सरिया:ओवरब्रिज मामले पर सरिया बाजार गरमाया
सरिया बाजार में ओवरब्रिज बनाने के मामले ने पूरी तरह करवट ले लिया है। मुख्य बाजार में रहने वाले लगभग 550 परिवार के लोगों में जबरदस्त आक्रोश देखा जा रहा है। लोग अब बैठक व आंदोलन के मूड में दिखने लगे...
सरिया बाजार में ओवरब्रिज बनाने के मामले ने पूरी तरह करवट ले लिया है। मुख्य बाजार में रहने वाले लगभग 550 परिवार के लोगों में जबरदस्त आक्रोश देखा जा रहा है। लोग अब बैठक व आंदोलन के मूड में दिखने लगे हैं। दरअसल आक्रोश के पीछे मंगलवार एवं बुधवार को सरिया झंडा चौक से बजरंगबली मंदिर तक अमीनों द्वारा की जा रही मापी थी। इनके द्वारा बीच सड़क से दोनों ओर करीब 40-42 फीट की नापी कर चिन्हित किया जा रहा है, जो कुल मिलाकर 84 फीट हो जाता है। जिसके अंदर बाजार की लगभग दुकान व मकान पूरी तरह ध्वस्त हो जायेंगे और ऐसे में हजारों लोग प्रभावित हो रहे हैं। इस दायरे में ना तो इनका रोजगार बचता है, न घर बचता है। जानकारी ये भी मिली है कि नापी के दौरान कई जगहों पर तू तू मैं मैं की स्थिति बन गयी है। पूर्व में लोगों को विभाग द्वारा यह आश्वस्त किया गया था कि कुल 42 फीट ही ओवरब्रिज निर्माण में लिया जायेगा। लोगों को रेलवे फाटक के जाम से राहत मिलती, इसलिए लोग इसमें तैयार थे पर अब 84 फीट लेने के विभागीय रवैये ने लोगों को आंदोलन करने पर मजबूर कर दिया है।
नेताओं ने दी आंदोलन करने की चेतावनी:
इधर मामले की जानकारी मिलने पर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री सह झाविमो सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि जो काम जनता के हित में होना चाहिए, अगर वो जनता को बर्बाद करने में हो रहा है और खासकर सरिया जैसे छोटे बाजार को समाप्त करने में तो यह उचित नहीं है। और, इसके लिए दोषी लोगों को जनता माफ नहीं करेगी। यह काम बायपास बनाकर भी हो सकता था। जनहित से जुडे इस मुद्दे को लेकर झाविमो प्रजातांत्रिक तरीके से आंदोलन के लिए बाध्य होगी। वहीं बगोदर के पूर्व विधायक बिनोद कुमार सिंह ने कहा कि इस काम को आरंभ करने से पहले रेल अधिकारी, विभागीय अधिकारी, प्रशासन के लोग, प्रभावित हो रहे बाजार के लोगों एवं जनप्रतिनिधियों तथा बुद्धिजीवियों के साथ बैठक कर मामले पर बिंदुवार समीक्षा कर ही कोई निर्णय लिया जाना चाहिए था। जिससे कार्य भी हो और बाजार को पूर्णत: नुकसान भी ना हो। वैसे फ्लाईओवर या बायपास बेहतर विकल्प था। जबकि झामुमो के जिला अध्यक्ष संजय सिंह व उपाध्यक्ष त्रिभुवन मंडल ने भी इस तरह के जनविरोधी निर्माण की आलोचना की है और बायपास को बेहतर विकल्प बताया है। जनहित में आंदोलन किया जाएगा है। जिप सदस्या रजनी कौर, भाजपा नेता संजय मोदी, डा.सज्जाद अली ने भी इसकी आलोचना की है और सरकार से गुजारिश की है कि नागरिकों की बेहतरी के लिए काम करें, ना की उन्हें बेघर करने के लिए।