डेट फंड
वर्तमान परिदृश्य में व्यक्तिगत निवेशकों के मन में डेट फंड में निवेश को लेकर काफी संशय हैं। कई व्यक्तिगत निवेशकों का मानना होता है कि डेट फंड्स में निवेश करना फिक्स्ड इनकम इनवेस्टमेंट में निवेश करने...
वर्तमान परिदृश्य में व्यक्तिगत निवेशकों के मन में डेट फंड में निवेश को लेकर काफी संशय हैं। कई व्यक्तिगत निवेशकों का मानना होता है कि डेट फंड्स में निवेश करना फिक्स्ड इनकम इनवेस्टमेंट में निवेश करने जैसा होता है। लेकिन अगर आप डेट फंड में निवेश करने के बारे में सोच रहे हैं, तो इसकी प्रकृति और कुछ महत्वपूर्ण बातों को समझना जरूरी है।
वर्तमान में अगर आप डेट फंड में निवेश करने के बारे में सोच रहे हैं, तो शॉर्ट टर्म में निवेश करना बेहतर साबित होगा।
ज्यादातर निवेशक डेट फंड में लांग टर्म के लिए निवेश करते हैं और बैंक डिपॉजिट, पीपीएफ की तरह इसकी फिक्र करना छोड़ देते हैं, लेकिन ये सही कदम है।
किसी व्यक्तिगत निवेशक को डेट फंड में निवेश करने से पहले ये समझने की जरूरत है कि इन फंड में लांग टर्म निवेश कर देने से आप बेहतर फायदे की उम्मीद नहीं कर सकते। इसलिए इन फंड्स को एफडी का बेहतर विकल्प मानना सही नहीं होगा।
अगर आंकड़ों के आधार पर बात करें तो पिछले तीन वर्षो में डेट फंड ने औसतन 6 से 8.5 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। इसमें कोई दोराय नहीं कि डेट फंड बैंक डिपॉजिट की तुलना में टैक्स बचाने का अच्छा माध्यम है।
जहां तक डेट फंड की बात है, तो ब्याज दरों में अस्थिरता के दौरान इनमें शॉर्ट टर्म में निवेश करना बेहतर है और अगर ब्याज दरें गिर रही है तब इनमें लांग टर्म में निवेश करना बेहतर विकल्प होगा।