दिल्ली में वोटिंग से पहले केजरीवाल की बढ़ीं मुश्किलें, जहर वाली बात पर कोर्ट के आदेश से हरियाणा में FIR
- यह FIR कुरुक्षेत्र के शाहाबाद थाने में दर्ज की गई है और यमुना नदी के पानी को लेकर उनके बयान और हरियाणा सरकार पर उनके आरोपों के संबंध में है।

यमुना के पानी में जहर मिलाने वाले दिए बयान के बाद दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और AAP के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल मुश्किल में आ गए हैं। इस मामले में कोर्ट के आदेश के बाद केजरीवाल और उनकी पार्टी के अन्य अज्ञात सदस्यों के खिलाफ हरियाणा में BNS की विभिन्न धाराओं के तहत FIR दर्ज कर ली गई है।
यह FIR मंगलवार को कुरुक्षेत्र के शाहाबाद थाने में रहने वाले वकील जगमोहन मनचंदा द्वारा की गई शिकायत के आधार पर दर्ज की गई है, जो कि यमुना नदी के पानी को लेकर उनके बयान और हरियाणा सरकार पर उनके आरोपों के संबंध में है।
इस दौरान दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के अन्य अज्ञात सदस्यों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। शिकायतकर्ता ने केजरीवाल पर हरियाणा सरकार और भाजपा सहित हरियाणा राज्य के खिलाफ भड़काऊ और अनर्गल बयान देने का आरोप लगाया।
‘केजरीवाल का मकसद वोट के लिए दंगे कराना'
मनचंदा ने अपनी शिकायत में आरोप लगाते हुए बताया कि केजरीवाल ने AAP के अन्य सदस्यों के साथ मिलकर इस तरह के भड़काऊ, झूठे और भ्रामक बयान दिए हैं, जिसका उद्देश्य 'दिल्ली और हरियाणा में उत्पात और दंगे कराने की एक छिपी हुई मंशा और हताशा है, जिससे कुछ वोट उनकी ओर झुक जाएं।'
शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया कि केजरीवाल ने जानबूझकर यह झूठा बयान दिया है। यह मामला शिकायतकर्ता द्वारा शाहाबाद के उप-विभागीय मजिस्ट्रेट की अदालत में शिकायत दर्ज कराए जाने के बाद दर्ज किया गया।
केजरीवाल ने हरियाणा भाजपा पर लगाया था आरोप
इस पूरे विवाद की शुरुआत 27 जनवरी को तब हुई थी, जब अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली की सीएम आतिशी का एक ट्वीट शेयर करते हुए हरियाणा की भाजपा सरकार पर यमुना नदी का पानी जहरीला करने का आरोप लगाया था, और इससे कई लोगों के मरने की आशंका जताई थी।
केजरीवाल ने अपनी पोस्ट में लिखा था, 'लोगों को प्यासा मारने से बड़ा पाप नहीं होता। अपनी गंदी राजनीति के लिए बीजेपी दिल्ली वालों को प्यासा मारना चाहती है। हरियाणा से बीजेपी वाले पानी में जहर मिलाकर दिल्ली भेज रहे हैं। अगर ये पानी दिल्ली वालों ने पी लिया तो कई लोग मर जाएंगे।
आगे उन्होंने लिखा था, ‘क्या इससे घिनौना काम कोई हो सकता है? जो ज़हर पानी में मिलाकर भेजा जा रहा है, वो वाटर ट्रीटमेंट प्लांट में साफ़ भी नहीं हो सकता। दिल्ली के लोगों की सुरक्षा के लिए कई इलाक़ों में पानी बंद करना पड़ रहा है। हमारी कोशिश है कि लोगों को कम से कम तकलीफ़ हो। बीजेपी वाले दिल्ली वालों की सामूहिक हत्या करना चाहते हैं। हम ये बिल्कुल नहीं होने देंगे।’
केजरीवाल के इस बयान के बाद जमकर हंगामा मच गया था और चुनाव आयोग ने भी नोटिस देकर उनसे इस दावे को लेकर जवाब तलब किया था। जिसके बाद 14 पन्नों के अपने जवाब में केजरीवाल ने दावा किया था कि हरियाणा से हाल के दिनों में प्राप्त पानी मानव स्वास्थ्य के लिए अत्यधिक दूषित और बेहद जहरीला है। निर्वाचन आयोग को दिए अपने जवाब में AAP प्रमुख ने कहा था कि अगर लोगों को इस तरह का ‘जहरीला पानी’ पीने दिया गया, तो इससे स्वास्थ्य संबंधी गंभीर खतरा पैदा होगा और कई जानें जाएंगी।
हालांकि केजरीवाल के इस जवाब पर निर्वाचन आयोग ने असंतोष जाहिर करने के साथ ही उन्हें हरियाणा सरकार के खिलाफ लगाए गए आरोपों पर स्पष्टीकरण देने का एक और मौका प्रदान किया था।
केजरीवाल ने आतिशी का जो ट्वीट शेयर किया था, उसमें आतिशी ने लिखा था, ‘दिल्ली की जल आपूर्ति को भाजपा जानबूझकर बाधित कर रही है, क्योंकि राष्ट्रीय राजधानी में पांच फरवरी को होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा को ऐतिहासिक हार का सामना करना पड़ेगा।’