सहकार से समृद्धि ग्रामीण विकास की अहम बुनियाद: डीजीएम
गिरिडीह में नाबार्ड ने एक दिवसीय क्लस्टर कार्यशाला का आयोजन किया, जिसमें झारखंड के विभिन्न जिलों के लगभग 80 पैक्सों ने भाग लिया। कार्यशाला में सहकारी समितियों की बेहतरी और व्यवसाय विकास योजनाओं पर...

गिरिडीह, प्रतिनिधि। नाबार्ड झारखंड क्षेत्रीय कार्यालय ने सोमवार को गिरिडीह के एक होटल में पैक्स के लिए एक दिवसीय क्लस्टर कार्यशाला आयोजित की। कार्यशाला में गिरिडीह, कोडरमा, हजारीबाग, धनबाद और बोकारो के लगभग 80 पैक्सों ने भाग लिया। कार्यशाला का उद्घाटन नाबार्ड के डीजीएम प्रफुल रंजन झा ने किया। उन्होंने सहकारी समितियों की बेहतरी के लिए भारत सरकार, सहकारिता मंत्रालय द्वारा की जा रही विभिन्न पहलों से पैक्स को अवगत कराया। उन्होंने पैक्स की व्यावसायिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए नए मॉडल उपनियमों के आलोक में पैक्स के साथ व्यवसाय विकास योजना पर भी चर्चा की। कार्यशाला के दौरान गिरिडीह के डीडीएम आशुतोष प्रकाश ने पैक्स के लिए विभिन्न केंद्रीय और नाबार्ड योजनाओं की जानकारी दी और जिला सहकारिता पदाधिकारी अश्विनी ओझा ने राज्य सरकार की विभिन्न पहलों पर प्रकाश डाला। पीडब्ल्यूसी सलाहकार द्वारा भारत सरकार की कम्प्यूटरीकरण योजना के तहत पैक्स को ई-पैक्स में बदलने के लिए एक विशेष सत्र भी लिया गया। झारखंड मिल्क फ़ेडरेशन के कौशलेन्द्र ने समितियों को डेयरी क्षेत्र में जुडने सम्बन्धी जानकारी दी एवं विस्तृत सर्वे फ़ारमैट भी साझा किया। कार्यक्रम में धनबाद के डीडीएम रवि लोहानी, कोडरमा के डीडीएम मोज़म्मिल हुसैन, हज़ारीबाग़ के डीडीएम (अतिरिक्त प्रभार) मृत्युंजय बख्शी भी उपस्थित थे।
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