माइग्रेन से पीड़ित लोगों के लिए राहत भरी खबर है। अब दर्द से राहत के लिए एक इंजेक्शन लगवाना होगा, जिसके बाद तीन महीने सिर दर्द नहीं होगा। जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के डॉक्टर इस दवा का ट्रायल करने की तैयारी कर रहे हैं। खास बात यह है कि यह भीषण दर्द से राहत देने के साथ बीमारी को जड़ से खत्म करने में भी कामयाब साबित हुई है।
दवा के शोधकर्ता मेडिसिन विभाग के प्रो. प्रेम सिंह का कहना है कि अब तक जो भी दवा चलन में हैं, उनसे मरीजों को कुछ समय के लिए लाभ मिल जाता है। दवाएं रोजाना खानी पड़ती हैं।
दवा ब्रेक हुई तो दर्द शुरू मगर नई दवा से स्थायी इलाज मिल सकेगा। दुनिया के दूसरे देशों में इसका उपयोग हो रहा है और रिजल्ट बेहतर आ रहे हैं। इसे देखते हुए ट्रायल का फैसला किया गया है।
प्रो. प्रेम सिंह का कहना है कि यह दवा दो प्रकार की होगी। एक इंजेक्शन की जरूरत एक महीने पर पड़ सकती है और दूसरे इंजेक्शन की जरूरत तीन महीने बाद पड़ सकती है। संभव है एक इंजेक्शन के बाद दर्द की तीव्रता हमेशा के लिए कम हो जाए। जल्द ही देश के कई मेडिकल संस्थान मिलकर इस दवा पर ट्रायल करने जा रहे हैं। इसके लिए इथिक्स कमेटी में प्रस्ताव लाया जा रहा है।
माइग्रेन शुरू होने के संकेत
माइग्रेन आरम्भ होने से पूर्व टिमटिमाते प्रकाश जैसे विशिष्ट चेतावनी संकेतों का अहसास होता है। यह बिना किसी चेतावनी के अचानक भी संभव है। कुछ मामलों में सिर दर्द नहीं होता है। अक्सर माइग्रेन के लक्षण चार घंटे से तीन दिन तक रहते हैं।
ये बढ़ाते हैं माइग्रेन
माहवारी का आरम्भ होना, मानसिक तनाव और थकावट।
लक्षण मिले तो सतर्कता जरूरी
-एक या दोनों बाजुओं में कमजोरी या शरीर में एक तरह की कमजोरी
-बोली लड़खड़ाए या अस्पष्ट रहे, दर्द के साथ ब्लड प्रेशर प्रेशर बढ़ जाना
-दौरे या शरीर में चकत्ता, सिरदर्द से अचानक सामने अंधेरा छा जाना
-दर्द से मिचली, उल्टी और लाइट व आवाज से मन उचट जाना
ये भी अहम लक्षण
-अंधेरे कमरे में विश्राम करना चाहते हैं
-पसीना आना, कमजोर एकाग्रता, (व्यग्रता)
-अत्यंत गर्म अथवा अत्यंत ठंडा महसूस करना
-पेट में दर्द और दस्त