केजरीवाल ने पेश किया दिल्ली को ग्लोबल सिटी बनाने का खाका, 2047 तक दिल्ली को वैश्विक शहर बनाने का लक्ष्य
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को एक पहल की शुरुआत की, जिसका उद्देश्य दिल्ली के विकास के लिए नीतियों और रणनीतियों की दिशा में काम करने के लिए कॉरपोरेट्स और नागरिक समूहों के साथ...
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को एक पहल की शुरुआत की, जिसका उद्देश्य दिल्ली के विकास के लिए नीतियों और रणनीतियों की दिशा में काम करने के लिए कॉरपोरेट्स और नागरिक समूहों के साथ सरकार की साझेदारी को बढ़ावा देना है। जिन क्षेत्रों में विकास किया जाना है उनमें सार्वजनिक बुनियादी ढांचा, परिवहन नेटवर्क, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन और वायु प्रदूषण से लड़ाई शामिल है।
इस पहल का नाम "दिल्ली@2047" (Delhi@2047) रखा गया है, जो सीएसआर और परोपकारी संगठनों के साथ साझेदारी को बढ़ावा देने के लिए एक प्लैटफॉर्म है। यह राज्य के बजट 2021-22 में शामिल आम आदमी पार्टी के विजन डॉक्यूमेंट के अनुरूप है।
इस मौके पर केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली ने पिछले 5 सालों में कुछ सेक्टरों में अच्छे प्रयास किए हैं। शिक्षा के क्षेत्र में असाधारण उपलब्धियां हासिल की हैं। दिल्ली में 24x7 बिजली की आपूर्ति है। 100 से अधिक डोर स्टेप सेवाएं हैं। अभी बहुत कुछ किया जाना बाकी है। उन्होंने कहा कि हम दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय को सिंगापुर के स्तर तक बढ़ाएंगे। हम 2048 ओलंपिक के लिए बोली लगाएंगे। दिल्ली में अगले चुनाव से पहले कम से कम 24 घंटे पानी मिलना ही चाहिए। दिल्ली की सड़कें चौड़ी हैं, लेकिन अच्छी नहीं हैं, हम उन्हें यूरोपियन स्टैंडर्ड का बनाना चाहते हैं।
Delhi has made good efforts in some sectors in last 5 yrs. Extraordinary achievements have been made in education. Delhi has 24x7 electricity supply. There are over 100 door services. Many things are yet to be done. We want to make roads as per European standards: Arvind Kejriwal
— ANI (@ANI) August 3, 2021
केजरीवाल ने नीति निर्माताओं और कॉर्पोरेट सेक्टर के लोगों से जुड़ी एक वीडियो कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा कि दिल्ली को एक वैश्विक शहर में बदलना होगा। हमें अपने विजन के बारे में एक रोड मैप तैयार करना होगा कि देश की आजादी के 100 साल पूरे होने के साथ हम 2047 में दिल्ली को कैसे देखते हैं। जब हम 2047 कहते हैं, तो हम यहां विलंब नहीं कर रहे हैं। हम रणनीतिक विकसित कर रहे हैं। हमें अल्पकालिक और दीर्घकालिक दोनों लक्ष्य निर्धारित करने होंगे। दीर्घकालिक लक्ष्यों में दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय में सिंगापुर जितनी वृद्धि करना शामिल है और ओलंपिक खेलों की मेजबानी के लिए बोली लगानी है। शहर भर में 24×7 पानी की आपूर्ति जैसे लक्ष्यों को तुरंत पूरा किया जाना है।
केजरीवाल ने कहा कि पिछले पांच सालों में दिल्ली में शिक्षा, स्वास्थ्य, बिजली और सार्वजनिक सेवाओं जैसे कई क्षेत्रों में अच्छी वृद्धि और सुधार हुआ है। हमने दिल्ली सरकार के बजट में सुधार किया और शासन को अधिक जवाबदेह बनाया। जो यह दर्शाता है कि अगर किसी के पास सही इरादा और राजनीतिक इच्छाशक्ति है, तो कई महत्वपूर्ण चीजें संभव हैं। आने वाले दिनों में कई क्षेत्रों में और काम करने की जरूरत है, जैसे दिल्ली की सड़कें, पानी की आपूर्ति, सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था, झीलों का विकास, खेल के बुनियादी ढांचे, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन और वायु प्रदूषण से लड़ना। यह रॉकेट विज्ञान नहीं है। दिल्ली की सफाई को वास्तव में राजस्व पैदा करने वाले विचार में बदला जा सकता है।
उन्होंने कहा कि इस तरह के काम करने के लिए हमें निवासियों, कॉर्पोरेट क्षेत्र और अन्य सभी क्षेत्रों के सहयोग की आवश्यकता है। हमने कोविड-19 प्रबंधन में एक मिसाल कायम की है। इस मंच का उद्देश्य दिल्ली को 21वीं सदी का वैश्विक शहर बनाने, जीवन स्तर को बढ़ाने के लिए साझेदारी और सहयोग के लिए व्यापक अवसर प्रदान करना है। मैं आने वाले समय में ऐसी कई और बैठकों की उम्मीद करता हूं।
केजरीवाल ने कहा कि 9 मार्च को दिल्ली विधानसभा में बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि 2047 तक दिल्ली की आबादी 32.8 मिलियन तक पहुंचने की संभावना है। हमें इसे ध्यान में रखते हुए बुनियादी ढांचा स्थापित करना होगा। बजट उस पर सरकार के दृष्टिकोण को साझा करेगा। सरकार का लक्ष्य दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय को बढ़ाना है और इसे 2047 तक सिंगापुर के बराबर करना है। सरकार ने 2048 में ओलंपिक की मेजबानी के लिए बोली लगाने की योजना भी व्यक्त की थी।