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विदेशियों की पसंद बनी भारतीय कंपनियां

वक्त ने करवट ले ली है। कुछ सालों से हालात इतने बदल गए कि अब भारतीय ही देश से बहुराष्ट्रीय कंपनियों में नौकरी करने के लिए लालयित नहीं रहते। हालत यह है कि गोरे भी प्रमुख भारतीय कंपनियों में काम करने का...

 विदेशियों की पसंद बनी भारतीय कंपनियां
लाइव हिन्दुस्तान टीमSun, 15 Mar 2009 01:00 PM
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वक्त ने करवट ले ली है। कुछ सालों से हालात इतने बदल गए कि अब भारतीय ही देश से बहुराष्ट्रीय कंपनियों में नौकरी करने के लिए लालयित नहीं रहते। हालत यह है कि गोरे भी प्रमुख भारतीय कंपनियों में काम करने का कोई भी मौका नहीं छोड़ रहे। आईटी क्षेत्र की मशहूर कंपनियों जैसे इफोसिस, विप्रो,टीसीएस, सत्यम वगैरह में बहुत बड़ी तादाद में विदेशी नौकरी कर रहे हैं। इनमें नौकरी करना इनकी पहली पसंद है। इनकी संख्या और भी बढ़ेगी क्योंकि भारतीय आईटी कंपनियां अपने कारोबार को तेजी से आगे बढ़ा रही हैं। इन्फ्रास्ट्रक्चर, होटल, आटोमोबाइल समेत अन्य बहुत से क्षेत्रों में भी विदेशी आ रहे हैं। इंफोसिस के प्रबंध निदेशक एस. चन्द्रशेखर ने हाल ही में अपनी कंपनी के नतीजों का एलान करते हुए घोषणा भी की थी कि वे आईटी पेशेवरों की खोज में अमेरिकी विश्वविद्यालयों में भी जाएंगे। विदेशी भारत और भारत से बाहर भारतीय कम्पनियों में काम कर रहे हैं। भारत में बैंगलूर, गुड़गांव, हैदराबाद, चेन्नई वगैरह शहरों में सर्वाधिक विदेशी काम कर रहे हैं। जानकारों का कहना है कि होटल क्षेत्र में भी काफी विदेशी काम कर रहे हैं। एक मोटे अनुमान के अनुसार, भारतीय कंपनियों में फिलहाल करीब 30 हजार से भी अधिक विदेशी पेशेवर काम कर रहे हैं। आईटी क्षेत्र की चार बड़ी कंपनियों क्रमश: इंफोसिस, विप्रो, सत्यम, टीसीएस में ही लगभग 10 हजार विदेशी अपनी सेवाएं दे रहे हैं इनके दुनिया के अलग-अलग देशों में स्थित दफ्तरों में। सीआईआई के शिंघाई स्थित दफ्तर में काम करने वाली शी ली ने अपनी हाल की दिल्ली यात्रा के दौरान ‘हिन्दुस्तान’ से बात करते हुए कहा था कि चीन में नौजवान भारतीय कंपनियों में काम करना चाहते हैं। इनमें वेतन और बाकी सुविधाएं दुनिया की किसी भी बेहतरीन कम्पनी से कम नहीं हैं। चीन में टीसीएस और इंफोसिस के अलावा रैनबैक्सी और वीडियोकान में भी काफी चीनी पेशेवर काम कर रहे हैं। इंफोसिस में करीब 50 देशों के नागरिक काम कर रहे हैं। इनमंे अमेरिका, रूस, सिंगापुर, चीन, हालैंड, दक्षिण अफ्रीका वगैरह शामिल हैं। कमोबेश यही स्थित बाकी प्रमुख भारीय आईटी कम्पनियों की भी हैं। होटल की दुनिया को करीब से जानने वाली रीतू धवन ने बताया कि भारत के सभी प्रमुख होटलों में विदेशी काम कर रहे हैं। इनमें चीन,ताइवान और मलेशिया के नागरिक शामिल हैं। टाटा समूह की होटल चेन ताज और बाकी कई होटलों में भी विदेशी होटल पेशेवर महत्वपूर्ण पदों पर काम कर रहे हैं।

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