हैवी ब्लास्टिंग से फटी नदी की जमीन, लोगों के समक्ष जल संकट
लोयाबाद में हैवी ब्लास्टिंग के कारण एकड़ा नदी किनारे जमीन फट गई, जिससे जल संकट गहराने लगा है। बीसीसीएल और आउटसोर्सिंग प्रबंधन ने युद्ध स्तर पर ढलाई का कार्य शुरू किया है। नदी में पानी घुसने से एक लाख...

लोयाबाद, प्रतिनिधि। हैवी ब्लास्टिंग की वजह से एकड़ा नदी किनारे जमीन फटने से नदी का बहाव मांईंस में घुसने लगा था। इससे आसपास के कई गांवों में जल संकट गहराने लगा। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए बीसीसीएल और आउटसोर्सिंग प्रबंधन ने शुक्रवार से संयुक्त रूप से युद्धस्तर पर ढलाई का कार्य शुरू कर दिया है। बताया जाता है कि करीब एक सप्ताह पूर्व नदी के समीप संचालित माइंस में तेज ब्लास्टिंग के कारण लगभग 200 मीटर लंबा हिस्सा फट गया, जिसमें नदी का सारा पानी समा गया। इससे लोयाबाद 5 नंबर, 20 नंबर, कोक प्लांट, पावर हाउस, न्यूड्रिप, एकड़ा हरिजन बस्ती और मजार शरीफ बस्ती सहित करीब एक लाख लोग जल संकट से जूझने लगे।
घटना की सूचना पर पीवी एरिया महाप्रबंधक की अध्यक्षता में आपात बैठक हुई। निर्णय के बाद दो दिन पूर्व से नदी में रड डालकर ढलाई कार्य प्रारंभ कर दिया गया। एसएनआर आउटसोर्सिंग के साइड इंचार्ज श्रीराम पांडे ने बताया कि पानी घुसने से प्रोजेक्ट ठप हो गया है, पर टीम युद्धस्तर पर काम कर रही है। इगल आउटसोर्सिंग कंपनी के जीएम राकेश सिंह ने कहा कि पानी घुसने से सिम-16 व 17 पूरी तरह डूब चुके हैं। माइंस से पानी निकालने के लिए 24,000 जीपीएम क्षमता का पंप लगाया गया है। उन्होंने बताया कि स्थायी समाधान के लिए नदी में 500 मीटर लंबा हीम पाइप डालने की योजना है। चार लेयर में पाइप डाले जाएंगे ताकि पानी का बहाव नियंत्रित रहे। साथ ही स्थानीय लोगों की सुविधा के लिए सुरक्षित स्थान पर पानी टंकी बनाई जाएगी। इस कार्य पर लगभग चार से पांच करोड़ रुपये खर्च का अनुमान है और इसे पूरा करने में 10 से 15 दिन लगेंगे। इधर, नदी प्रभावित होने से छठ पूजा और अंतिम संस्कार जैसे आवश्यक कार्यों के लिए एकमात्र जलस्रोत बंद हो जाने से ग्रामीणों की चिंता बढ़ गई है।
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