श्रीलंका पैकेज :::: मेरा लक्ष्य संकटग्रस्त श्रीलंका को बचाना है: विक्रमसिंघे
- राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में बोले, श्रीलंका के प्रधानमंत्री - कहा, 2022
कोलंबो,एजेंसी।
श्रीलंका के नवनियुक्त प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने सोमवार को कहा कि उनका लक्ष्य किसी व्यक्ति, परिवार या समूह को नहीं, बल्कि संकटग्रस्त देश को बचाना है। उनका इशारा राजपक्षे परिवार एवं उसके पूर्व प्रभावशाली नेता महिंदा राजपक्षे की ओर था।
पिछले सप्ताह प्रधानमंत्री बनने के बाद टेलीविजन पर प्रसारित राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में विक्रमसिंघे ने कहा कि श्रीलंका की समुद्री सीमा में मौजूद पेट्रोल, कच्चे तेल की खेपों का भुगतान करने के लिए खुले बाजार से अमेरिकी डॉलर जुटाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि 2022 के विकास बजट के स्थान पर राहत बजट पेश किया जाएगा। उन्होंने कहा कि वह इन दिनों बहुत घाटे में चल रही श्रीलंका एयरलाइंस का निजीकरण का प्रस्ताव रखेंगे। स्थानीय मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, श्रीलंका एयरलाइंस को 2021 में ही 45 अरब रूपये का नुकसान हुआ। वर्ष 2022 में 31 मार्च तक उसे कुल 372 अरब रूपये का घाटा हुआ।
प्रधानमंत्री ने कहा, यदि हम श्रीलंका एयरलाइंस का निजीकरण करते हैं तो भी हमें घाटा उठाना पड़ेगा। ये घाटा उन निर्दोष लोगों को उठाना होगा जिन्होंने कभी विमान में कदम नहीं रखा। श्रीलंका 1948 में मिली आजादी के बाद से सबसे खराब आर्थिक संकट से गुजर रहा है। विदेशी मुद्रा भंडार की भारी कमी से ईंधन, रसोई गैस एवं अन्य जरूरी चीजों के लिए लंबी लंबी कतारें लग गई हैं तथा भारी बिजली कटौती एवं खाने-पीने के बढ़ते दामों ने लोगों की दुश्वारियां बढ़ा दी हैं। आर्थिक संकट से श्रीलंका में राजनीतिक संकट पैदा हो गया और प्रभावशाली राजपक्षे की इस्तीफे की मांग होने लगी। राष्ट्रपति गोटबाया ने इस्तीफा देने से इनकार कर दिया, लेकिन उन्होंने पिछले सप्ताह नये प्रधानमंत्री एवं युवा मंत्रिमंडल को नियुक्त किया। नई सरकार राष्ट्रपति के अधिकारों में कटौती के लिए अहम संवैधानिक सुधार पेश करेगी।