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मंदी से निपटेगी ओबामा की आर्थिक टीम

अमेरिका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति बराक ओबामा ने दुनिया के सबसे शक्ितशाली देश अमेरिका को आर्थिक महा मंदी के गर्त से निकालने की दिशा में पहला कदम उठाते हुए अपनी वित्तीय टीम की घोषणा कर दी है। ओबामा और...

 मंदी से निपटेगी ओबामा की आर्थिक टीम
लाइव हिन्दुस्तान टीमSun, 15 Mar 2009 01:00 PM
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अमेरिका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति बराक ओबामा ने दुनिया के सबसे शक्ितशाली देश अमेरिका को आर्थिक महा मंदी के गर्त से निकालने की दिशा में पहला कदम उठाते हुए अपनी वित्तीय टीम की घोषणा कर दी है। ओबामा और डेमोक्रेट्स सात सौ अरब डालर के एक नये वित्तीय पैकेा की बड़ी योजना बना रहे हैं जो अगले दो सालों में दी जा सकती है। अगले वर्ष 20 जनवरी को सत्ता की बागडोर संभालने वाले ओबामा ने अपनी वित्तीय टीम की घोषणा भारतीय समय के अनुसार बीती रात बारह बजे एक संवाददाता सम्मेलन में की। मंदी की मार से जूझ रही सारी दुनिया की नजर उनकी इस टीम पर लगी हुई थी। यही टीम देश की आर्थिक नीतियों को नई दिशा प्रदान करेगी। ओबामा ने न्यूयार्क फेडरल रिजर्व बैंक के अध्यक्ष 47 वर्षीय टी. गेथनर को वित्त मंत्री तथा 53 वर्षीय लारेंस समर्स को नेशनल इकोनोमिक काउंसिल का निदेशक बनाने की घोषणा की है। समर्स पूर्व राष्ट्रपति बिल क्िलंटन की सरकार में वित्त मंत्री रह चुके हैं। गेथनर की नियुक्ित की खबर लीक होने के बाद शुक्रवार अमेरिकी शेयर बाजार में इसका सकारात्मक असर देखा गया। सोमवार को प्रकाशित वाशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक न्यू जर्सी के गवर्नर जॉन कॉरािन, ओबामा के सलाहकार व हार्वर्ड अर्थशास्त्री लॉरंस एच. समर्स ने सात सौ अरब डालर के नए पैकेा की संभावना जताई है। ओबामा के सलाहकार व पूर्व क्िलंटन प्रशासन में श्रम मंत्री रह चुके राबर्ट रीच और डेमोक्रेट सीनेटर चार्ल्स ई. शूमेर भी पांच सौ से सात सौ अरब डालर के पैकेा के पक्ष में हैं। यदि यह राशि स्वीकृत हो जाती है तो यह देश की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए निर्मित सबसे बड़े सार्वजनिक कार्यक्रमों में से एक होगी। अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव के परिणाम घोषित होने के बाद से आर्थिक संकट और अधिक गहराया है। आटो कंपनियों की हालत पतली है, बेरोजगारी दिनों दिन बढ़ रही है और देश के एक बड़े बैंक सिटी बैंक को सरकार की शरण में आना पड़ा है। प्रिन्सटन विश्वविद्यालय में प्रोफेसर जूलियन जेलिजर ने कहा कि अमेरिका की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है। यह अर्थव्यवस्था के लिए वास्तव में बहुत खतरनाक समय है। ऐसा लगता है कि इस पर किसी का नियंत्रण नहीं है। लोग अब ओबामा से यह उम्मीद लगा रहे हैं कि वह पता लगाएं कि अगले कुछ महीनों में क्या होने वाला है। चुनाव में जीत के बाद ओबामा ने आमतौर पर चुप्पी सी ही साधी हुई है उन्होंने अब तक केवल एक संक्षिप्त संवाददाता सम्मेलन ही बुलाया है। लेकिन अब वित्तीय टीम की घोषणा कर उन्होंने जता दिया है कि देश को आर्थिक संकट से निजात दिलाना उनकी प्राथमिकता है।

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