Hindi Newsएनसीआर न्यूज़why Court extends interim bail of liquor businessman Sameer Mahendru despite condition imposed

अदालत में जमानत बढ़ाने की मांग नहीं करने की थी शर्त, शराब घोटाले के आरोपी को फिर भी कोर्ट से क्यों मिली राहत

न्यायालय में मौजूद न्यायाधीश ने कहा कि यह दिखाने के लिए रिकॉर्ड पर कुछ भी नहीं है कि सर्जरी जानबूझकर स्थगित की गई थी या आरोपी या उसकी पत्नी की किसी गलती के कारण स्थगित करनी पड़ी थी।

Nishant Nandan भाषा, नई दिल्लीThu, 18 Jan 2024 09:30 PM
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शहर की एक अदालत ने कथित दिल्ली आबकारी शुल्क नीति घोटाले से जुड़े धन शोधन मामले में गिरफ्तार शराब व्यवसायी समीर महेंद्रू की अंतरिम जमानत बृहस्पतिवार को 22 जनवरी तक बढ़ा दी। शराब वितरक इंडोस्पिरिट के प्रबंध निदेशक महेंद्रू को उनकी पत्नी की सर्जरी के कारण अंतरिम जमानत देने वाले विशेष न्यायाधीश एम.के. नागपाल ने उनके द्वारा दायर एक आवेदन पर राहत बढ़ा दी। याचिका में दावा किया गया था कि कुछ चिकित्सीय जटिलताओं के कारण प्रक्रिया में देरी हुई है।

ED ने कहा- शर्त का उल्लंघन

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने महेंद्रू के आवेदन का विरोध करते हुए कहा कि यह अदालत द्वारा लगाई गई शर्त का उल्लंघन है कि वह पहले दी गई राहत के विस्तार की मांग नहीं करेंगे। न्यायाधीश ने कहा कि यह दिखाने के लिए रिकॉर्ड पर कुछ भी नहीं है कि सर्जरी जानबूझकर स्थगित की गई थी या आरोपी या उसकी पत्नी की किसी गलती के कारण स्थगित करनी पड़ी थी।

क्या बोले जज...

न्यायाधीश ने कहा, 'इसके अलावा, हालांकि इस अदालत ने पहले एक शर्त लगाई थी कि आवेदक उपरोक्त आधार पर अपनी अंतरिम जमानत के विस्तार की मांग नहीं करेगा, लेकिन यह शर्त यह मानते हुए लगाई गई थी कि निर्धारित तिथि पर सर्जरी की जाएगी और इस अदालत ने कभी भी इसकी उम्मीद नहीं की थी कि उपरोक्त या किसी अन्य कारण से उसे स्थगित किया जा सकता है।'

अदालत ने मामले को 22 जनवरी को आगे की कार्यवाही के लिए सूचीबद्ध किया। न्यायाधीश ने कहा, 'न्याय के हित में, इस अदालत के पांच जनवरी, 2024 के पहले के आदेश के तहत आरोपी को दी गई अंतरिम जमानत को उन्हीं नियमों और शर्तों पर तब तक बढ़ाया जा रहा है।'

समीर महेंन्द्रू पर 50 करोड़ रुपया कमाने का आरोप

इस बीच, न्यायाधीश ने सह-अभियुक्त विजय नायर द्वारा चिकित्सा आधार पर अंतरिम जमानत की मांग करने वाली अर्जी पर आदेश कल के लिए सुरक्षित रख लिया। न्यायाधीश ने अब निरस्त हो चुकी दिल्ली आबकारी शुल्क नीति की योजना और कार्यान्वयन में कथित भ्रष्टाचार और अनियमितताओं से संबंधित मामले में महेंद्रू को दो सप्ताह के लिए अंतरिम जमानत दी थी। न्यायाधीश ने कहा था कि अपनी पिछली अंतरिम जमानत अवधि के दौरान महेंद्रू ने गवाहों को प्रभावित करने या सबूतों से छेड़छाड़ करने की कोशिश नहीं की थी।

अभियोजन पक्ष के अनुसार, महेंद्रू उत्पाद शुल्क नीति के उल्लंघन के प्रमुख लाभार्थियों में से एक था क्योंकि वह न केवल एक मादक पेय विनिर्माण इकाई चला रहा था, बल्कि उसे उसके रिश्तेदारों के नाम पर थोक लाइसेंस और कुछ खुदरा लाइसेंस भी दिए गए थे। अभियोजन पक्ष ने दावा किया कि कथित अनियमितताओं और उल्लंघनों के कारण, महेंद्रू ने लगभग 50 करोड़ रुपये का लाभ कमाया

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