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खाद्य मुद्रास्फीति सबसे प्रमुख चिंता : आरबीआई

भारतीय रिजर्व बैंक ने कहा है कि उसकी सबसे प्रमुख नीतिगत चिंता खाद्य मुद्रास्फीति है। इस तरह की चर्चा है कि केंद्रीय बैंक मौद्रिक नीति की समीक्षा में प्रमुख दरों में बढ़ोतरी कर सकता है। भारतीय रिजर्व...

खाद्य मुद्रास्फीति सबसे प्रमुख चिंता : आरबीआई
एजेंसीTue, 29 Jun 2010 04:35 PM
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भारतीय रिजर्व बैंक ने कहा है कि उसकी सबसे प्रमुख नीतिगत चिंता खाद्य मुद्रास्फीति है। इस तरह की चर्चा है कि केंद्रीय बैंक मौद्रिक नीति की समीक्षा में प्रमुख दरों में बढ़ोतरी कर सकता है। भारतीय रिजर्व बैंक के डिप्टी गवर्नर सुबीर गोकर्ण ने मंगलवार को यहां सांख्यिकी सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि पिछले कुछ माह से सबसे बड़ी चिंता खाद्य मुद्रास्फीति रही है। यह अभी भी मैक्रो अर्थशास्त्र में केंद्रीय तत्व है। इसने महंगाई पर काबू के लिए मौद्रिक उपायों के मामले में सबसे बड़ी चुनौती खड़ी की है।

गोकर्ण ने कहा कि खाद्य वस्तुओं के दाम सिर्फ कमजोर मानसून या कम बारिश की वजह से नहीं हैं। ये सिर्फ संकेतक हैं। उन्होंने कहा कि हमें यह बात समझने की जरूरत है कि खाद्य वस्तुओं के दाम क्यों बढ़ रहे हैं। यह एक विश्लेषण का मुद्दा है। खाद्य वस्तुओं के दाम सिर्फ एक बार मानसून असफल रहने से नहीं बढ़ेंगे। यह सिर्फ एक कारण हो सकता है।

भारतीय रिजर्व बैंक के डिप्टी गवर्नर ने कहा कि बढ़ती कीमतों की वजह यह भी है कि भारतीयों का खानपान का तरीका बदल रहा है। परिवारों के खानपान के तरीके में बदलाव आ रहा है।

इस बात की काफी संभावना है कि केंद्रीय बैंक 27 जुलाई को मौद्रिक नीति की समीक्षा में प्रमुख दरों में बढ़ोतरी कर सकता है। वित्त मंत्री प्रणव मुखर्जी ने सोमवार को कहा था कि नीतिगत दरों पर निर्णय भारतीय रिजर्व बैंक का अधिकार है।

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