एआईटीए ने दूसरे दर्जे की टीम चुनी
एआईटीए को दक्षिण कोरिया के खिलाफ डेविस कप मुकाबले के लिए कमजोर टीम चुनने को बाध्य होना पड़ा क्योंकि आठ बागी खिलाड़ियों ने खुद को उपलब्ध रखने से इनकार कर दिया...
अखिल भारतीय टेनिस संघ (एआईटीए) को दक्षिण कोरिया के खिलाफ डेविस कप मुकाबले के लिए कमजोर टीम चुनने को बाध्य होना पड़ा क्योंकि आठ बागी खिलाड़ियों ने खुद को उपलब्ध रखने से इनकार कर दिया था।
एक से तीन फरवरी तक होने वाले मुकाबले में खुद को उपलब्ध रखने के लिए बागी खिलाड़ियों को आज तक का समय दिया गया था लेकिन इनमें से किसी ने अपना रुख नहीं बदला। एआईटीए की चयन समिति ने यहां बैठक करके टीम का चयन किया जिसमें लिएंडर पेस के रूप में एकमात्र सीनियर खिलाड़ी है।
दुनिया में 517वीं एकल रैंकिंग वाले वीएम रंजीत के अलावा विजयंत मलिक (542) और पूरव राजा (युगल में 155 रैंकिंग) टीम के अन्य सदस्य हैं। एसपी मिश्र टीम के गैरखिलाड़ी कप्तान होंगे जबकि जीशान अली कोच की जिम्मेदारी संभालेंगे।
बागी खिलाड़ी चाहते थे कि मिश्रा को गैर खिलाड़ी कप्तान के रूप में हटाया जाए और साथ ही वह नया कोच चाहते थे। उनकी मांगों में इनामी राशि में अधिक हिस्सा और विमान यात्रा के दौरान बेहतर सुविधाएं शामिल थे।
चयन समिति के अध्यक्ष अनिल धूपर ने प्रेस कांफ्रेंस में टीम की घोषणा की जहां एआईटीए के सीनियर अधिकारियों ने संघ के रुख के बारे में बताया और खिलाड़ियों के बहिष्कार को अनुचित करार दिया।
एआईटीए के अधिकारियों ने दावा किया कि भारतीय खिलाड़ियों को पूरे एशियाई क्षेत्र में सर्वश्रेष्ठ भुगतान किया जाता है और उन्होंने अपने इस दावे के समर्थन में कुछ सीनियर खिलाड़ियों को होने वाले वित्तीय भुगतान का ब्यौरा भी पेश किया।
भारत ने अपने पिछले डेविस कप मुकाबले में युकी भांबरी, विष्णु वर्धन, दिविज शरण और सनम सिंह जैसे युवा खिलाड़ियों की मौजूदगी में न्यूजीलैंड को 5-0 से हराया था। सोमदेव देववर्मन, महेश भूपति और रोहन बोपन्ना जैसे स्टार खिलाड़ी इस मुकाबले में नहीं खेले थे।