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युवा सशक्तीकरण की राह में बाल विवाह और किशोर गर्भावस्था बड़ी बाधाएं

दसरा ने राज्य के 325 गांवों और शहरी वार्डों के 41393 घरों में किया सर्वेक्षणरांची। हिन्दुस्तान ब्यूरो‘झारंखंड में किशोरियों की स्थिति में कहा गया है कि झारखंड में युवा आबादी की क्षमता का लाभ लेने की...

युवा सशक्तीकरण की राह में बाल विवाह और किशोर गर्भावस्था बड़ी बाधाएं
हिन्दुस्तान टीम,रांचीWed, 15 Jan 2020 08:06 PM
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‘झारंखंड में किशोरियों की स्थिति में कहा गया है कि झारखंड में युवा आबादी की क्षमता का लाभ लेने की राह में बाल विवाह और किशोर गर्भावस्था दो प्रमुख चुनौतियां हैं। राष्ट्रीय युवा दिवस के अवसर पर जारी ताजा रिपोर्ट के मुताबिक 10 से 19 दसरा अडोलसेंट्स कोलाबोरेटिव ने शिक्षा, यौन और प्रजनन अधिकार रोजगार, मीडिया पहुंच और शीघ्र विवाह की स्थिति का जायजा लिया गया है। लोगों के जीवन में विकास के क्षेत्रों का अध्ययन करने के लिए पूरे झारखंड के 15,963 किशोरों और युवाओं (10-21 आयु वर्ग) का सर्वेक्षण किया। देश में किशोरों के सामने आने वाली बहुआयामी चुनौतियों को समझने के एक विशेष प्रयास में, झारखंड के 325 गांवों और शहरी वार्डों के 41393 घरों में सर्वेक्षण किया गया था।दसरा की एसोसिएट डायरेक्टर शैलजा मेहता के मुताबिक “नीति आयोग के सस्टेकनेलेबल डेवलपमेंट गोल्सक (एसडीजी) इंडिया इंडेक्स 2019 में, झारखंड महत्वाकांक्षी राज्य श्रेणी में आता है। इसे एसडीजी के मामले में अपने प्रदर्शन में तेजी लाने की आवश्यकता है। युवा आबादी की पूर्ण क्षमता विकसित करके एसडीजी के मामले में तेज प्रगति हासिल की जा सकती है। ‘झारंखंड में किशोरियों की स्थिति रिपोर्ट की सिफारिश है कि सरकार और गैर-लाभकारी संगठनों को स्वास्थ्य के क्षेत्र में राष्ट्रीय किशोर स्वास्थ्य कार्यक्रम (आरकेएसके), शिक्षा के क्षेत्र में समग्र शिक्षा अभियान, कौशल एवं रोजगार के क्षेत्र में राष्ट्रीय कौशल विकास मिशन और तेजस्विनी कार्यक्रम, तथा सशक्तिकरण और नेतृत्व निर्माण के क्षेत्रों में एसएजी कार्यक्रम, नेहरू युवा केंद्र संगठन और आरकेएसके की समुदाय आधारित गतिविधियों के बेहतर कार्यान्व यन के लिए ध्यान देने की जरूरत है।बाल विवाह और किशोर गर्भावस्था का अत्यधिक प्रसार राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण (एनएफएचएस)-4 के निष्कर्षों की पुष्टि करते हुए रिपोर्ट झारखंड में बाल विवाह के व्यापक प्रसार को दर्शाती है। जहां 15-21 वर्ष की चार फीसदी लड़कियों का विवाह 15 वर्ष की आयु से पहले किया गया था, और 18-21 वर्ष की आयु की एक तिहाई (33 फीसदी) लड़कियों का विवाह 18 वर्ष की आयु से पहले हो गया था।

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