टीवी-मोबाइल की रोकटोक पड़ी भारी, बच्चों ने मां-बाप पर कराई FIR; अब HC करेगा फैसला
देश के सबसे स्वच्छ और सुंदर शहरों में से एक इंदौर से एक अनोखा मामला सामने आया है। यहां एक घर के बच्चों ने अपने माता-पिता पर फोन-टीवी की रोक-टोक और मार-पीट पर पुलिस में शिकायत दर्ज करा दी थी।
बढ़ते इंटरनेट और फोन के चलन के कारण आजकल फोन चलाने से जुड़ी तरह-तरह की घटनाएं सामने आ रही हैं। ऐसा ही एक अनोखा मामला मध्यप्रदेश और देश के सबसे साफ-सुथरे शहर इंदौर से सामने आया है। यहां एक परिवार को अपने बच्चों को फोन चलाने से रोकना-टोकना और मारना-पीटना काफी भारी पड़ गया। दरअसल 8 और 21 साल के बच्चों टीवी-मोबाइल देखने पर पीटने वाले माता-पिता के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज करा दी थी। घटना लगभग तीन साल पुरानी है। इस मामले में हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है।
अभिभाषक व पूर्व आईपीएस धर्मेंद्र चौधरी ने बताया कि हाईकोर्ट ने अपने एक अहम आदेश में पुत्र एवं पुत्री द्वारा माता-पिता के विरुद्ध दर्ज कराई रिपोर्ट के ट्रायल पर अंतरिम रोक लगा दी। कोर्ट इंदौर में जस्टिस विवेक रुसिया के समक्ष सुनवाई में चौधरी के तर्कों से सहमत होकर ट्रायल पर स्टे दिया है। 25 अक्टूबर 2021 को थाना चंदन नगर में 8 और 21 वर्षीय दो बच्चों ने पिता अजय चौहान व मां सीमा के विरूद्ध मारपीट एवं प्रताडि़त करने की शिकायत की थी।
पुलिस ने बच्चों के बयानों के आधार पर उनके माता-पिता के ऊपर इन धाराओं के आधार पर केस दर्ज कर लिया था। इन धाराओं में 342, 294, 323, 506 एवं एवं जेजे एक्ट 75, 82 शामिल हैं। दोनों बच्चों का कहना था कि टीवी एवं मोबाइल देखने पर भी मारपीट की जाती है। इसके बाद से दोनों बच्चे बुआ के घर रह रहे हैं। माता-पिता के बीच विभिन्न कारणों से विवाद बने हुए हैं एवं बच्चे बुआ के पास रहने के पक्ष में थे। प्रकरण में चालान न्यायालय में पेश किया जिस पर कोर्ट में ट्रायल चल चल रही है। हाईकोर्ट ने अभिभाषक चौधरी के तर्की से सहमत होते हुए ट्रायल पर अंतरिम रोक लगा दी। आगे आने वाले समय में पूरे मामले की जांच-पड़ताल के बाद ही कोई फैसला लिया जाएगा।
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