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राष्ट्रपति का सांसदों से अनुरोध, आपसी सदभावना से चलाएं संसद का सत्र

आज से शुरू हुए संसद के बजट सत्र के हंगामेदार रहने की आशंकाओं के बीच राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने सभी सांसदों से अनुरोध किया कि वे सहयोग और आपसी सदभावना के साथ अपने उत्तरादायित्वों का निर्वहन करें,...

राष्ट्रपति का सांसदों से अनुरोध, आपसी सदभावना से चलाएं संसद का सत्र
लाइव हिन्दुस्तान टीमMon, 23 Feb 2015 02:47 PM
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आज से शुरू हुए संसद के बजट सत्र के हंगामेदार रहने की आशंकाओं के बीच राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने सभी सांसदों से अनुरोध किया कि वे सहयोग और आपसी सदभावना के साथ अपने उत्तरादायित्वों का निर्वहन करें, लेकिन ऐसा कोई संकेत नहीं दिया कि विवादास्पद भूमि अधिग्रहण अध्यादेश में सरकार की कोई बदलाव करने की मंशा है।

राष्ट्रपति ने हालांकि कहा कि सरकार भूमि अधिग्रहण से प्रभावित किसानों और उनके परिवारों के हितों की सुरक्षा को सर्वाधिक महत्व देती है। राष्ट्रपति ने संसद के दोनों सदनों के संयुक्त सत्र को सांबोधित करते हुए कहा कि मेरी सरकार सुचारू विधायी कार्य संचालित करने और संसद में ऐसे प्रगतिशील कानूनों को बनाने के लिए निरंतर प्रत्यनशील रहेगी जो लोगों की इच्छा और आकांक्षाओं को दर्शाते हैं।

राष्ट्रपति ने सरकार की आगामी वर्ष की योजनाओं को अपने अभिभाषण के जरिये पेश करते हुए कहा कि हमारी संसद लोकतंत्र का परम पावन स्थल है और भारत के लोगों, विशेषकर दूर दराज में रहने वाले अत्यंत निर्धन लोगों ने अपनी आशाओं और आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए इस संस्था में अटूट विश्वास दिखाया है। उन्होंने कहा कि मैं संसद के सभी सदस्यों से अनुरोध करता हूं कि वे सहयोग और आपसी सदभावना के साथ अपने उत्तरदायित्वों का निर्वहन करें। प्रत्येक नागरिक की देश प्रेम की शक्ति से हम सबको एकजुट होकर एक सशक्त और आधुनिक भारत के निर्माण के लिए कार्य करना चाहिए। एक भारत, श्रेष्ठ भारत।

राष्ट्रपति ने अपने 20 पृष्ठ के अभिभाषण में कहा, मेरी सरकार के सतत प्रयासों तथा नीतिगत पहलों के परिणामस्वरूप हमारी अर्थव्यवस्था पुन: उच्च विकास पर है। हाल के अनुमानों के अनुसार, हमारी जीडीपी 7.4 प्रतिशत की दर से वृद्धि कर रही है, जिसने भारत को विश्व में तीव्रतम गति से वृद्धि करने वाली बड़ी अर्थव्यवस्था बना दिया है। उन्होंने आगे कहा, सरकार द्वारा कई निर्णायक कदम उठाने के परिणाम स्वरूप मुद्रास्फीति विशेषकर खाद्य मुद्रास्फीति में रिकॉर्ड कमी आई है, पूंजी बाजार उंचाई के स्तर पर है तथा हमारे विदेशी मुद्रा भंडार में भी पर्याप्त वृद्धि हुई है।

अपने अभिभाषण में मुखर्जी ने आतंकवाद और वामपंथी उग्रवाद को देश की आतंरिक सुरक्षा के लिए बड़ी चुनौती बताया और कहा, मेरी सरकार इन चुनौतियों से निपटने के लिए प्रभावित लोगों एवं प्रभावित राज्यों की सरकारों के समन्वित सहयोग के साथ पूर्णत: प्रतिबद्ध है।

जम्मू कश्मीर के विस्थापितों के बारे में उन्होंने कहा कि यह विषय सरकार के एजेंडा में महत्वपूर्ण स्थान रखता है और उसने राज्य में विस्थापितों के लिए अनुकूल माहौल बनाने का प्रयास किया है। उन्होंने कहा, इसमें 60 हजार से अधिक कश्मीरी पंडित परिवारों के पुनर्वास को सुगम बनाना शामिल है और सरकार ने इस संबंध में कारगर कदम उठाये हैं, जिनमें अन्य कार्यों के साथ साथ सरकारी नौकरियों, आर्थिक अवसर और सुरक्षा उपलब्ध कराना शामिल है।

पड़ोसी देशों के साथ रिश्तों का उल्लेख करते हुए राष्ट्रपति ने कहा, यह मानते हुए कि हमारा भविष्य हमारे पड़ोस से जुड़ा हुआ है, मेरी सरकार ने पड़ोसियों के साथ हमारे संबंधों में नई जान फूंकी है और यह दक्षिण एशिया में और अधिक सहाकारिता और मेलमिलाप को बढ़ावा दे रही है। राष्ट्रपति ने साथ ही कहा, हम अपने हितों को स्पष्ट रूप से व्यक्त करते हैं और अपनी सीमाओं की रक्षा और जनता की सुरक्षा करने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं।

अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक समुदाय का उल्लेख करते हुए राष्ट्रपति ने अपने संबोधन में कहा कि समाज के अत्यंत संवेदनशील एवं वंचित वर्गों के सर्वाधिक गरीब तबके को साथ लेते हुए सबका समेकित विकास मेरी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है।

उन्होंने कहा कि सरकार ने अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक समुदाय के छात्रों के लिए चलायी जा रही छात्रवृत्ति योजनाओं को सरल बनाने पर विशेष जोर दिया है ताकि लाभार्थियों को समय से भुगतान मिल सके। उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यकों में परंपरागत कला, शिल्प के क्षेत्र में कौशल एवं प्रशिक्षण को उन्नत बनाने के लिए एक नई योजना अपग्रेडिंग द स्किल एंड ट्रेनिंग इन ट्रेडिशनल आर्ट-क्राफ्टस फार डेवेलपमेंट (उस्ताद) आरंभ की जा रही है।

अपने अभिभाषण में भाजपा के आदर्श पुरूष डॉक्टर श्यामा प्रसाद मुखर्जी को उद्धत करते हुए राष्ट्रपति ने कहा, भारत की सबसे बड़ी शक्ति इसकी समृद्ध आध्यात्मिक एवं सांस्कृति विरासत है। उन्होंने कहा, मेरी सरकार की मूल नीति है सबका साथ, सबका विकास। नौ महीने के कार्यकाल में मेरी सरकार ने हमारे देश की पूर्ण क्षमता और 125 करोड़ की बेशकीमती जनशक्ति का सदुपयोग करने की एक व्यापक कार्यनीति तैयार की है।

उन्होंने कहा,  इनमें कई क्षेत्रों में कार्रवाई तेज करने के उपाए किये गए हैं, जैसे स्वच्छता से लेकर स्मार्ट शहर बनाना, गरीबी उन्मूलन से लेकर सम्पत्ति सजन करना, कौशल विकास से लेकर अंतरिक्ष पर विजय प्राप्त करना, आबादी का फायदा लेने से लेकर राजनयिक पहल करना, व्यवसाय को आसान बनाने से लेकर नीतिगत ढांचा तैयार करना, लोगों को सशक्त बनाने से लेकर उत्तम बुनियादी सुविधाएं प्रदान करना, वित्तीय असमानता को दूर करने से लेकर देश को विनिर्माण का केंद्र बनाना, मुद्रास्फीति को रोकने से लेकर अर्थव्यवस्था को उन्नत करना, नये विचारों को बढ़ावा देने से लेकर समावेशी विकास सुनिश्चित करना, सहकारी संघवाद को बढ़ावा देने से लेकर राज्यों में स्वस्थ प्रतिस्पर्धा की भावना पैदा करना। एक अच्छी शुर्आत हो चुकी है। उज्जवल भविष्य हमारी राह देख रहा है।

प्रधानमंत्री के महत्वाकांक्षी स्वच्छता अभियान का उल्लेख करते हुए राष्ट्रपति ने कहा, मेरी सरकार के लिए स्वच्छता आस्था का विषय है। स्वच्छता का प्रत्येक व्यक्ति विशेषकर गरीबों के समग्र जीवन स्तर और स्वास्थ्य पर व्यापक प्रभाव पड़ेगा। उन्होंने कहा कि अक्टूबर 2019 तक खुले में शौच की प्रथा से मुक्त भारत का लक्ष्य प्राप्त करने के लिए स्वच्छ भारत मिशन शुरू किया गया है। सरकार ने स्वच्छ विद्यालय कार्यक्रम शुरू किया है और यह 15 अगस्त 2015 से पहले हर स्कूल में एक शौचालय बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।

राष्ट्रपति ने कहा,  मेरी सरकार यह आहवान करती है कि प्रत्येक व्यक्ति इस मिशन में सक्रिय रूप से भाग ले। मैं सभी माननीय संसद सदस्यों से यह अपील करता हूं कि वे संसद सदस्य स्थानीय विकास योजना निधि का कम से कम 50 प्रतिशत स्वच्छ भारत मिशन पर खर्च करें। साथ ही उन्होंने गरिमापूर्ण जीवन के लिए आवास को एक मूलभूत आवश्यकता बताते हुए कहा कि उनकी सरकार देश की स्वतंत्रता के 75 वर्ष पूरे होने पर मिशन हाउसिंग फार आल के तहत 2022 तक सभी परिवारों विशेष रूप से अत्यधिक गरीब परिवारों की आवास की उम्मीदों को पूरा करने के लिए अडिग हैं।

किसानों को खाद्य सुरक्षा का प्रहरी बताते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि अन्नदाता सुखी भव हमारी सभ्यता के मूलभूत सिद्धांतों में से एक है। उन्होंने कहा कि उत्पादकता और खेत की उपज में खाद की महत्वपूर्ण भूमिका को ध्यान में रखते हुए सरकार ने मदा स्वास्थ्य कार्ड स्कीम योजना प्रारंभ की है। इसके अलावा प्रत्येक गांव की सिंचाई आवश्यकता को प्रभावी ढंग से निरंतर पूरा करने के लिए प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना शुरू की जा रही है। उन्होंने बताया कि 72 अधिसूचित फूड पार्कों में संचालित यूनिटों को कम दरों पर कर्ज देने के लिए 2000 करोड़ रुपये का विशेष फंड बनाया गया है।

कुछ ऐसे दिया राष्ट्रपति ने अभिभाषण

सुबह 11:59 बजे: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का अभिभाषण समाप्त हुआ।

सुबह 11:56 बजे: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने संसद में कहा कि जन-धन योजना का काम लगभग 100 फीसदी पूरा हो चुका है और यह लक्ष्य छह माह में हासिल कर लिया गया।

सुबह 11:55 बजे: प्रणब ने कहा कि मैं सभी सांसदों से अपील करूंगा कि वे अपनी सांसद निधि का 50 फीसदी स्वच्छ भारत अभियान पर खर्च करें।

सुबह 11:54 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार की शीर्ष प्राथमिकता समावेशी विकास है, जिसमें सबसे कमजोर तबकों की प्रगति शामिल है।

सुबह 11:53 बजे: प्रणब ने कहा कि कानूनी सुधार मेरी सरकार की एक बड़ी प्राथमिकता है, जिसमें राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग का गठन भी शामिल है।

सुबह 11:52 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार घरेलू एवं अंतरराष्ट्रीय दोनों ही स्तरों पर कालेधन के सृजन को रोकने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाने को प्रतिबद्ध है।

सुबह 11:51 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार विधिवत परामर्श प्रक्रिया के साथ नदियों को परस्पर जोड़ने की परियोजना के कार्यान्वयन के प्रति पूर्णत: प्रतिबद्ध है।

सुबह 11:50 बजे: प्रणब ने कहा कि सरकार ने जम्मू कश्मीर के विस्थापित लोगों के लिए अनुकूल वातावरण बनाने का प्रयास किया है, जिसमें 60 हजार से अधिक कश्मीरी पंडित परिवारों के पुनर्वास को सुगम बनाना शामिल है।

सुबह 11:49 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार पड़ोसी देशों के साथ संबंधों में नई जांन फूंकने के साथ ही अपने हितों को स्पष्ट रूप से व्यक्त करते हुए अपनी सीमाओं की रक्षा और जनता की सुरक्षा के लिए पूरी तरह से तैयार है।

सुबह 11:48 बजे: प्रणब ने कहा कि सरकार मेक इन इंडिया पहल के तहत जहाज के डिजाइन करने की क्षमता, जहाज निर्माण और जहाज मरम्मत कार्यों को सुदृढ करेगी।

सुबह 11:47 बजे: प्रणब बोले, पेट्रोल के दाम 17 रुपये घटे हैं। सरकार ने नई पर्यटन नीति तैयार की है।

सुबह 11:38 बजे: प्रणब बोले, हाई स्पीड ट्रेन के लिए रिपोर्ट तैयार हो चुकी है।

सुबह 11:35 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि 7.4 फीसदी की जीडीपी यह साबित करती है कि हम तेजी से बढ़ती हुई अर्थव्यवस्था हैं।

सुबह 11:31 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि काले धन पर रोकथाम के लिए सरकार ने कड़े कदम उठाए हैं।

सुबह 11:27 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि कानूनी सुधार सरकार की प्राथमिकता है। सरकार में जनता की भागीदारी के लिए 'माईगॉव' पोर्टल की शुरुआत की गई है।

सुबह 11:26 बजे: राष्ट्रपति ने कहा कि कारोबार को सुगम बनाने के लिए सुविधा पोर्टल की शुरुआत की गई है।

सुबह 11:25 बजे: राष्ट्रपति बोले, 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ' योजना की शुरुआत की गई है।

सुबह 11:24 बजे: राष्ट्रपति बोले, लड़कियों की शिक्षा के लिए सुकन्या योजना शुरू की गई है।

सुबह 11:22 बजे: राष्ट्रपति बोले, दिल्ली में महिला सुरक्षा के लिए हिम्मत एप लांच किया गया है।

सुबह 11:20 बजे: प्रणब मुखर्जी ने कहा, हुनर है तो करियर है, इसलिए स्किल डेवलेपमेंट के लिए सरकार ने अलग मंत्रालय बनाया है।

सुबह 11:19 बजे: प्रणब मुखर्जी ने कहा, शिक्षा हमारी सारी प्राथमिकताओं में सबसे बड़ी प्राथमिकता।

सुबह 11:18 बजे: प्रणब मुखर्जी ने कहा कि शिक्षा के लिए हमने 'पढ़े भारत, बढ़े भारत' योजना बनाई है।

सुबह 11:16 बजे: राष्ट्रपति ने कहा, फूड पार्क के लिए दो हजार करोड़ की योजना।

सुबह 11:14 बजे: राष्ट्रपति ने कहा, जमीन अधिग्रहण में किसानों के हितों की रक्षा होगी।

सुबह 11:13 बजे: राष्ट्रपति ने कहा, हर किसी को भोजन देना मेरी सरकार की प्राथमिकता।

सुबह 11:11 बजे: मुखर्जी ने कहा, 2022 तक हर किसी को घर देना है।

सुबह 11:11 बजे: प्रणब बोले, देश के विकास के लिए स्वच्छता की अहमियत है।

सुबह 11:08 बजे: प्रणब बोले, एलपीजी सब्सिडी के लिए पहल कार्यक्रम 1 जनवरी से लागू किया गया है।

सुबह 11:07 बजे: राष्ट्रपति ने कहा, गरीबों के कल्याण के लिए मेरी सरकार काम करेगी।

सुबह 11:02 बजे: राष्ट्रपति ने कहा, उम्मीद है कि बजट सत्र में सकारात्मक काम होंगे।

सुबह 11:01 बजे: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का अभिभाषण शुरू हुआ।

सुबह 10:55 बजे: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी संसद भवन पहुंचे।

सुबह 10:44 बजे: राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी संसद के लिए रवाना हुए।

सुबह 10:40 बजे: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, मुझे पूरा यकीन है कि विपक्ष हमें सहयोग करेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विपक्ष से कहा कि बजट सत्र के दौरान सभी मुद्दों पर चर्चा का प्रयास होगा। मोदी ने कहा कि बजट सत्र किसी भी सरकार के लिए महत्वपूर्ण होता है। लोकतंत्र में चर्चा और विमर्श होना चाहिए तथा हम सकारात्मक परिणाम की उम्मीद करते हैं जो गरीबों की मदद करेगा।

सुबह 10:35 बजे: वेंकैया नायडू ने कहा, अध्यादेशों के मामले का राजनीतिकरण नहीं करना चाहिए, सरकार विपक्ष की हर आपत्ति पर चर्चा करने के लिए तैयार है।

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