विदेश में रह रहे रिश्तेदारों से अब ले सकेंगे 10 लाख रुपए, नहीं लेनी होगी अनुमति
केंद्र सरकार ने एनजीओ या किसी व्यक्ति के विदेशी चंदा प्राप्त करने के मामले में इस तरह के अंशदान की घोषणा अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर हर तिमाही करने का प्रावधान भी खत्म कर दिया गया है।

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केंद्रीय गृह मंत्रालय ने विदेशी चंदा (नियमन) अधिनियम (FCRA) से जुड़े कुछ नियमों में संशोधन कर भारतीयों को विदेश में रह रहे अपने रिश्तेदारों से साल में 10 लाख रुपये तक प्राप्त करने की अनुमति दी है और इसके लिए उन्हें अधिकारियों को सूचना नहीं देनी होगी। पहले इसकी सीमा एक लाख रुपए थी। मंत्रालय ने एक अधिसूचना में कहा कि यदि रकम (10 लाख रुपए से) अधिक हो तो लोगों को पूर्व के 30 दिन के बजाय अब सरकार को सूचना देने के लिए 90 दिन का समय मिलेगा।
नए नियम, विदेशी चंदा (नियमन) संशोधन नियमों, 2022 को गृह मंत्रालय ने शुक्रवार रात एक गजट अधिसूचना के जरिए अधिसूचित किया। अधिसूचना में कहा गया है, 'विदेशी चंदा (नियमन) नियमों, 2011, के नियम 6 में- 'एक लाख रुपए', शब्दों की जगह '10 लाख रुपए'; और '30 दिन' के लिए शब्दों की जगह 'तीन महीने' शब्द लेंगे।'
पहले एक लाख रुपए थी यह राशि
नियम-6 रिश्तेदारों से विदेशी चंदा प्राप्त करने से संबद्ध है। इसमें कहा गया है कि पहले कोई व्यक्ति किसी वित्त वर्ष में अपने किसी रिश्तेदार से एक लाख रुपए से अधिक या समान राशि चंदे के रूप में प्राप्त करता था तो उसे इस तरह की राशि प्राप्त करने के 30 दिनों के अंदर केंद्र सरकार को सूचना देनी होती थी। इसी तरह, नियम 9 में बदलाव किया गया है, जो विदेशी चंदा प्राप्त करने के लिए एफसीआरए के तहत पंजीकरण और पूर्व अनुमति हासिल करने की अर्जी से संबद्ध है।
जानकारी देने के लिए 45 दिनों का वक्त
संशोधित नियमों के जरिए व्यक्तियों और संगठनों या गैर सरकारी संगठनों (एनजीओ) को गृह मंत्रालय को उस बैंक खाते के बारे में जानकारी देने के लिए 45 दिनों का वक्त दिया गया है जिनका उपयोग इस तरह के धन के उपयोग के लिए किया जाना है। पहले यह समय सीमा 30 दिनों की थी। अब, एफसीआरए के तहत विदेशी चंदा प्राप्त करने पर एक अप्रैल को शुरू होने वाले प्रत्येक वित्त वर्ष के प्रथम दिन, वित्त वर्ष समाप्त होने के नौ महीने के अंदर, अपनी वेबसाइट पर या केंद्र द्वारा निर्दिष्ट वेबसाइट पर खाते का विवरण देने की मौजूदा प्रक्रिया का पालन करना होगा।