कैबिनेट फैसले ::: बीएसएनएल को 4जी और 5जी स्पेक्ट्रम आवंटन के लिए 89,047 करोड़ का पैकेज
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सरकारी क्षेत्र की दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल को 4जी और 5जी स्पेक्ट्रम आवंटित करने और उसमें नई जान डालने के लिए 89,047 करोड़...

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बीएसएनएल में नई जान फूंकने के लिए 89,047 करोड़ का पैकेज मंजूर
2.10 लाख करोड़ रुपये हो जाएगा बीएसएनएल का अधिकृत पूंजी आधार
नई दिल्ली, विशेष संवाददाता।
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सरकारी क्षेत्र की दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल को 4जी और 5जी स्पेक्ट्रम आवंटित करने और उसमें नई जान डालने के लिए 89,047 करोड़ रुपये के पैकेज को मंजूरी दे दी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में भारत संचार निगम लिमिटेड यानी बीएसएनएल के लिए तीसरे पुनरुद्धार पैकेज को मंजूरी दी गई।
बीएसएनएल को 4जी और 5जी स्पेक्ट्रम से लैस कर दूरसंचार क्षेत्र की कड़ी प्रतिस्पर्धा के लायक बनाने की कोशिश की जा रही है। पैकेज मिलने के बाद बीएसएनएल देशभर में 4जी और 5जी सेवाओं की पेशकश कर पाएगी। तेज गति वाली दूरसंचार सेवाओं तक पहुंच नहीं होने से बीएसएनएल को अपना ग्राहक आधार गंवाना पड़ रहा था।
नए पैकेज के तहत बीएसएनएल के लिए कुल 89,047 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। सरकार की तरफ से जारी बयान के मुताबिक, इस पैकेज का इस्तेमाल बीएसएनएल को 4जी-5जी स्पेक्ट्रम आवंटित करने के लिए किया जाएगा। अब बीएसएनएल का अधिकृत पूंजी आधार 1,50,000 करोड़ रुपये से बढ़कर कुल 2,10,000 करोड़ रुपये हो जाएगा। इस पैकेज के तहत बीएसएनएल को 46,338.6 करोड़ रुपये मूल्य का 700 मेगाहर्ट्ज बैंड स्पेक्ट्रम, 26,184.2 करोड़ रुपये मूल्य का 3300 मेगाहर्ट्ज बैंड, 6,564.93 करोड़ रुपये मूल्य का 26 गीगाहर्ट्ज बैंड और 9,428.2 करोड़ रुपये मूल्य का 2500 मेगाहर्ट्ज बैंड स्पेक्ट्रम आवंटित किया जाएगा।
पहला पैकेज 2019 में दिया गया
मुश्किलों से घिरी सार्वजनिक दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल में नई जान फूंकने के लिए सरकार की तरफ से पहले भी राहत पैकेज दिए जा चुके हैं। पहला पुनरुद्धार पैकेज वर्ष 2019 में बीएसएनएल और एमटीएनएल को संयुक्त रूप से 69,000 करोड़ रुपये का दिया गया था। दूसरे पैकेज की घोषणा वर्ष 2022 में की गई थी जिसके तहत 1.64 लाख करोड़ रुपये आवंटित किए गए थे। पिछले दोनों पैकेज के तहत मिली वित्तीय मदद ने बीएसएनएल को अपना बहीखाता दुरुस्त करने में मदद किया था। इसके साथ समायोजित सकल राजस्व यानी एजीआर के बकाए का भुगतान करने और ग्रामीण क्षेत्रों में सेवा विस्तार में सहायता मिली थी। इसका नतीजा यह हुआ कि बीएसएनएल का कुल कर्ज 32,944 करोड़ रुपये से घटकर 22,289 करोड़ रुपये पर आ चुका है।
