कम रोचक नहीं है सिसौदिया का राजनीति में सफर
पत्रकारिता से अपने कैरियर की शुरूआत कर भ्रष्टाचार विरोधी कार्यकर्ता और अंतत: दिल्ली सरकार में मुख्यमंत्री अरिवंद केजरीवाल के बाद नंबर दो की हैसियत हासिल करने वाले मनीष सिसौदिया का यह सफर कोई कम रोचक...
पत्रकारिता से अपने कैरियर की शुरूआत कर भ्रष्टाचार विरोधी कार्यकर्ता और अंतत: दिल्ली सरकार में मुख्यमंत्री अरिवंद केजरीवाल के बाद नंबर दो की हैसियत हासिल करने वाले मनीष सिसौदिया का यह सफर कोई कम रोचक नहीं रहा है।
उप मुख्यमंत्री का पद संभालने जा रहे सिसौदिया शिक्षा, शहरी विकास और लोक निर्माण विभाग का कामकाज देखेंगे। ये ऐसे महत्वपूर्ण विभाग हैं जिनमें केंद्र के साथ लगातार संपर्क बनाए रखने की जरूरत होगी।
उत्तर प्रदेश के हापुड़ जिले के फौगाता गांव में एक अध्यापक के घर 2 फरवरी 1972 को जन्मे 43 वर्षीय मनीष सिसौदिया आप के शैक्षणिक एजेंडे को क्रियान्वित करेंगे जिसमें नए स्कूलों का निर्माण और शैक्षणिक ढांचे में विस्तार भी शामिल है।
गांधीवादी सिद्धांतों का कड़ाई से पालन करने वाले सिसौदिया को पार्टी नेता केजरीवाल की छाया के रूप में देखते हैं क्योंकि दोनों नेताओं के बीच गजब के निजी रिश्ते हैं।
सिसौदिया का टिवटर प्रोफाइल बताता है, यह तो पक्का पता नहीं कि मैं नेता हूं, कार्यकर्ता, पाठक, लेखक, पत्रकार या लेकिन मैं भारतीय हूं। मुझे गांधी पसंद हैं क्योंकि वह हमेशा अपनी खुद की पहचान से आगे रहे।
सिसौदिया ने पत्रकारिता में डिप्लोमा हासिल करने के बाद बतौर पत्रकार कैरियर शुरू किया लेकिन उन्हें सामाजिक कार्य अधिक पसंद आते थे। पहले उन्होंने अपने एनजीओ कबीर और उसके बाद केजरीवाल के साथ परिवर्तन की शुरूआत की।