डोनाल्ड ट्रंप की पेशकश पर विदेश मंत्रालय ने कहा- सीमा पर तनाव कम करने चीन से चल रही बातचीत
भारत और चीन के बीच सीमा पर जारी तनाव को लेकर कल अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मध्यस्थता की पेशकश की थी। आज विदेश मंत्रालय ने इस मामले में प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि इसका शांतिपूर्ण ढंग से...

भारत और चीन के बीच सीमा पर जारी तनाव को लेकर कल अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मध्यस्थता की पेशकश की थी। आज विदेश मंत्रालय ने इस मामले में प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि इसका शांतिपूर्ण ढंग से समाधान करने के लिए चीनी पक्ष के साथ बातचीत चल रही है।
न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, विदेश मंत्रालय ने कहा है कि हमारे सैनिकों ने सीमा प्रबंधन के लिए बहुत जिम्मेदार रुख अपनाया है। चीन के साथ द्विपक्षीय समझौते में रखी गई प्रक्रियाओं का भारतीय सैनिक सख्ती से पालन कर रहे हैं।
Engaged with Chinese side to peacefully resolve it: MEA on Donald Trump's offer to mediate between India and China to resolve border row
— Press Trust of India (@PTI_News) May 28, 2020
भारत और चीन के बीच सीमा पर जारी तनाव के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति ने कल यानी बुधवार को मध्यस्थता की पेशकश की थी। उन्होंने कहा था कि अमेरिका ने दोनों देशों से कहा है कि हम सीमा विवाद को लेकर मध्यस्थता करने के लिए तैयार है। अमेरिकी राष्ट्रपति ने ट्वीट कर यह बात कही थी।
हाल के दिनों में लद्दाख और उत्तरी सिक्किम में भारत और चीन की सेनाओं ने अपनी उपस्थिति काफी हद तक बढ़ाई है। यह दोनों देशों की सेनाओं के बीच दो अलग-अलग, तनातनी की घटनाओं के दो सप्ताह बीत जाने के बाद भी तनाव बढ़ने और दोनों पक्षों के रुख में कठोरता आने का स्पष्ट संकेत देता है।
5 मई से दोनों देश के बीच तनाव की स्थिति
5 मई से ही पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर तनाव बना हुआ है। चीनी सैनिकों के भारतीय क्षेत्र में अतिक्रमण के बाद दोनों सेनाएं उस इलाके में डंटी हुई हैं। जानकारों का कहना है कि चीन के शांति संबंधी बयान को जमीन पर देखना होगा। जहां चीन सीमा संबंधी धारणा को बदलना चाहता है। भारत में चीन के राजदूत सन विडोंग ने कंफेडरेशन ऑफ यंग लीडर्स मीट को संबोधित करते हुए भारत और चीन के रिश्तों को प्रगाढ़ करने की जरूरत बताई।
उन्होंने कहा कि हमें कभी भी अपने मतभेदों को अपने रिश्तों पर हावी नहीं होने देना चाहिए। हमें इन मतभेदों का समाधान बातचीत के जरिए करना चाहिए। विडोंग ने आगे कहा कि चीन और भारत कोविड-19 के खिलाफ साझी लड़ाई लड़ रहे हैं और हम पर अपने रिश्तों को और प्रगाढ़ करने की जिम्मेदारी है।
भारत और चीन एक-दूसरे के लिए अवसर: चीनी राजदूत
चीनी राजदूत ने सम्मेलन में मौजूद युवाओं को भारत और चीन के रिश्तों को समझने का आह्वान करते हुए कहा कि हम एक-दूसरे के लिए खतरा नहीं हैं। उन्होंने कहा कि हमारे युवाओं को चीन और भारत के रिश्ते को महसूस करना चाहिए। दोनों देश एक-दूसरे के लिए अवसरों के द्वार हैं, न कि खतरों के। उन्होंने कहा कि ड्रैगन और हाथी, एक साथ नृत्य कर सकते हैं।