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पार्टी खिलाफ पर मान नहीं रहे नेता, भाजपा में मंत्री से राज्यपाल तक बच्चों के लिए मांग रहे टिकट

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में अपने परिजनों के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कई दिग्गज पार्टी का टिकट मांग रहे हैं। वंशवाद की राजनीति को आगे बढ़ाने के लिए उत्तर प्रदेश के कुछ मंत्रियों...

पार्टी खिलाफ पर मान नहीं रहे नेता, भाजपा में मंत्री से राज्यपाल तक बच्चों के लिए मांग रहे टिकट
एएनआई,नई दिल्ली।Thu, 20 Jan 2022 11:36 AM

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उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में अपने परिजनों के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कई दिग्गज पार्टी का टिकट मांग रहे हैं। वंशवाद की राजनीति को आगे बढ़ाने के लिए उत्तर प्रदेश के कुछ मंत्रियों ने अपने परिवार के सदस्यों के लिए टिकट भी मांगा है। हालांकि, यह देखना दिलचस्प होगा कि पार्टी उम्मीदवारों को चुनने का क्या तरीका अपनाती है। रिश्तेदारी के आधार पर टिकट देती है या फिर सियासी गुण को पैमाना बनाती है।

रीता बहुगुणा जोशी: भाजपा सांसद और उत्तर प्रदेश की वरिष्ठ नेता रीता बहुगुणा जोशी ने अपने बेटे मयंक जोशी को विधानसभा चुनावों में लखनऊ कैंट सीट से टिकट नहीं मिलने पर अपनी लोकसभा सदस्यता छोड़ने की पेशकश की है। उन्होंने विशेष रूप से लखनऊ कैंट सीट पर टिकट की मांग की है। यह वही सीट है जहां बतौर बीजेपी कैंडिडेट ने उन्होंने 2017 के चुनाव में अपर्णा यादव को मात दिया था। 2022 में स्थिति बदल गई है। मुलायम सिंह यादव की बहू बीजेपी खेमे में आ चुकी हैं।

कौशल किशोर: योगी सरकार में आवास और शहरी मामलों के राज्य मंत्री कौशल किशोर भी चुनाव में अपने दो बेटों को मैदान में उतारने की कोशिश कर रहे हैं। किशोर के बड़े बेटे विकास और छोटे बेटे प्रभात क्रमश: मलिहाबाद और सिधौली से चुनाव लड़ना चाहते हैं।

रवींद्र कुशवाहा: सलेमपुर लोकसभा सीट से बीजेपी सांसद रवींद्र कुशवाहा भाटपर रानी विधानसभा सीट से अपने छोटे भाई जयनाथ कुशवाहा के लिए टिकट मांग रहे हैं। इस सीट पर फिलहाल समाजवादी पार्टी के नेता आशुतोष विधायक हैं।

एसपी सिंह बघेल: केंद्रीय कानून राज्य मंत्री और आगरा से सांसद एसपी सिंह बघेल चाहते हैं कि उनकी पत्नी टूंडला से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ें। वह खुद टूंडला से विधायक रह चुके हैं।

प्रेमपाल सिंह: भाजपा के प्रेमपाल सिंह धनगरमौजूदा विधायक हैं, जिन्होंने सपा के महाराज सिंह धनगर को हराकर सीट जीती थी।

कालराज मिश्र: राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र देवरिया सीट से अपने बेटे अमित मिश्रा को चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं। कलराज मिश्र खुद इस सीट से सांसद रह चुके हैं। देवरिया की सीट ब्राह्मण बहुल सीट मानी जाती है।

फागू चौहान: बिहार के राज्यपाल फागू चौहान को मऊ की मधुबन विधानसभा सीट से अपने बेटे रामविलास चौहान को टिकट मिलने की उम्मीद है। भाजपा ने 2017 में पहली बार मधुबन सीट जीता था, जब दारा सिंह चौहान ने पार्टी से चुनाव लड़ा था।

सत्यदेव पचौरी: बीजेपी सांसद सत्यदेव पचौरी अपने बेटे अनूप पचौरी को कानपुर की गोविंदनगर सीट से टिकट देने की मांग कर रहे हैं। 

हृदय नारायण दीक्षित: यूपी विधानसभा अध्यक्ष हृदय नारायण दीक्षित अपने बेटे दिलीप दीक्षित को उन्नाव की पुरवा सीट से टिकट देने की मांग कर रहे हैं।

सूर्य प्रताप शाही: यूपी सरकार में कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही के बेटे सुब्रत शाही पाथरदेव सीट से चुनाव लड़ना चाहते हैं और वह खुद देवरिया सदर से चुनाव लड़ना चाहते हैं।

उत्तर प्रदेश की 403 विधानसभा सीटों के लिए सात चरणों में मतदान 10 फरवरी से शुरू होगा। उत्तर प्रदेश में 10, 14, 20, 23, 27 फरवरी और 3 और 7 मार्च को सात चरणों में मतदान होगा। मतों की गिनती 10 मार्च को होगी।

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