धमकी देने के बाद पलटी सपा
सपाध्यक्ष मुलायम सिंह की गर्जना के बाद पार्टी के सरकार में शामिल होने की अटकलें एक बार फिर जोर पकड़ने लगी हैं। मुलायम के विपक्ष में बैठने की धमकी के बाद अमर सिंह ने दावा किया कि प्रधानमंत्री डा....
सपाध्यक्ष मुलायम सिंह की गर्जना के बाद पार्टी के सरकार में शामिल होने की अटकलें एक बार फिर जोर पकड़ने लगी हैं। मुलायम के विपक्ष में बैठने की धमकी के बाद अमर सिंह ने दावा किया कि प्रधानमंत्री डा. मनमोहन सिंह ने उन्हें फोन किया। इसके बाद अमर सिंह ने देर शाम मुलायम के बयान पर सफाई पेश कर कहा कि उन्होंने सिर्फ कांग्रेस के समर्थन नहीं लेने पर विपक्ष में बैठने की बात कही थी। अब पीएम से बातचीत के बाद पार्टी अपने समर्थन के फैसले पर कायम है। सपा के समर्थन लेने की बाबत कांग्रेस ने अभी पत्ते नहीं खोले हैं। लेकिन सपा ने रविवार को संसदीय बोर्ड की बैठक कर यूपीए सरकार को बिन मांगे समर्थन देने का ऐलान कर दिया था। इसके बाद रविवार को देर शाम मुलायम और अमर पीएम से मिले थे। इस पर कांग्रेस नेताओं की तरफ से यह कहा जाने लगा था कि वे सरकार में शामिल होने की इच्छुक हैं। इन बयानों से मुलायम बेहद खफा हुए। सोमवार को यादव ने मैनपुरी में कहा कि यदि कांग्रेस को उनके रचनात्मक समर्थन की जरूरत नहीं है तो वे विपक्ष में बैठने को तैयार हैं। देर शाम बुलाई प्रेस कांफ्रेस में अमर सिंह ने दावा किया कि थोड़ी देर पहले प्रधानमंत्री डा. मनमोहन सिंह उन्हें फोन किया। पीएम ने उनसे कहा कि सपा के समर्थन की जरूरत नहीं होने की बाबत जिन कांग्रेस नेताओं के बयान आ रहे हैं, वे इसके लिए अधिकृत नहीं हैं। पीएम ने कहा कि उन्होंने कमलनाथ के बयान की बाबत संप्रगध्यक्ष सोनिया गांधी से भी बात की है। श्रीमती गांधी ने कहा कि अब कोई भी नेता सपा के समर्थन की बाबत बयान नहीं देगा। इसके अलावा पीएम ने यह भी कहा कि परमाणु समझौता कराने के लिए उनकी सरकार बचाकर सपा ने जो योगदान दिया, इतिहास उसे कभी नहीं भूलेगा। सिंह ने कहा कि राहुल गांधी से भी उनकी बात हुई है। राहुल ने इन बयानों की बाबत कहा कि कुछ नेताओं को ज्यादा बोलने की आदत हो गई है। बहरहाल, सिंह ने कहा कि उनका समर्थन यूपीए को है। उन्होंने कोई शर्त नहीं रखी है लेकिन वे चाहेंगे कि यूपीए-सपा कोआर्डिनेशन कमेटी तरह इस समर्थन की बाबत भी कोई मैकेनिज्म यूपीए और सपा के बीच होना चाहिए। उन्होंने कांग्रेस बयानबाजी करने वाले कांग्रेस नेताओं दिग्विजय सिंह, राजीव शुक्ला एवं कमलनाथ को भी आड़े हाथों लिया।