डेली लाइफ में शामिल हैं ये फूड, गलती से खा लिया तो हो सकता है मौत का खतरा
Toxic Food That Cause Death: रोजाना खाने में बड़ी ही आसानी से शामिल रहते हैं ये फूड लेकिन इनकी जरा सी ज्यादा मात्रा शरीर को कई सारे नुकसान पहुंचा सकती है। इसलिए खाते समय सावधानी रखनी जरूरी है।

खानपान का ध्यान रखना बेहद जरूरी होता है क्योंकि अच्छी सेहत सही रूटीन और फूड पर टिकी होती है। अक्सर हेल्दी चीजें खाने की सलाह दी जाती है लेकिन इन्हीं हेल्दी चीजों में से कुछ चीजें नुकसानदेह होती है। जिन्हें जरा सी ज्यादा मात्रा में खाने से बॉडी को नुकसान हो सकता है। तो चलिए जानें वो कौन से फूड हैं जो खाने में लापरवाही करने पर जहरीले हो सकते हैं।
हरी आलू
जब भी घर में आलू आती है तो उसमे एक दो आलू हरी दिखती है। इन आलूओं को ना खाने में ही भलाई क्योंकि अगर ज्यादा मात्रा में इन हरी आलूओं को खा लिया जाए तो ये शरीर को नुकसान पहुंचा सकती हैं। एक्सपर्ट के अनुसार अगर हरी आलू की ज्यादा मात्रा खा ली जाए तो इससे सिर दर्द, उल्टी, चक्कर, इंटरनल ब्लीडिंग और कोमा में जाने तक की नौबत आ सकती है। स्टडी के मुताबिक अगर किसी ने 450 ग्राम पूरी हरी आलू खा ली तो इससे मौत का खतरा रहता है।
जायफल
जायफल का इस्तेमाल इंडियन किचन में मसाले की तरह किया जाता है। वहीं जायफल को वजन कम करने के लिए शेक और स्मूदी में भी इस्तेमाल करने की सलाह दी जाती है। लेकिन आप जानते हैं कि इसकी ज्यादा मात्रा शरीर को नुकसान पहुंचाती है। अगर नटमेग को ज्यादा मात्रा यानी 8-10 ग्राम की मात्रा में खा लिया जाए तो इंसान को चक्कर, सिरदर्द, उल्टी जैसी तकलीफ होना शुरू हो जाती है। इसीलिए हमेशा नटमेग को मसाले में बहुत ही कम मात्रा में डाला जाता है।
कड़वे बादाम
बादाम स्वाद में मीठे होते हैं लेकिन कई बार कुछ बादाम का स्वाद कड़वा सा होता है। इन बादाम को भूलकर भी नहीं खाना चाहिए। कड़वे बादाम में हाइड्रोजन साइनाइड नाम का जहरीला कंपाउड होता है। जो बॉडी में जहर फैलाने का काम करता है। स्टडी के मुताबिक अगर किसी ने 6-10 कड़वे बादाम खा लिए तो ये जहर का काम करते हैं।
आधे पके लाल राजमा
अगर लाल राजमा यानी किडनी बीन्स को ठीक से नहीं पकाया और खा लिया तो इससे पेट में दर्द की दिक्कत होने लगती है। आधे पके लाल राजमा में लैक्टीन नाम का टॉक्सिक सब्स्टेंस होता है। वहीं पूरी तरह से पके राजमा में लैक्टीन की मात्रा नहीं होती है।
ब्राउन राइस
ब्राउन राइस काफी फायदेमंद होते हैं। इसे वजन कम करने के साथ डायबिटीज के रोगियों को खाने की सलाह दी जाती है। लेकिन सफेद चावल की तुलना में ब्राउन राइस में आर्सेनिक की काफी ज्यादा मात्रा होती है। जिससे नर्व्स सिस्टम को काफी नुकसान होने का खतरा रहता है। हालांकि ब्राउन राइस को अच्छी तरह से चार से पांच बार धाने से ये आर्सेनिक के तत्व निकल जाते हैं और ये खाने लायक बन जाते हैं।
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