या यह आवंटन कैबिनेट के फैसले पर आधारित था और इसकी मंजूरी तत्कालीन मुख्यमंत्री ने दी थी और क्या हितों के टकराव, अगर है तो, क्या खुलासा किया गया था?

अनार पटेल ने एक फेसबुक पोस्ट में कहा, मेरा मजबूती से विश्वास है कि सामाजिक नैतिकता के साथ नीतिपरक कारोबार करना सभी का अधिकार है। अब तक मैंने जो कुछ भी किया, सही तरीके से किया।

शर्मा ने कहा कि उच्चतम न्यायालय की निगरानी वाली एसआईटी द्वारा निष्पक्ष जांच से ही सच सामने आएगा क्योंकि सीबीआई और ईडी जैसी एजेंसियों पर भरोसा नहीं किया जा सकता।

उन्होंने कहा, हम मांग करते हैं कि इस पूरे मामले की समयपाबंद तरीके से जांच के लिए उच्चतम न्यायालय की निगरानी में एक एसआईटी बनाई जाए। निष्पक्ष जांच के लिए गुजरात की मुख्यमंत्री को इस्तीफा देना चाहिए।

शर्मा ने आरोप लगाया कि इसलिए भूमि का कुल दाम केवल डेढ करोड़ रूपये रहा जबकि इस जमीन की अनुमानित बाजार कीमत करीब 50 लाख रूपये प्रति एकड़ या 250 एकड़ के लिए कुल 125 करोड़ रूपये है।

उन्होंने आरोप लगाया कि कंपनी ने इसके बाद पास की 172 एकड़ कषि योग्य भूमि खरीदी जिससे उसकी मालिकाना कुल भूमि 422 एकड़ हो गई।

इस बीच, गुजरात में सत्तारूढ़ भाजपा ने मुख्यमंत्री के समर्थन में उतरते हुए कहा कि उन पर कांग्रेस द्वारा लगाए गए आरोप झूठे और मनगढंत हैं।

भाजपा ने कहा कि जब भूमि आवंटन हुआ था तब आनंदीबेन की बेटी पूरे परिदृश्य में नहीं थी। उन्होंने कहा कि मुख्य विपक्षी दल के पास भूमि आवंटन में कथित अनियमितताएं साबित करने के कोई सबूत नहीं हैं।

अहमदाबाद में एक बयान में प्रदेश भाजपा प्रवक्ता आईके जडेजा ने कहा कि ये आरोप कांग्रेस द्वारा गैरजरूरी तरीके से मुख्यमंत्री और उनकी बेटी को इस मामले में घसीटने तथा उनकी सार्वजनिक छवि खराब करने का जघन्य प्रयास हैं।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें