खतरनाक सिरप बनाने वाली कंपनी के खिलाफ बड़े ऐक्शन की तैयारी, एफडीए को पत्र लिखेगा CDSCO
सूत्रों ने बताया कि तमिलनाडु-FDA की ओर से कोल्ड्रिफ कफ सिरप में डीईजी/ईजी की इजाजत से अधिक मात्रा मिली। इसके बाद मध्य प्रदेश औषधि नियामक प्राधिकरण ने भी इसकी जांच के लिए सैंपल लिया, जिसके नतीजे अभी आने बाकी हैं।

केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) कोल्ड्रिफ कफ सिरप के निर्माता स्रेसेन फार्मास्यूटिकल्स के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगा। इस सिरप के सेवन से कई बच्चों की मृत्यु हुई है। CDSCO तमिलनाडु खाद्य एवं औषधि प्रशासन (FDA) को पत्र लिखकर कंपनी के खिलाफ कठोर कदम उठाने के लिए कहेगा। आधिकारिक सूत्रों ने न्यूज एजेंसी एएनआई को यह जानकारी दी। मालूम हो कि प्रभावित बच्चे मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा, राजस्थान और महाराष्ट्र से हैं। केरल और तेलंगाना जैसे राज्यों ने कोल्ड्रिफ सिरप के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगाने के लिए चेतावनी जारी की है।
मध्य प्रदेश में कफ सिरप की आपूर्ति करने वाली एक अन्य कंपनी नेक्सट्रो डीएस के सैंपल्स की जांच चल रही है। सूत्रों ने कहा, 'नेक्सट्रो डीएस सिरप के नमूनों के नतीजे अभी तक नहीं आए हैं। कुल 19 सैंपल लिए गए हैं जिनमें सिरप, एंटीबायोटिक्स, एंटीपायरेटिक्स और ओन्डेनसेट्रोन के नमूने शामिल हैं। छिंदवाड़ा जिले में बीमार हुए बच्चों ने इनका ही सेवन किया था।' सूत्रों ने आगे बताया कि तमिलनाडु-FDA की ओर से कोल्ड्रिफ कफ सिरप में डीईजी/ईजी की इजाजत से अधिक मात्रा मिली। इसके बाद मध्य प्रदेश औषधि नियामक प्राधिकरण ने भी इसकी जांच के लिए सैंपल लिया था, जिसके अंतिम नतीजे अभी आने बाकी हैं।
कोल्ड्रिफ और नेक्सट्रो डीएस सिरप की बिक्री पर रोक
मध्य प्रदेश सरकार ने कोल्ड्रिफ और नेक्सट्रो डीएस सिरप की बिक्री पर तत्काल रोक लगा दी है। साथ ही उसी कंपनी की ओर से निर्मित अन्य उत्पादों की बिक्री पर भी पाबंदी लगा दी गई है। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने इस प्रतिबंध की घोषणा एक्स पर की। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सलाह दी है कि 2 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को खांसी और सर्दी की दवाएं न तो दी जाएं और न ही लिखी जाएं। मंत्रालय ने इस संबंध में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के स्वास्थ्य सेवा निदेशकों को पत्र लिखा है। औषधि अथॉरिटी नेक्सट्रो डीएस सिरप के खिलाफ नतीजों के बाद आगे की कार्रवाई करेगी।




