बुराड़ी में हुई हिन्दू महापंचायत कार्यक्रम के सिलसिले में दिल्ली पुलिस ने दर्ज कीं 3 एफआईआर, जानें वजह
दिल्ली में हुई हिन्दू महापंचायत में दिए गए कथित विवादित बयानों के मामले में दिल्ली पुलिस ने तीन एफआईआर दर्ज की हैं और कहा है कि सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा रही है।
दिल्ली के बुराड़ी मैदान में रविवार को आयोजित एक हिन्दू महापंचायत (Hindu Mahapanchayat in Burari) में दिए गए कथित विवादित बयानों के मामले में दिल्ली पुलिस ने तीन एफआईआर दर्ज की हैं और कहा है कि सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा रही है।
पहली एफआईआर पुलिस की अनुमति के बिना कार्यक्रम आयोजित करने के लिए दर्ज की गई है। पुलिस ने कार्यक्रम के आयोजक (सेव इंडिया फाउंडेशन के संस्थापक प्रीत सिंह) के खिलाफ यह एफआईआर दर्ज की है।
वहीं, दूसरी एफआईआर कार्यक्रम में मौजूद पत्रकारों के साथ कथित दुर्व्यवहार के खिलाफ दर्ज की गई है और तीसरी एफआईआर सोशल मीडिया पर गलत सूचना (अभद्र भाषा) फैलाने के लिए दर्ज की गई है।
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दिल्ली पुलिस ने एक बयान में कहा कि हिन्दू महापंचायत सभा के आयोजन की अनुमति मांगने के लिए एक अनुरोध पत्र उत्तर-पश्चिम जिले में आयोजक प्रीत सिंह, अध्यक्ष, सेव इंडिया फाउंडेशन, मंगोलपुरी, दिल्ली से प्राप्त हुआ था। उत्तर-पश्चिम जिला पुलिस द्वारा अनुरोध को इस आधार पर अस्वीकार कर दिया गया था कि आयोजक बुराड़ी ग्राउंड में इस सभा के आयोजन के लिए भू-स्वामी एजेंसी यानी डीडीए से कोई अनुमति नहीं थी।
पुलिस ने कहा कि महापंचायत के आयोजक प्रीत सिंह ने हिन्दू महापंचायत सभा की शुरुआत की, जिसमें अनुमति न होने के बावजूद लगभग 800 लोगों ने भाग लिया।
पुलिस ने अपने बयान में कहा कि डासना देवी मंदिर के महंत यति नरसिंहानंद सरस्वती और एक समाचार चैनल के एडिटर इन चीफ सुरेश च्वहाणके सहित कुछ वक्ताओं ने दो समुदायों के बीच वैमनस्य, दुश्मनी, नफरत या दुर्भावना को बढ़ावा देने वाले बयान दिए। इस संबंध में थाना मुखर्जी नगर में केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी गई है।
पुलिस को उन पत्रकारों की ओर से भी शिकायतें मिलीं जिन्होंने महापंचायत की रिपोर्टिंग के दौरान कार्यक्रम में दुर्व्यवहार और मारपीट का आरोप लगाया था।
पुलिस ने कहा कि एक न्यूज पोर्टल के दो पत्रकारों की ओर से थाना मुखर्जी नगर में एक शिकायत प्राप्त हुई थी, जो हिंदू महापंचायत सभा के आयोजन की रिपोर्टिंग करने के लिए बुराड़ी ग्राउंड आए थे। उन्होंने अपनी शिकायत में आरोप लगाया था कि 3 अप्रैल को दोपहर लगभग 1.30 बजे, जब वे बाहर निकलने की ओर बढ़ रहे थे, वहां मौजूद लोगों के एक समूह ने उनके साथ हाथापाई की और मारपीट की, जिन्होंने पत्रकारों के मोबाइल फोन और आई-कार्ड भी छीनने की कोशिश की।
"एक अन्य शिकायत एक स्वतंत्र / स्वतंत्र पत्रकार से भी प्राप्त हुई थी, जो हिंदू महापंचायत सभा के आयोजन की रिपोर्ट करने के लिए बुराड़ी ग्राउंड आया था। उसने आरोप लगाया था कि 3 अप्रैल को दोपहर लगभग 1 बजे, जब वह दो अन्य पत्रकारों के साथ साक्षात्कार कर रहा था, तभी एक व्यक्ति और फिर कुछ लोगों ने उसके साथ हाथापाई की और मारपीट की। इस संबंध में एक मामला दर्ज किया गया था।
वहीं, गाजियाबाद के डासना देवी मंदिर के मुख्य महंत यति नरसिंहानंद सरस्वती ने रविवार को हिंदुओं से हथियार उठाने का आह्वान करते हुए यह कहा कि अगर कोई मुसलमान प्रधानमंत्री बनता है तो 50 फीसदी हिंदू धर्मांतरण करेंगे और 40 फीसदी मारे जाएंगे। नरसिंहानंद, जो हरिद्वार में दिए गए विवादित बयान मामले में भी आरोपी हैं, सेव इंडिया फाउंडेशन के संस्थापक प्रीत सिंह द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में बोल रहे थे।
प्रीत सिंह पिछले साल जंतर-मंतर पर हुए एक कार्यक्रम के आयोजकों में से एक थे, जहां मुस्लिम विरोधी नारे लगाए गए थे। उन्हें उस मामले में दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया था और फिलहाल वह जमानत पर बाहर हैं। नरसिंहानंद भी हरिद्वार मामले में जमानत पर बाहर हैं।