फोटो गैलरी

Hindi News लाइफस्टाइलबढ़ती उम्र के साथ नींद का होता है दिमाग पर अलग असर, जानें बच्चों से लेकर बड़ों तक कैसे करती है प्रभावित

बढ़ती उम्र के साथ नींद का होता है दिमाग पर अलग असर, जानें बच्चों से लेकर बड़ों तक कैसे करती है प्रभावित

जैसे-जैसे एक बच्चे की उम्र बढ़ती है उसके दिमाग पर पड़ने वाले नींद के प्रभावों में भी बदलाव होता है। बचपन में जहां नींद की भूमिका याददाश्त को समर्थन देने और सीखने के लिए होती है, वहीं बढ़ती उम्र में...

बढ़ती उम्र के साथ नींद का होता है दिमाग पर अलग असर, जानें बच्चों से लेकर बड़ों तक कैसे करती है प्रभावित
एजेंसी,वाशिंगटनSat, 19 Sep 2020 04:24 PM
ऐप पर पढ़ें

जैसे-जैसे एक बच्चे की उम्र बढ़ती है उसके दिमाग पर पड़ने वाले नींद के प्रभावों में भी बदलाव होता है। बचपन में जहां नींद की भूमिका याददाश्त को समर्थन देने और सीखने के लिए होती है, वहीं बढ़ती उम्र में नींद दिमाग के रखरखाव और मरम्मत का काम ज्यादा करती है। 

अमेरिकी शोधकर्ताओं के अध्ययन में खुलासा हुआ है कि नींद की भूमिका में यह परिवर्तन ढाई साल की उम्र में आता है। इस समय दिमाग में कई बड़े बदलाव होते हैं जैसा नवजातों में नहीं होता है। ज्यादातर जानवरों को नींद की जरूरत तनाव से होने वाले नुकसान की मरम्मत करने के लिए होती है। इसके अलावा याददाश्त को बेहतर करने और सीखने की क्षमता को बढ़ाने में भी नींद की अहम भूमिका है। 

अस्टिन की यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्सास के शोधकर्ता जुनयू काओ ने कहा, विकास के दौरान और पूरे पशु साम्राज्य में नींद की व्यापकता बताती है कि यह एक जैविक प्रक्रिया है जो जीवित रहने के लिए आवश्यक है। हालांकि, हम अपने जीवन का लगभग एक तिहाई सोते हैं, लेकिन इसका स्पष्ट शारीरिक और विकासवादी कार्य अब भी अस्पष्ट बना हुआ है। 

प्रोफेसर काओ और उनकी टीम ने शून्य से 15 साल के बच्चों पर अध्ययन किया और उनके दिमाग के मेटाबॉलिक रेट, घनत्व और गहरी नींद में बिताए गए समय का डाटा जुटाया। इस शोध से पता चलता है कि दो से तीन साल की उम्र के बीच दिमाग के विकास में बहुत तेजी से बदलाव आता है। इससे पता चलता है कि बढ़ती उम्र और दिमाग के विकास के साथ नींद की भूमिकाएं भी बदलती रहती हैं। 

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें