दिल्ली दंगा : ताहिर हुसैन की जमानत याचिकाओं पर कल जिरह करेगा अभियोजन पक्ष
उत्तर-पूर्वी दिल्ली में भड़के साम्प्रदायिक दंगों के मामले में मुख्य आरोपी 'आप' के पूर्व निगम पार्षद ताहिर हुसैन की तीन अलग-अलग मामलों में दाखिल जमानत याचिकाओं पर एक तरफ जहां बचाव पक्ष ने...
उत्तर-पूर्वी दिल्ली में भड़के साम्प्रदायिक दंगों के मामले में मुख्य आरोपी 'आप' के पूर्व निगम पार्षद ताहिर हुसैन की तीन अलग-अलग मामलों में दाखिल जमानत याचिकाओं पर एक तरफ जहां बचाव पक्ष ने अपनी दलीलें पूरी कर ली हैं। वहीं अदालत ने अभियेाजन पक्ष की दलीलें सुनने के लिए शुक्रवार (9 अक्टूबर) का दिन तय किया है।
कड़कड़डूमा स्थित अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश विनोद यादव की अदालत में पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन के खिलाफ दयालपुर थाने में दर्ज तीन मुकदमों के संबंध में जमानत याचिका दायर की गई हैं। इन मामलों में बचाव पक्ष की तरफ से कहा गया कि उनके मुवक्किल को राजनीतिक विद्वेष के कारण झूठे मामले में फंसाया गया है। वह खुद एक पीड़ित है। उसने समय से पुलिस को अपने घर के बाहर दंगाइयों के एकत्रित होने व मकान को नुकसान की आशंका होने की सूचना फोन से दे दी थी। बावजूद इसके ताहिर को इन दंगों का मुख्य साजिशकर्ता बताया जा रहा है। बचाव पक्ष की तरफ से यह भी कहा गया कि उनके मुवक्किल के खिलाफ साक्ष्य प्रत्यारोपित किए गए हैं। फिलहाल अदालत ने बचाव पक्ष को सुन लिया है। अब इन जमानत याचिकाओं को लेकर अभियोजन पक्ष को अदालत के समक्ष अपना पक्ष रखना है।
दिल्ली पुलिस की स्पेश्ल सेल ने बनाया है मुख्य साजिशकर्ता
वहीं, सितंबर महीने के अंतिम सप्ताह में अदालत में दाखिल आरोपपत्र में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने ताहिर हुसैन को दंगों के मुख्य साजिशकर्ताओं में शामिल किया है। आरोपपत्र में कहा गया है कि इन दंगों के लिए ताहिर हुसैन समेत अन्य लोगों के बैंक खातों में बाहर से रकम आई थी। ताहिर हुसैन ही वह व्यक्ति था जिसने अपने इलाके में लोगों को जनवरी महीने में रकम उपलब्ध करा दंगों के लिए तैयारी करने को कहा था। इसके लिए हथियार खरीदने की बात भी स्पेशल सेल ने आरोपपत्र में कही है।
15 गवाहों की पहचान को रखा गया है गोपनीय
हाल ही में दाखिल आरोपपत्र में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने 15 गवाहों के नामों को गोपनीय रखा है। यहां तक कि आरोपपत्र में भी उनके नाम व पते का खुलासा नहीं गया किया है। इन गवाहों के बयानों को मजिस्ट्रेट की अदालत के समक्ष दर्ज करा दिया गया है। इन्हें आरोपपत्र में ओमेगा, विक्टर, चार्ली, गामा, डेल्टा, ईको आदि विशेष नाम दिए गए हैं। पुलिस ने अदालत को बताया है कि यह बहुत संवेदनशील गवाह हैं। अगर इनकी पहचान का खुलासा किया गया तो निश्चित तौर पर इन्हें नुकसान पहुंचाया जा सकता है। पुलिस इन पर लगातार निगरानी बनाए हुए है। ये गवाह दोनों समुदायों से जुड़े हैं। ज्ञात रहे कि स्पेशल सेल ने ताहिर हुसैन समेत 15 लोगों के खिलाफ अदालत में गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम व आपराधिक साजिश समेत दर्जन भर आरोपों में आरोपपत्र दाखिल किया है।