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मनोविज्ञान सिखाता है परिस्थितियों ढालने की कला

एसएस मेमोरियल कॉलेज के मनोविज्ञान विभाग की ओर से शुक्रवार को संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इसका विषय था- ‘व्यक्तिगत जीवन में मनोविज्ञान की उपयोगिता। इसमें मुख्य वक्ता के रूप में रांची विश्वविद्यालय के...

मनोविज्ञान सिखाता है परिस्थितियों ढालने की कला
हिन्दुस्तान टीम,रांचीSat, 20 Jan 2018 01:02 AM
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एसएस मेमोरियल कॉलेज के मनोविज्ञान विभाग की ओर से शुक्रवार को संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इसका विषय था- ‘व्यक्तिगत जीवन में मनोविज्ञान की उपयोगिता। इसमें मुख्य वक्ता के रूप में रांची विश्वविद्यालय के पीजी मनोविज्ञान विभाग के पूर्व विभागाध्यक्ष डॉ शाहिद हसन मौजूद थे। अध्यक्षता प्राचार्या डॉ शमशुन निहार ने की। डॉ शादिन हसन ने मनोविज्ञान के प्रभाव को विस्तार से समझाया। उन्होंने कहा कि व्यक्ति को परिस्थितियों के अनुसार खुद को ढालने की कला मनोविज्ञान सिखाता है। प्राचीन काल में यह चिकित्सा पद्धति का भी अंग था। उन्होंने बताया कि मनोविज्ञान मानव मन की जटिलताओं को सुलझा लेता है। विभाग की पूर्व विभागाध्यक्ष रहीं डॉ रेखा त्रिपाठी ने कहा कि दो लोगों के बीच बेहतर संवाद बनाने में मनोविज्ञान कारगर है। उन्होंने कहा कि आज के दौर में लोग तनावग्रस्त हैं। समाज में कुंठा और हिंसा बढ़ रही है। इन समस्याओं का निदान मनोविज्ञान में है। विद्यार्थियों ने कई सवाल भी पूछे, जिनके जवाब दिए गए। संचालन कॉलेज के मनोविज्ञान विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ रेणु कुमारी ने किया। कार्यक्रम में डॉ एजाज अहमद, प्रो मोहित कुमार लाल, डॉ पीआर लाहा, डॉ श्रीप्रकाश, डॉ प्रगति प्रसाद, डॉ आभा रानी समेत अन्य शिक्षकगण व बड़ी संख्या में विद्यार्थी मौजूद थे।

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