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फैशन का है ये जलवा

आप ट्रैंडी हैं, क्रिएटिव है, ड्राइंग में रुचि रखते हैं और देश-विदेश में फैशन को ले कर क्या चल रहा है, इस बारे में रुझान रखते हैं तो फैशन आपके लिए करियर बन सकता है। एक फैशन डिजाइनर कैसे बना जा सकता...

फैशन का है ये जलवा
लाइव हिन्दुस्तान टीमWed, 30 Mar 2011 12:02 PM
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आप ट्रैंडी हैं, क्रिएटिव है, ड्राइंग में रुचि रखते हैं और देश-विदेश में फैशन को ले कर क्या चल रहा है, इस बारे में रुझान रखते हैं तो फैशन आपके लिए करियर बन सकता है। एक फैशन डिजाइनर कैसे बना जा सकता है, इस बारे में विशेषज्ञों की राय के साथ विस्तार से बता रहे हैं शैलेन्द्र नेगी

फैशन शब्द की कल्पना करते ही कपड़ों की एक रंगीन दुनिया हमारे सामने होती है और अचानक न जाने कितने सारे बॉलीवुड सुपर स्टार्स की अच्छी-अच्छी ड्रेसेज दिमाग में हलचल पैदा कर देती हैं। लेकिन असल में इस दुनिया को इतना ग्लैमरस बनाने में हाथ है बदलती फैशन टेक्नोलॉजी का। आज जो भी फैशन के बारे में जानता है, वह मनीष मल्होत्रा, राजीव प्रताप सिंह, सत्य पॉल, ऋतु बेरी और रोहित बल जैसे नामों का दीवाना है। 

कुछ समय पहले तक लोग कपड़ों में ज्यादा रुचि नहीं दिखाते थे, लेकिन आज फैशन का जादू हमारे देशी बाजारों में भी सिर चढ़ कर बोल रहा है। इसके पीछे कई कारण जिम्मेदार हैं- लोगों की ट्रैंडी सोच और उनके अंदर अच्छे दिखने की एक ललक, जिसे अब वे खुल कर व्यक्त कर रहे हैं। लेकिन इससे भी ज्यादा महत्त्वपूर्ण है फैशन टेक्नोलॉजी की तरफ लोगों का बढ़ता रुझान। आज फैशन एक उद्योग का रूप ले चुका है। यह न सिर्फ लोगों के लिए सजने-संवरने का साधन है, बल्कि करियर के लिहाज से भी बड़ा उभरता हुआ क्षेत्र है।

क्या है फैशन डिजाइनिंग

एक फैशन डिजाइनर मार्केट के ट्रैंड सेट करने का काम करता है। अगर आप फैशन वर्ल्ड में अपना मुकाम बनाना चाहते हैं तो इसके लिए आपका क्रिएटिव होना बहुत जरूरी है। इसके साथ-साथ डिजाइनिंग भी एक महत्त्वपूर्ण एलिमेंट है।

लोगों में फैशन के प्रति बढ़ते क्रेज ने इस क्षेत्र में संभावनाओं और प्रतिस्पर्धा को और पैना कर दिया है। अगर आपको रंगों की अच्छी समझ है और आप उसे मूर्त रूप दे सकते हैं तो आप इस क्षेत्र में अपना भविष्य संवार सकते हैं।

फैशन और डिजाइन एक सिक्के के दो पहलू हैं। फैशन डिजाइनर के लिए क्रिएटिव माइंड के साथ-साथ लंबे समय तक कार्य करने की क्षमता भी होनी चाहिए। एक डिजाइनर किसी भी सामान्य से दिखने वाले व्यक्ति की पूरी पर्सनेलिटी में चार चांद लगा सकता है और उसके व्यक्तित्व को नई पहचान दिला सकता है।

फैशन इंडस्ट्री को तीन भागों में बांटा जा सकता है- लेदर डिजाइनिंग, गारमेंट डिजाइनिंग और एक्सेसरी या जूलरी डिजाइनिंग। अच्छा पोर्टफोलियो भी काफी मायने रखता है।

कैसे-कैसे कोर्स

जो छात्र फैशन डिजाइनिंग में करियर बनाने के इच्छुक हैं, उनके लिए प्रोफेशनल कोर्स करना जरूरी है। विभिन्न संस्थानों से बीएससी फैशन एंड अपेरल डिजाइनिंग, बीएससी फैशन टेक्नोलॉजी, बैचलर ऑफ डिजाइन, बैचलर ऑफ अपेरल एंड फैशन डिजाइन, बैचलर ऑफ फैशन डिजाइन, बैचलर ऑफ फैशन रिटेल मैनेजमेंट, बैचलर ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी, मास्टर ऑफ डिजाइन, मास्टर ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी, एडवांस्ड डिप्लोमा इन फैशन टेक्नोलॉजी के अलावा अन्य डिप्लोमा कोर्स भी कर सकते हैं।

ये कोर्स फैशन डिजाइनिंग की विभिन्न ब्रांचों, जैसे-गारमेंट डिजाइनिंग, लेदर डिजाइनिंग, टेक्सटाइल टेक्नोलॉजी, टेक्सटाइल डिजाइन आदि में कराए जाते हैं।

योग्यता

अगर आप फैशन डिजाइनिंग से संबंधित ग्रेजुएट प्रोग्राम में एडमिशन लेना चाहते हैं तो इसके लिए आपको किसी मान्यताप्राप्त बोर्ड से बारहवीं पास होना चाहिए, जबकि पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम में दाखिला लेने वाले छात्रों के पास जिस भी स्ट्रीम में पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा प्रोग्राम करना चाहते हैं, उससे संबंधित बैचलर डिग्री होनी चाहिए।

आयु-सीमा

दाखिले के मामले में हर संस्थान के अपने अलग-अलग मानक हैं। देश के नामी संस्थान एनआईडी में पोस्ट-ग्रेजुएट डिप्लोमा इन डिजाइन में दाखिला चाहने वाले छात्रों के लिए अधिकतम आयु सीमा 30 वर्ष और ग्रेजुएट डिप्लोमा प्रोग्राम इन डिजाइन में दाखिला चाहने वालों के लिए अधिकतम उम्र सीमा 20 वर्ष है।

कोर्स फीस

कोर्स फीस पूरी तरह से संस्थान पर ही निर्भर करती है और यह साल दर साल बदलती रहती है। एनआईडी में ग्रेजुएट डिप्लोमा प्रोग्राम इन डिजाइन कोर्स का कुल खर्च तकरीबन सवा दो लाख रुपये है, जबकि पोस्ट-ग्रेजुएट डिप्लोमा इन डिजाइन कोर्स का खर्च तकरीबन ढाई लाख रुपये है। निफ्ट से ग्रेजुएट प्रोग्राम करने पर तकरीबन ढाई लाख रुपये का खर्च और पोस्ट ग्रेजुएट प्रोग्राम करने पर तकरीबन डेढ़ से दो लाख रुपये का खर्च आता है।

नौकरी के अवसर

खुद का बिजनेस
लेदर कंपनियों, बुटीक, फैशन शो आयोजक, ज्वेलरी हाउस या मीडिया हाउस, एक्सपोर्ट हाउस, गारमेंट स्टोर चेन्स और टेक्सटाइल मिलों में जॉब
फैशन जर्नलिस्ट या फैशन पीआर
वियर प्रोडक्शन, प्लानिंग एंड कॉन्सेप्ट मैनेजमेंट, फैशन मार्केटिंग, डिजाइन प्रोडक्शन मैनेजमेंट, फैशन मीडिया, क्वालिटी कंट्रोल, फैशन एक्सेसरी डिजाइन तथा प्रमोशन ऑफ ब्रांड्स के रूप में काम किया जा सकता है। इसके अलावा भी बहुत से क्षेत्र हैं।

एजुकेशन लोन

अधिकतर नेशनलाइज्ड बैंक इस कोर्स को करने के लिए एक से लेकर चार लाख तक की राशि का लोन उपलब्ध कराते हैं। इसके लिए आपको कोर्स में एडमिशन लेने के साथ ही बैंक में संपर्क करना होगा।

प्रमुख संस्थान

नेशनल इंस्टीटय़ूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी (एनआईएफटी, नई दिल्ली)
वेबसाइट
: www.niftindia.com

नॉर्थ ईस्ट इंस्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी, गुवाहाटी
वेबसाइट
: www.neift.com

नेशनल इंस्टीटय़ूट ऑफ डिजाइन
वेबसाइट
: www.nid.edu

पर्ल एकेडमी ऑफ फैशन
वेबसाइट
: www.pearlacademy.com

गवर्नमेंट इंस्टीटय़ूट ऑफ गारमेंट टेक्नोलॉजी 
वेबसाइट:
www.punjabteched.com

द नॉर्दर्न इंडिया इंस्टीटय़ूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी, मोहाली
वेबसाइट
: www.niiftindia.com

सक्सेस स्टोरी
शांतनु सिंह
फैशन डिजाइनर

शांतनु सिंह उभरते हुए फैशन डिजाइनर हैं। 2004 में निफ्ट से फैशन डिजाइनिंग में ग्रेजुएशन कर वे फैशन के नए ट्रैंड गढ़ने में जुट गए। वैसे तो शांतनु बिहार के छोटे से जिले आरा के रहने वाले हैं, लेकिन काफी कम समय में ही उन्होंने फैशन की दुनिया में बड़ा नाम कमा लिया है। शांतनु कहते हैं कि मिडिल क्लास के लिए यह राह थोड़ी कठिन है, क्योंकि इसमें कोर्स फीस के साथ-साथ काफी धन की जरूरत होती है। लेकिन आजकल कुछ भी नामुमकिन नहीं है, क्योंकि अब प्रतिभाओं को आसानी सेएजुकेशन लोन मिल रहा है। शांतनु बचपन से ही एक फैशन डिजाइनर बनना चाहते थे। उन्हें लगता है कि एक फैशन डिजाइनर सामान्य से दिखने वाले रंगों से भी कपड़ों की एक अनोखी दुनिया रच सकता है। चाहे फैशन डिजाइनिंग के बाजार हों या या फिर एकेडमिक संस्थान, वहां ऐसे स्टुडेंट्स को ही मौका मिलता है, जो क्रिएटिव सोच के साथ कुछ नया पेश करें।

एक्सपर्ट्स व्यू
दुनिया में ब्रांड इंडिया की इमेज है
मोहम्मद शहाबुद्दीन उर्फ शा,
मशहूर फैशन डिजाइनर

शा के अनुसार एक फैशन डिजाइनर किसी व्यक्ति के लुक को अच्छे कपड़ों द्वारा बेहतर बनाता है और साथ ही उस ड्रेस को आकर्षक बनाता है, उसके लिए फैब्रिक से लेकर टेक्सचर, कलर, एक्सेसरीज आदि तक सब कुछ प्लान करता है। अब इस क्षेत्र का दायरा कपड़ों तक न रह कर काफी बढ़ गया है।

शा मानते हैं कि अगर कोई भी फैशन डिजाइनिंग के फील्ड से जुड़ना चाहता है तो उसकी पहली शर्त है अच्छी स्केचिंग और क्रिएटिविटी। इसके अलावा आर्टिस्टिक स्किल का होना भी जरूरी है। अगर आप में रंगों को समझने की कला है तो यह फील्ड आपके लिए बेहतर है। उनके अनुसार भारत में फैशन डिजाइनिंग एक उभरता हुआ प्रोफेशन है। भारत की एम्ब्रॉयडरी दुनिया की सबसे मशहूर कलाओं में से एक है और भारतीय फैशन डिजाइनर नए डिजाइनों के साथ फ्यूजन बना कर इसे दुनिया में पॉपुलर करने में लगे हैं। दूसरा कारण यह है कि हमारे यहां दस्तकारी प्रोडक्ट सस्ते और टिकाऊ हैं, जिससे दुनिया भर के बाजारों में उनकी बेतहाशा मांग है।

फैशन की दुनिया में ब्रांड इंडिया की इमेज बहुत अच्छी है, इस कारण यहां के ट्रेंड फैशन प्रोफेशनल्स की जबरदस्त मांग है। एसोचैम की रिपोर्ट का हवाला देते हुए वे कहते हैं कि भारत में फैशन डिजाइनिंग इंडस्ट्री का कारोबार वर्ष 2020 तक 750 करोड़ रुपये पहुंचने की संभावना है। अभी फैशन इंडस्ट्री का कुल कारोबार लगभग 290 करोड़ है। आने वाले समय में यह इंडस्ट्री 50 हजार से ज्यादा फैशन डिजाइनिंग प्रोफेशनल्स को अपने आप को स्थापित करने का अवसर देगी। अगर आप इस क्षेत्र में करियर बनाना चाहते हैं तो आपके लिए यह एक सुनहरा मौका है।

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