वर्ग विशेष को खुश करने के लिए दिवाली को दोष; BJP का केजरीवाल सरकार पर पलटवार
दिल्ली में एकबार फिर प्रदूषण गंभीर स्थिति में पहुंच गया है। इसको लेकर सियासत भी तेज हो गई है। भाजपा ने केजरीवाल सरकार पर वर्ग विशेष को खुश करने के लिए दिवाली को दोष देने का आरोप लगाया है।

दिल्ली में वायु गुणवत्ता लगातार (AQI) 'गंभीर' श्रेणी में बनी हुई है। इस मुद्दे पर सियासत गर्म है। दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने सोमवार को इसका ठीकरा भाजपा पर फोड़ा है। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा से जुड़े लोगों ने दिवाली पर आतिशबाजी के लिए लोगों को उकसाया। इसी वजह से दिल्ली के एक्यूआई में रातोंरात 100 अंकों से अधिक की बढ़ोतरी हो गई है। दिल्ली में पटाखों पर प्रतिबंध के बावजूद पटाखे जले जो यूपी और हरियाणा से लाए गए। वहीं भाजपा ने दिल्ली सरकार पर पलटवार करते हुए कहा कि गोपाल राय को बताना चाहिए कि उन्होंने प्रदूषण रोकने के लिए क्या किया।
दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा कहते हैं कि कई बार ऐसा लगता है कि गोपाल राय पर्यावरण मंत्री नहीं हैं, वह प्रवक्ता की तरह बोलते हैं। गोपाल राय को बताना चाहिए कि उन्होंने प्रदूषण रोकने के लिए क्या किया। वह प्रदूषण के लिए दिवाली को जिम्मेदार ठहरा कर ध्रुवीकरण की राजनीति कर रहे हैं। वह एक खास वर्ग को खुश करने की कोशिश कर रहे हैं।
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने पिछले आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा- 4 नवंबर को आनंद विहार में AQI 498 दर्ज किया गया। दिवाली के बाद आज सुबह यह 240 रहा तो क्या 4 नवंबर को पटाखे अरविंद केजरीवाल ने जलाए थे। गोपाल राय का इस पर क्या जवाब है। पिछले एक महीने से पूरा उत्तर भारत पराली के धुंए से परेशान है। लोगों को सांस लेने में परेशानी महसूस हो रही है। तब भी लोगों ने पटाखे जलाए थे क्या?
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा- जब तक आप और अरविंद केजरीवाल प्रदूषण के मुख्य मुद्दों को संबोधित नहीं करते और पंजाब में पराली जलाने की समस्या को दूर करने की कोशिश नहीं करते तब तक दिल्ली में प्रदूषण की समस्या बनी रहेगी... इन लोगों को यह बात समझ लेनी चाहिए। दिल्ली सरकार अपनी असफलता को छिपाने के लिए दूसरों पर दोषारोपण कर रही है। यमुना में बाढ़ आ जाए तो पड़ोसी राज्य दोषी, यमुना में पानी कम है तो पड़ोसी राज्य दोषी, दिल्ली में धुंवा आ जाए तो पड़ोसी राज्य दोषी, तो क्या आप लोग ताली बजाने के लिए आए हैं क्या?
