कुसहा तटबंध की मरम्मत: 52 नामी कंपनियों ने दिया प्रस्ताव
ोसी नदी के टूटे कुसहा तटबंध की मरम्मत के लिए देश की 52 नामी कंपनियों ने अपना प्रस्ताव राज्य सरकार को दिया है। इसमें एचसीएल जैसी ख्यात कंपनी भी शामिल है। इन कंपनियों और एजेंसियों ने राज्य सरकार द्वारा...
ोसी नदी के टूटे कुसहा तटबंध की मरम्मत के लिए देश की 52 नामी कंपनियों ने अपना प्रस्ताव राज्य सरकार को दिया है। इसमें एचसीएल जैसी ख्यात कंपनी भी शामिल है। इन कंपनियों और एजेंसियों ने राज्य सरकार द्वारा निर्धारित मापदंड के अनुरूप निर्माण कार्य करने का भी दावा किया है। जल संसाधन विभाग ने मार्च तक कुसहा तटबंध की मरम्मत की योजना बनाई है। मार्च के बाद कोसी नदी में पानी बढ़ने लगता है। नवम्बर से फरवरी तक नदी का डिस्चार्ज सबसे कम होता है। नदी का डिस्चार्ज नवम्बर-दिसम्बर में घटकर 13 हजार क्यूसेक तक पहुंच जाता है। ऐसे में विभाग नवम्बर में हर हाल में मरम्मत कार्य शुरू कर देना चाहता है। नेपाल हिस्से में कुसहा के निकट कोसी का तटबंध 18 अगस्त को ही कट गया। हालांकि विशेषज्ञों का मानना है कि कोसी नदी ने अपनी धारा ही बदल ली और 200 वर्ष पूर्व वह जिस रास्ते से बहती थी वहीं पहुंच गई।ड्ढr ड्ढr नदी की धारा बदलने के कारण बिहार के बड़े हिस्से में बाढ़ ने जमकर कहर बरपाया। सुपौल, मधेपुरा, सहरसा, पूर्णिया और अररिया जिले में भारी तबाही हुई वहीं नेपाल के भी कई हिस्सों में बाढ़ का तांडव देखा गया। नदी का डिस्चार्ज 1.75 लाख क्यूसेक तक था। ऐसे में तटबंध की मरम्मत मुमकिन नहीं थी। राज्य सरकार ने घोषणा कर दी थी कि तटबंध मरम्मत का काम नवम्बर में ही शुरू हो पाएगा।