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परमाणु अप्रसार पर भारत-यूएस एक साथ

आेबामा प्रशासन भारत-अमेरिका असैन्य परमाणु करार के आधार पर दुनिया में परमाणु अप्रसार कार्यक्रमों को मजबूती देने के लिए भारत के साथ काम करने को इच्छुक है। अमेरिका के उप विदेश मंत्री जेम्स स्टेनबर्ग...

 परमाणु अप्रसार पर भारत-यूएस एक साथ
लाइव हिन्दुस्तान टीमSun, 15 Mar 2009 01:00 PM
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आेबामा प्रशासन भारत-अमेरिका असैन्य परमाणु करार के आधार पर दुनिया में परमाणु अप्रसार कार्यक्रमों को मजबूती देने के लिए भारत के साथ काम करने को इच्छुक है। अमेरिका के उप विदेश मंत्री जेम्स स्टेनबर्ग ने सोमवार को बुकिंग्स संस्थान में कहा कि भारत और अमेरिका के बीच परमाणु करार की वजह से नई दिल्ली को परमाणु तकनीक आयात करने की अनुमति मिल गई है, जिसपर पिछले 33 वषर्ों पर पाबंदी थी। इस करार के बाद दोनों देशों को परमाणु अप्रसार संधि (एनपीटी) प्रणाली के संबंध में मिलकर काम करने का मौका मिला है। उन्होंने कहा कि दुनिया में ऊर्जा और पर्यावरण की जरूरतें पूरी करने के मद्देनजर सुरक्षित परमाणु शक्ित के जरिए एनपीटी कार्यक्रम को और मजबूत करना अमेरिका और भारत की जिम्मेदारी है। गौरतलब है कि 45 सदस्यीय परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह के देशों के बीच भारत के साथ परमाणु व्यापार पर लगी पाबंदी हटाने के बारे में गत सितंबर में सहमति बनी थी। भारत, पाकिस्तान और इजरायल ऐसे देश हैं, जिन्होंने कभी एनपीटी पर हस्ताक्षर नहीं किए। परमाणु मसलों और जलवायु परिवर्तन पर भारत के विशेष दूत श्याम शरण ने कहा कि परमाणु करार और पाबंदी हटाने के बाद भारत को वैश्विक परमाणु परिदृश्य में सहयोगी के तौर पर मान्यता मिल गई है। उन्होंने कहा कि शुक्रिया उस असैन्य परमाणु करार का, जिसकी वजह से हम ऐसे संवेदनशील और जटिल मसलों पर बातचीत के लिए विभिन्न स्तरों पर शामिल होने के काबिल हो गए हैं। वहीं स्टेनबर्ग ने कहा कि एनपीटी में भारत और पाकिस्तान को किस तरह शामिल किया जाए यह एक अहम सवाल है।

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