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सुन्नी विद्रोहियों के मंसूबों से अमेरिका के कान खड़े

इराक में कोहराम मचा रहे आतंकी संगठन आईएसआईएस के खतरनाक मंसूबों से अमेरिका के कान खड़े हो गए हैं। ओबामा प्रशासन ने बड़े पैमाने पर खतरों के मद्देनजर कुछ विदेशी हवाईअड्डों पर सुरक्षा बढ़ाने के आदेश दिए...

सुन्नी विद्रोहियों के मंसूबों से अमेरिका के कान खड़े
लाइव हिन्दुस्तान टीमFri, 04 Jul 2014 09:59 AM
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इराक में कोहराम मचा रहे आतंकी संगठन आईएसआईएस के खतरनाक मंसूबों से अमेरिका के कान खड़े हो गए हैं। ओबामा प्रशासन ने बड़े पैमाने पर खतरों के मद्देनजर कुछ विदेशी हवाईअड्डों पर सुरक्षा बढ़ाने के आदेश दिए हैं, जहां से अमेरिका के लिए सीधी उड़ानें हैं। ओबामा प्रशासन ने संभवत: एक प्रमुख ब्रिटिश अखबार में प्रकाशित खबर के बाद यह कदम उठाया है।

अमेरिका के आंतरिक सुरक्षा मंत्री जे. जॉनसन ने इस संबंध में घोषणा की। हालांकि उन्होंने उन हवाईअड्डों के बारे में नहीं बताया। जॉनसन ने बताया कि परिवहन सुरक्षा प्रशासन (टीएसए) को अमेरिका के लिए सीधी उड़ान वाले विदेशी हवाईअड्डों पर बेहतर सुरक्षा उपाय लागू करने के निर्देश दिए गए हैं। ऐसी खबरें हैं कि आतंकी ऐसे विस्फोटक तैयार करने में लगे हैं जो हवाईअड्डे के सुरक्षा घेरे को आसानी से चकमा दे सकते हैं।

आतंरिक सुरक्षा विभाग के एक अधिकारी ने अनाम रहने की शर्त पर बताया कि खासतौर से यूरोप और मध्य एशिया के हवाईअड्डों की सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश दिए गए हैं। बहरहाल, भारत में नई दिल्ली और मुंबई हवाईअड्डों से अमेरिका के लिए सीधी उड़ानें हैं। जॉनसन ने कहा कि अमेरिका अपने सहयोगी देशों के साथ नवीनतम एवं महत्वपूर्ण सूचनाएं साझा कर रहा है और विमानन उद्योग के साथ सलाह मशवरा किया जा रहा है।

उन्होंने कहा कि इन उपायों के मद्देनजर यात्रियों की सुविधा सुनिश्चित करने की पूरी कोशिश होगी। आंतरिक सुरक्षा अधिकारी ने कहा कि यह एक संवेदनशील मामला है। इस बारे में सुरक्षा के लिहाज से अधिक जानकारी नहीं दी जा सकती है। मीडिया खबरों में कहा गया है कि अतिरिक्त सुरक्षा जांच के तहत यात्रियों के जूतों और इलेक्ट्रानिक सामानों की तलाशी भी की जा सकती है।

एयरपोर्ट की सुरक्षा बढ़ाए जाने की अमेरिकी अधिकारियों ने कोई खास वजह नहीं दी। समझा जा रहा है कि अमेरिका में चार जुलाई यानी स्वाधीनता दिवस से गर्मियों की छुट्टियां शुरू हो रही हैं। इसे देखते हुए यह कदम उठाया गया है। वहीं, रविवार को अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने एक टीवी कार्यक्रम में आशंका जताई थी कि सीरिया और इराक में जिहाद का समर्थन करने वाले यूरोपीय देशों के नागरिक बड़ा खतरा साबित हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि इनके पास यूरोपियन पासपोर्ट है, जो उन्हें बिना वीजा के अमेरिका में दाखिल होने का अधिकार प्रदान करता है।

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