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झारखंड में लॉकडाउन बढ़ाने पर फैसला 13 अप्रैल को : हेमंत सोरेन

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि देश में लॉकडाउन हटने के बाद झारखंड को आर्थिक, रोजगार और स्वास्थ्य संकट से जूझना होगा। राज्य में लॉकडाउन बढ़ाने पर निर्णय इसके लिए गठित टास्क फोर्स की अनुशंसा के बाद...

झारखंड में लॉकडाउन बढ़ाने पर फैसला 13 अप्रैल को : हेमंत सोरेन
हिन्दुस्तान ब्यूरो, रांची। Thu, 09 Apr 2020 05:57 AM
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मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि देश में लॉकडाउन हटने के बाद झारखंड को आर्थिक, रोजगार और स्वास्थ्य संकट से जूझना होगा। राज्य में लॉकडाउन बढ़ाने पर निर्णय इसके लिए गठित टास्क फोर्स की अनुशंसा के बाद 13 अप्रैल को लिया जाएगा।  अभी तक के अनुमान के मुताबिक लॉकडाउन खुलने के बाद करीब सात लाख लोग दूसरे राज्यों से वापस आएंगे। इनकी व्यवस्था में सरकार जुटी है। 

इससे पहले मुख्यमंत्री ने राज्य के प्रमुख चिकित्सकों और निजी अस्पतालों के संचालकों के साथ कोरोना के उपचार और वायरस के फैलाव के रोकने पर विस्तार से चर्चा की। मुख्यमंत्री को डॉक्टरों ने झारखंड में लॉकडाउन बढ़ाने का सुझाव देते हुए कहा कि कोरोना से सुरक्षा का यही उपाय है। लॉकडाउन के बाद वैसे राज्यों से झारखंड के लाखों लोग लौटेंगे जहां संक्रमण अधिक फैला है। ऐसे में झारखंड की हालात अधिक संक्रमित राज्यों जैसी हो जाएगी। बैठक में आईएमए सचिव डॉ प्रदीप कुमार समेत कई चिकित्सकों ने अपने सुझाव रखे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना से लड़ाई में चिकित्सकों की बड़ी भूमिका है। सरकार ने संक्रमण के इस दौर में सामाजिक सुरक्षा को मजबूत कर लिया है, लेकिन स्वास्थ्य सुविधाओं व संसाधनों में हम कुछ पीछे हैं। फिर भी हमें बेहतर परिणाम देना है। मुख्यमंत्री को चिकित्सकों ने जानकारी दी कि दवाओं के दाम बढ़ गए हैं। सरकार इस पर ध्यान दे। मुख्यमंत्री ने आश्वस्त किया कि टीम बनाकर कालाबाजारी को रोका जाएगा।  बैठक में स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता, मुख्य सचिव सुखदेव सिंह, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजीव अरुण एक्का, स्वास्थ्य सचिव डॉ नितिन मदन कुलकर्णी समेत कई चिकित्सक व निजी अस्पतालों के प्रतिनिधि मौजूद रहे।

डॉक्टरों के प्रमुख सुझाव

  • लॉकडाउन बढ़ाया जाए नहीं तो संदिग्धों की बाढ़ आ जाएगी
  • राज्य की सीमा पर रैपिड एंटी बॉडी टेस्ट की व्यवस्था हो
  • पुलिस, प्रशासन और पत्रकारों को सुरक्षा किट मुहैया कराया जाए
  • डॉक्टरों को पांच दिन कोरंटाइन में रखकर संक्रमण की जांच हो  
  • दमकल वाहनों से शहरों में सैनिटाइजेशन कराया जाए
  • मुख्यालय से लेकर जिला स्तर तक एडवाइजरी कमेटी बनाई जाए
  • थर्मल स्कैनर की जगह गेट लगाना चहिए
  • भीड़ वाले जगहों रेलवे, बस स्टैंड, मॉल पर स्टरलाइजिंग टनल लगे
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