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पहली बार मां बनने वाली महिलाएं न करें ये गलतियां, बच्चे की परवरिश पर पड़ सकता है बुरा असर

समस्या तब और ज्यादा बढ़ जाती है जब पहली बार मां बनने वाली महिलाओं को नवजात की परवरिश से जुड़ी सभी चीजों की ज्‍यादा जानकारी नहीं होती। ऐसे में अगर आप पहली बार मां बनी हैं तो नवजात शिशु की देखभाल से जु

पहली बार मां बनने वाली महिलाएं न करें ये गलतियां, बच्चे की परवरिश पर पड़ सकता है बुरा असर
Manju Mamgainलाइव हिन्दुस्तान टीम,नई दिल्लीSun, 04 Dec 2022 11:00 AM

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एक शिशु के घर में जन्म लेते ही न सिर्फ परिवार पूरा होता है बल्कि माता-पिता की उसके प्रति कई जिम्मेदारियां भी बढ़ जाती हैं। खासतौर पर तब जब आप पहली बार मां बन रही हों। नवजात बच्‍चा बहुत ही नाजुक होता है। उसे प्यार दुलार के साथ बहुत देखभाल की भी जरूरत होती है। छोटे बच्चों का इम्यून सिस्‍टम कमजोर होने की वजह से वह रोगों की चपेट में जल्‍दी आते हैं। समस्या तब और ज्यादा बढ़ जाती है जब पहली बार मां बनने वाली महिलाओं को नवजात की परवरिश से जुड़ी सभी चीजों की ज्‍यादा जानकारी नहीं होती। ऐसे में अगर आप पहली बार मां बनी हैं तो नवजात शिशु की देखभाल से जुड़ी इन बातों का रखें खास ख्याल। 

नवजात बच्‍चे की देखभाल करते समय ध्यान रखें ये बातें-
साफ सफाई- 

नवजात बच्‍चे की इम्‍यूनिटी कमजोर होने की वजह से वो जल्दी रोगों की चपेट में आ जाता है। ऐसे में बच्‍चे और उसके आसपास की साफ सफाई का खास ख्याल रखें। यदि कोई व्यक्ति बच्चे को गोद में लेता है तो हाथों को अच्‍छे से धोकर ही बच्‍चे को उठाएं।इसके अलावा बच्‍चे को बीमार व्‍यक्ति से दूर रखें, खुद या किसी और को बच्‍चे को चूमने ना दें। बच्चे के लिए ज्‍यादा सुगंधित चीजों का इस्‍तेमाल न करें। यह बच्‍चे के लिए नुकसानदायक हो सकता है।   

समय से हो टीकाकरण- 
बच्‍चे को बीमारियों से दूर रखने के लिए समय-समय पर टीकाकरण करवाना बेहद जरूरी होता है। आप बच्‍चे का एक भी टीका न छोड़े, डाक्‍टर द्वारा बताए गये टीकों को समय-समय के अंतराल में जरूर लगवाएं।

बच्‍चे का रोना -
अक्सर बच्चे के रोने को भूख और नींद से जोड़ दिया जाता है। लेकिन नई मां को यह बात समझनी चाहिए कि बच्चे के रोने के पीछे कई और कारण भी जिम्मेदार हो सकते हैं। जरूरी नहीं बच्‍चा हर बार भूख या नींद के कारण ही रो रहा हो। ऐसे में मां को सर्तक रहकर यह सुनिश्‍चित करना चाहिए कि बच्‍चा क्‍यों रो रहा है। कई बार बच्‍चा गीलेपन और पेट दर्द के कारण भी रोता है। बच्‍चे को ज्‍यादा देर तक डाइपर पहने से भी वो असहज महसूस करके रोने लगता है। 

बच्‍चे की मसाज-
बच्‍चे के विकास और उसकी देखभाल के लिए आप रोजाना बेबी ऑयल से बच्‍चे की मालिश करें। इससे बच्‍चे की हड्डियां मजबूत होंगी। आप बच्‍चे की रोजाना दो बार मसाज कर सकते हैं। ऐसा करते समय ध्यान रखें कि बच्चे की हल्‍के हाथों से ही मसाज करें। 

जच्‍चा-बच्‍चा का खानपान-
नवजात बच्‍चा पूरी तरह से मां के दूध पर निर्भर रहता है। ऐसे में मां का खान-पान संतुलित व पौष्टिक होना बहुत जरूरी है। मां को अपने खाने का विशेष ध्‍यान रखना चाहिए जिससे बच्‍चे पर बुरा असर न पड़े। स्‍तनपान कराने वाली मां को सूखे मेवे, दलिया जेसे पौष्टिक आहार को अपनी डाइट में शामिल करना चाहिए। जिससे बच्चे के लिए पर्याप्त दूध हो सके।    

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