Hindi NewsNcr NewsDelhi NewsSupreme Court Orders 23 States and 7 UTs to Report on Traffic Safety Measures and Electronic Monitoring

सड़क सुरक्षा कानून को लागू करने के बारे में सुप्रीम कोर्ट ने राज्यों से मांगा रिपोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने 23 राज्यों और 7 केंद्र शासित प्रदेशों को यातायात सुरक्षा उपायों और इलेक्ट्रॉनिक निगरानी के संबंध में रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया है। 5 राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश ने पहले ही...

Newswrap हिन्दुस्तान, नई दिल्लीMon, 20 Jan 2025 05:38 PM
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सड़क सुरक्षा कानून को लागू करने के बारे में सुप्रीम कोर्ट ने राज्यों से मांगा रिपोर्ट

नई दिल्ली। विशेष संवाददाता सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को 23 राज्यों और 7 केंद्र शासित प्रदेशों को यातायात को सुगम बनाने के लिए इसकी इलेक्ट्रॉनिक निगरानी और सड़क सुरक्षा उपायों को लेकर मोटर वाहन कानून के प्रावधानों को प्रभावी तरीके से लागू करने के बारे में रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया है। शीर्ष अदालत ने यह आदेश तब दिया, जब बताया गया कि 5 राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश ने अपनी रिपोर्ट दाखिल कर दी है।

जस्टिस अभय एस. ओका और उज्जल भुइयां की पीठ ने कहा कि पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल और दिल्ली ने अपनी रिपोर्ट दाखिल कर दी हैं। पीठ ने अब बाकी बचे 23 राज्यों और 7 केंद्र शासित प्रदेशों को कानून के प्रभावी पालन को लेकर रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया जाता है। राज्यों द्वारा ये ‌रिपोर्ट सड़क सुरक्षा को लेकर सुप्रीम कोर्ट द्वारा बनाई गई समिति के साथ साझा की जाएंगी। पीठ ने कहा कि इस मसले पर गठित सुप्रीम कोर्ट की समिति सभी पहलुओं पर विचार करने के बाद अपना सुझाव पेश करेगी, जिस पर केंद्र सरकार द्वारा इलेक्ट्रॉनिक निगरानी और सड़क सुरक्षा उपायों को प्रभावी तरीके से लागू करने के लिए मानक संचालन प्रक्रिया तैयार करने में विचार किया जा सकता है। शीर्ष अदालत ने कहा कि वह 25 मार्च को इस पहलू पर विचार करेगी। इस बीच सड़क सुरक्षा पर उसकी समिति रिपोर्ट पर विचार-विमर्श करते समय उन राज्यों से सहायता मांग सकती है, जिन्होंने अपनी रिपोर्ट दाखिल कर दी है। इससे पहले, मामले में न्याय मित्र नियुक्त किए गए वरिष्ठ अधिवक्ता गौरव अग्रवाल ने 5 राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश द्वारा रिपोर्ट दाखिल करने की जानकारी पीठ को दी थी।

सुप्रीम कोर्ट ने पिछले साल 2 सितंबर को मोटर वाहन अधिनियम की धारा 136ए को मोटर वाहन नियम 167ए के साथ लागू करने का आदेश दिया था। इस प्रावधान के तहत अधिकारियों को तेज गति से चलने वाले वाहनों की इलेक्ट्रॉनिक निगरानी करने की अनुमति देता है। इसके साथ ही, सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से कानून को लागू करने के बारे में रिपोर्ट पेश करने को कहा था। दरअसल, केंद्र सरकार ने मोटर वाहन अधिनियम, 1988 में 2021 में धारा 136ए जोड़ी गई थी जिसका उद्देश्य बेहतर यातायात प्रबंधन और यातायात कानूनों के प्रवर्तन को सुनिश्चित करने के लिए स्पीड कैमरा, सीसीटीवी कैमरा, स्पीड गन, बॉडी-वॉर्न कैमरा और स्वचालित नंबर प्लेट पहचान प्रणाली जैसी उन्नत तकनीकों का उपयोग करना है।

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