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Hindi News नहीं लागू होगी प्रदेश में पूर्ण नशाबंदी सरकार ने विपक्ष की माँग ठुकराई

नहीं लागू होगी प्रदेश में पूर्ण नशाबंदी सरकार ने विपक्ष की माँग ठुकराई

प्रदेश सरकार ने मंगलवार को विपक्ष की उत्तर प्रदेश में पूर्ण नशाबंदी की माँग को ठुकरा दिया। आबकारी विभाग के बजट पर बहस का जवाब देते हुए आबकारी मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि हरियाणा और आंध्र...

 नहीं लागू होगी प्रदेश में पूर्ण नशाबंदी सरकार ने विपक्ष की माँग ठुकराई
लाइव हिन्दुस्तान टीमSun, 15 Mar 2009 01:00 PM
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प्रदेश सरकार ने मंगलवार को विपक्ष की उत्तर प्रदेश में पूर्ण नशाबंदी की माँग को ठुकरा दिया। आबकारी विभाग के बजट पर बहस का जवाब देते हुए आबकारी मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि हरियाणा और आंध्र प्रदेश आदि राज्यों में पूर्ण नशाबंदी सफल नहीं हुई। पूर्ण नशाबंदी के समय इन राज्यों में घर-घर अवैध शराब बनने लगी और जिससे सैकड़ों लोग उसे पीने से मरे। इस बीच कैबिनेट वाई सकरुलेशन से आबकारी नीति को हरी झंडी दे दी गई है। इससे देशी-विदेशी शराब महँगी हो जाएगी। नीति के तहत दुकानों के आवंटन की पुरानी व्यवस्था बहाल रहेगी।ड्ढr उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने वर्ष-2008-0े लिए 5,040 करोड़ का आबकारी राजस्व प्राप्ति लक्ष्य रखा है। चालू वित्तीय वर्ष में विभाग ने फरवरी तक 384 करोड़ रुपए लक्ष्य से अधिक हासिल किया है। उन्होंने कहा कि यूपी के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है कि तीन बार राजस्व प्राप्ति लक्ष्य को बढ़ाया गया है। छापों से अवैध शराब की तस्करी पर रोक लगी है। इससे शराब की बिक्री बढ़ी है। जहरीली शराब से लखनऊ के कैसरबाग सहित पूरे प्रदेश में पूर्व सरकार में जहाँ 61 लोग मारे गए थे, वहीं वर्तमान सरकार में एक भी व्यक्ित नहीं मरा है।ड्ढr ेश्री सिद्दीकी ने विभाग में स्टाफ की कमी स्वीकारते हुए इसके सुदृढ़ीकरण की बात कही। उन्होंने कहा कि धार्मिक स्थानों और स्कूलों से सौ मीटर के आसपास की शराब दुकानों के बारे मंे पता करके उन्हें हटाया जाएगा। डिस्टलरियों में ठेके पर तैनात कर्मियों को नियमित करने पर विचार किया जाएगा। कटौती पेश करते हुए भाजपा के उदयभान करवरिया ने आरोप लगाया कि अभी तक आबकारी नीति घोषित नहीं की गई है। पाँच-छह साल से एक ही नीति दुकानों के नवीनीकरणड्ढr की चली आ रही है। यदि इस बार भी ऐसा किया गया तो शराब माफिया को बढ़ावा मिलेगा।ड्ढr उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि ब्लू वाटर कंपनी ने सुगर फेडरेशन के साथ मिलकर चेकिंग में बिना होलोग्राम के एक भी बोतल पाए जाने की शिकायत नहीं की है। उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि इस कंपनी के ही लोग अंतरराज्यीय स्तर पर तस्करी करते थे, क्योंकि अब तस्करी के मुकदमे दर्ज नहीं हो रहे हैं। मंत्री ने अपने जवाब में कंपनी पर लगाए गए इस आरोप को गलत बताया। बहस के बाद आबकारी का बजट पारित हो गया। जबकि खेल विभाग और प्रशासनिक सुधार विभाग का बजट बिना बहस के पारित हो गया।

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