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पाक को अमेरिकी मदद पर मानक तय होः शंकर

अमेरिका में भारत की राजदूत मीरा शंकर ने कहा कि भारत पाकिस्तान को मिलने वाली आर्थिक मदद का स्वागत करता है, लेकिन इस्लामाबाद को मिलने वाली अमेरिकी सुरक्षा सहायता के लिए मानक तय किए जाने चाहिए,...

पाक को अमेरिकी मदद पर मानक तय होः शंकर
एजेंसीTue, 30 Jun 2009 11:42 AM
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अमेरिका में भारत की राजदूत मीरा शंकर ने कहा कि भारत पाकिस्तान को मिलने वाली आर्थिक मदद का स्वागत करता है, लेकिन इस्लामाबाद को मिलने वाली अमेरिकी सुरक्षा सहायता के लिए मानक तय किए जाने चाहिए, ताकि धन का भारत के खिलाफ इस्तेमाल न हो।

अमेरिका में भारत की राजदूत मीरा शंकर ने कहा कि हम निश्चित तौर पर अमेरिका के इन उद्देश्यों में भागीदार हैं कि हमें अफगानिस्तान और पाकिस्तान को स्थिर बनाने तथा उन्हें स्थिरता और आधुनिकीकरण की दिशा में बढ़ाने में मदद करनी चाहिए। शंकर ने वाशिंगटन स्थित थिंक टैंक अमेरिकन एंटरप्राइज इंस्टिट्यूट द्वारा आयोजित कराई गई एक चर्चा में कहा कि भारत तथा अमेरिका का साक्षा उद्देश्य है।

शंकर ने एक सवाल के जवाब में कहा कि इस उपलब्धि को अर्जित करने के लिए हम पाकिस्तान को सहायता, खासकर आर्थिक मदद दिए जाने का समर्थन करते हैं जो बेहद जरूरी है । राजदूत ने कहा कि पाकिस्तान को मिलने वाली सुरक्षा सहायता का इस्तेमाल रक्षा उपकरण जुटाने की बजाय विद्रोह विरोधी अभियानों में होना चाहिए।

शंकर ने कहा कि यदि पाकिस्तान को दी जाने वाली सहायता के लिए मानक तय किए जाएं और प्रक्रिया में जवाबदेही तथा पारदर्शिता हो तो लक्ष्य प्राप्ति में आसानी होगी। पिछले हफ्ते अमेरिकी अधिकारियों और सांसदों के साथ बैठक के दौरान एक भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने भी यह सुनिश्चित किए जाने को कहा था कि पाकिस्तान को मिलने वाली सुरक्षा सहायता का इस्तेमाल भारत के खिलाफ पाकिस्तानी सेना के ढांचा निर्माण में नहीं होना चाहिए जैसा कि बीते समय में होता रहा है।

अमेरिकी विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन की अगले महीने होने वाली भारत यात्रा के संबंध में शंकर ने उम्मीद जताई कि इससे भारत अमेरिका संबंधों को अगले स्तर तक ले जाने के लिए दोनों देशों को एक रोडमैप की घोषणा करने का आधार मिलेगा। यह पूछे जाने पर कि क्या ईरान के साथ रिलायंस कंपनी के संबंधों का भारत अमेरिका रिश्तों पर कोई असर पड़ सकता है, शंकर ने कहा कि ऐसा नहीं होगा।

शंकर ने कहा कि रिलायंस एक निजी कंपनी है । इसलिए यह नहीं कहा जा सकता कि निजी कंपनी क्या करेगी। यह सरकारी कंपनी नहीं है, लेकिन हमारे अपने हितों के हिसाब से ईरान से भी संबंध हैं और अमेरिकी कंपनियों से भी जिनकी कुछ अनुषंगी इकाइयों के ऊर्जा क्षेत्र में ईरान से भी संबंध हैं। राजदूत ने कहा कि पाकिस्तान और ईरान ने भी गैस पाइप लाइन पर समझौता किया है जो पाकिस्तान को मिलने वाली अमेरिकी सहायता में रुकावट नहीं बन रहा।

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