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दीक्षांत में तीन और टॉपर्स के गोल्ड मेडल पर रोक

कार्यालय संवाददाता वाराणसी। सम्पूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में जांच के बाद तीन और टॉपर्स के गोल्ड मेडल पर रोक लगा दी गयी है। तीनों टॉपर्स विश्वविद्यालय के कर्मचारियों के परिजन हैं। 8 दिसम्बर को...

दीक्षांत में तीन और टॉपर्स के गोल्ड मेडल पर रोक
Wed, 07 Dec 2011 12:04 AM
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कार्यालय संवाददाता वाराणसी। सम्पूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में जांच के बाद तीन और टॉपर्स के गोल्ड मेडल पर रोक लगा दी गयी है। तीनों टॉपर्स विश्वविद्यालय के कर्मचारियों के परिजन हैं। 8 दिसम्बर को होने वाले दीक्षांत समारोह में अब इनको स्वर्ण पदक नहीं दिया जायेगा।वर्ष 2011 की परीक्षा में ज्योतिष विभाग में आचार्य के टॉपर सुधाकर शुक्ल को इस साल दीक्षांत समारोह में फिलहाल स्वर्ण पदक नहीं दिया जायेगा। सुधाकर विश्वविद्यालय के शिक्षके पुत्र हैं।

इसी तरह 2010 की परीक्षा में साहित्य विभाग में आचार्य में टॉप करने वाली दो छात्राओं के भी पदक रोक दिये गए हैं। दोनों के अंक बराबर हैं। इनमें से एक छात्रा शिक्षक की पुत्री है दूसरी एक कर्मचारी की बहन। दोनों ही विश्वविद्यालयकर्मी परीक्षा प्रक्रिया से जुड़े रहे हैं। नियमों के मुताबिक अगर उनका कोई निकटवर्ती परीक्षा दे रहा है तो उन्हें इसकी सूचना विवि प्रशासन को देकर परीक्षा कार्यो से अलग रहना चाहिए। कुलपति प्रो.बिन्दा प्रसाद मिश्र ने बताया है कि तीनों मामले में किसी न किसी प्रकार की अनियमितता मिली है। जिसकी जांच चल रही। जांच में चाहे शिक्षक दोषी मिला या कर्मचारी उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। यह कृत्य विश्वविद्यालय की साख गिराने वाला है। साथ ही इससे मेधावी छात्रों के साथ धोखा हुआ है।

अनियमितता के मामले में दो दिन पहले दो कोर्स के टॉपर्स में एक का मेडल निरस्त और दूसरे के मेडल पर रोक लगायी गयी है। अब तक कुल पांच मेडल की पात्रता पर सवाल उठ चुका है। विश्वविद्यालय के इतिहास में पहली बार स्वर्ण पदक प्राप्त करने वाले छात्रों के सूची इतनी सघनता से जांच की गई है। दोनों सत्रों को मिलाकर 56 छात्रों को 110 पदक वितरित किये जायेंगे।

डिग्रियों को मिली मंजूरी इससे पहले विद्यापरिषद और कार्यपरिषद की अलग-अलग बैठकों में सत्र 2010 और 2011 की डिग्रियों को मंजूरी दी गई। दीक्षांत समारोह का अनुमोदन किया गया। यह भी तय हुआ कि प्रायोजित स्वर्ण पदक के लिए संस्था या व्यक्ति को 40,000 रुपये जमा करने होंगे। बाजार भाव को देखते हुए यह धनराशि और बढ़ सकती है। अभी तक यह पांच हजार रुपये निर्धारित है।

दूसरी ओर विवि परिसर में दीक्षांत समारोह की तैयारियों को अंतिम रूप दिया। बुधवार को नाटक के मंचन के बाद दीक्षांत समारोह का रिहर्सल होगा।

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