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दशकों पुराने बीसीसीएल के जर्जर क्वार्टर जानलेवा

दशकों पुराने बीसीसीएल के जर्जर क्वार्टर जानलेवा

संक्षेप: धनबाद के बीसीसीएल कोलियरी क्षेत्रों में दशकों पुराने मजदूर आवास जर्जर हो गए हैं। देखरेख की कमी से छत और छज्जा गिरने की घटनाएं बढ़ रही हैं, जिससे लोग घायल हो रहे हैं। डेंजर जोन में स्थित आवासों को...

Thu, 11 Sep 2025 06:06 AMNewswrap हिन्दुस्तान, धनबाद
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धनबाद। विशेष संवाददाता। बीसीसीएल के कोलियरी क्षेत्रों में मजदूरों के लिए दशकों पूर्व बनाए गए मजदूर आवासों की हालत जर्जर हो गई है। देखरेख के अभाव में आवासों की छत के प्लास्टर और छज्जा आए दिन गिरते हैं। कई लोग चोटिल भी हो चुके हैं। भूमिगत आग और भू-धंसान प्रभावित क्षेत्रों में कंपनी के हजारों आवास हैं, जिनपर कब्जा कर लोग रहे हैं। डेंजर जोन घोषित क्षेत्रों में आवास खाली कर उसे जमींदोज यानी गिराने का निर्देश है। इसके बावजूद लोग जर्जर आवास में रह रहे हैं। डेंजर जोन स्थित आवास की भी मरम्मत नहीं होती है। लोदना क्षेत्र के एमओसीपी इलाके में प्रबंधन की ओर से दशकों पूर्व मॉडल कॉलोनी के रूप में सैकड़ों क्वार्टर बनाए गए थे, जिनकी हालत इन दिनों जर्जर हो गई है।

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हाल में छज्जा गिरने की घटना हुई थी। भूली, ईजे एरिया भौंरा पूर्वी क्षेत्र के दुर्गा मंदिर व सात नंबर फ्लैट में कुछ महीने पहले छज्जा गिरने की घटना घटी थी। झरिया में बीसीसीएल के दशकों पूर्व बने घरों की हालत इन दिनों काफी जर्जर हो गई है। हजारों की संख्या में वहां लोग रहते हैं। झरिया के लोदना, बागडीगी, जयरामपुर, नॉर्थ तिसरा, साउथ तिसरा, गोलकडीह, एना-इस्लामपुर, बस्ताकोला, राजापुर, बेरा, दोबारी, घनुडीह, मोहरीबांध, बरारी, पाथरडीह, डिगवाडीह, पाथरडीह, जियलगोरा, भौंरा आदि क्षेत्रों में बीसीसीएल के हजारों आवास जर्जर हैं। सेवानिवृत्ति के कारण कोयला कर्मियों की संख्या घटने के साथ कंपनी के क्वार्टर पर कब्जा होता गया। पूरे मामले में बीसीसीएल प्रबंधन सूत्रों का कहना है कि जिन आवासों को खाली होते ही गिराना है उनकी मरम्मत कैसे कर सकते हैं। जहां कंपनी के कर्मी रहते हैं उनकी नियमित मरम्मत होती है। कुछ आवास राष्ट्रीयकरण के पहले तो कुछ राष्ट्रीयकरण के बाद के: पूर्व के आंकड़े के अनुसार बीसीसीएल कोयला क्षेत्र में अब भी 24-25 हजार आवास हैं। ज्यादातर कोयला कर्मी नए क्वार्टर में शिफ्ट हो गए हैं। पुराने आवास में सेवानिवृत्त कर्मी, उनके नाते-रिश्तेदार या फिर कब्जेधारी रह रहे हैं। कब्जे वाले क्वार्टर की सामन्यत: मरम्मत नहीं होती है। भूमिगत आग एवं भू-धंसान प्रभावित क्षेत्र में तो बढ़िया क्वार्टर को भी गिराने का निर्देश है।