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Bharat Jodo Yatra: राहुल गांधी ने शिव और इस्लाम की कर दी तुलना, बताया- क्या है कश्मीरियत

कांग्रेस की 'भारत जोड़ो' यात्रा समापन की ओर है। जम्मू और कश्मीर में आयोजित समारोह में पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष संबोधन दे रहे हैं। सोमवार को भारी बर्फबारी के बीच उन्होंने यात्रा के अनुभव साझा किए।

Bharat Jodo Yatra: राहुल गांधी ने शिव और इस्लाम की कर दी तुलना, बताया- क्या है कश्मीरियत
Nisarg Dixitलाइव हिन्दुस्तान,श्रीनगरMon, 30 Jan 2023 02:10 PM

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कांग्रेस की 'भारत जोड़ो' यात्रा समापन की ओर है। जम्मू और कश्मीर में आयोजित समारोह में पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष संबोधन दे रहे हैं। सोमवार को भारी बर्फबारी के बीच उन्होंने यात्रा के अनुभव साझा किए। उन्होंने कहा कि कन्याकुमारी से श्रीनगर तक चलने के दौरान कई परेशानियों का सामना किया। राहुल की अगुवाई में पदयात्रियों ने करीब 4 हजार किमी का सफर तय किया है।

कांग्रेस नेता ने बताया कि यात्रा उनके लिए आसान नहीं रही। उन्होंने कहा, 'मैं आपको बोलूं तो दर्द सहना पड़ा काफी, लेकिन सह लिया। रास्ते में एक दिन मुझे दर्द हो रहा था। काफी दर्द हो रहा था और मैं सोच रहा था कि 6-7 घंटे और चलने और मुझे लग रहा था कि आज मुश्किल है।' उन्होंने बताया कि उस दौरान एक छोटी सी बच्ची के पत्र ने ताकत दी।

संबोधन के दौरान राहुल ने भारत में महिला सुरक्षा का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि यात्रा के दौरान कई महिलाएं मिली, जो 'बलात्कार' का शिकार हुई थीं। उन्होंने बताया कि वे महिलाएं पुलिस के सामने शिकायत करने में डर रही थीं।

'कश्मीरियत मेरा घर'
सोमवार को भारी बर्फबारी के बीच राहुल ने कश्मीरियत को अपना घर बताया। उन्होंने कहा, 'आप कश्मीर कहते हो, उसे मैं अपना घर मानता हूं। अब यह कश्मीरियत है क्या। यह जो शिव जी की सोच है एक तरफ और थोड़ी सी गहराई में जाएंगे तो दोस्तों शून्यता कहा जा सकता है। अपने आप पर अपने अहंकार पर, विचारों पर आक्रमण करना। दूसरी तरफ इस्लाम में जिसको शून्यता यहां कहा जाता, फना वहां कहा जाता है। सोच वही है।'

उन्होंने कहा, 'इस्लाम में फना का मतलब अपने ऊपर आक्रमण, अपनी सोच के ऊपर आक्रमण है। जो हम अपना किला बना लेते हैं कि मैं यह हूं, मेरे पास यह है, मेरे पास यह ज्ञान है, मेरे पास यह घर है। उसी किले पर आक्रमण करना, वही है शून्यता, वही है फना। इस धरती पर ये दो जो विचारधाराएं हैं। इनका एक बहुत गहरा रिश्ता है। और यह सालों से रिश्ता है। जिसको हम कश्मीरियत कहते हैं।'

जम्मू-कश्मीर में डर पर क्या बोले राहुल?
जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा पर राहुल बताया कि 'शायद' डराने के लिए बोला गया कि आपके ऊपर ग्रेनेड फेंका जाएगा। उन्होंने कहा, 'मैंने सोचा कि ऐसा करते हैं, मैं अपने घर वापस जा रहा हूं। चार दिन पैदल चलूंगा, अपने घर के जो लोग हैं। उनके बीच में चलूंगा। और मैंने सोचा कि जो मुझसे नफरत करते हैं, उनको क्यों न मैं एक मौका दूं कि मेरी सफेद शर्ट का रंग बदल दें। लाल कर दें।'

सरकार को घेरा
उन्होंने कहा, 'मैं हिंसा को समझता हूं। मैंने हिंसा देखी है, सही है। जिसने हिंसा नहीं देखी, उसे यह बात समझ नहीं आएगी जैसे मोदी जी हैं, अमित शाह जी हैं, आरएसएस के लोग हैं। उन्होंने हिंसा नहीं देखी है। डरते हैं, यहां पर चार दिन पैदल चले। मैं आपको गारंटी देकर कह सकता हूं कि भाजपा का कोई नेता ऐसे नहीं चल सकता। इसलिए नहीं कि जम्मू-कश्मीर के लोग उन्हें चलने नहीं देंगे। इसलिए कि वे डरते हैं।'

कांग्रेस नेता ने पूर्व प्रधानमंत्री और दादी इंदिरा गांधी की हत्या का जिक्र किया और मौजूदा सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, '... देखिए यह जो मैं अभी कह रहा हूं, यह बात प्रधानमंत्री को समझ नहीं आएगी, अमित शाह को समझ नहीं आएगी, यह बात डोभाल जी को समझ नहीं आएगी। लेकिन यह बात कश्मीर के लोगों को समझ आएगी। यह बात सीआरपीएफ के लोगों को समझ आएगी, उनके परिवार के लोगों को समझ आएगी।'