मैनेजर की गिरफ्तारी के बाद बावनबीघा रोड में सन्नाटा
मधुपुर में राधा इंटरप्राइजेज के मैनेजर मोहम्मद नौशाद आलम पर छेड़खानी का मामला दर्ज किया गया। गिरफ्तारी के बाद कंपनी से जुड़े हजारों युवक-युवतियां घरों से बाहर नहीं निकले। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की,...

मधुपुर। स्थानीय बावनबीघा स्थित नेटवर्क कंपनी राधा इंटरप्राइजेज के मैनेजर बिहार के समस्तीपुर जिला अंतर्गत उजियारपुर थाना क्षेत्र के निवासी मोहम्मद नौशाद आलम पर छेड़खानी का मामला दर्ज होने के बाद बावनबीघा रोड में शुक्रवार को सन्नाटा पसरा रहा। भाड़े के मकान में रह रहे नेटवर्क कंपनी से जुड़े हजारों युवक-युवतियां घर से बाहर नहीं निकले। स्थानीय लोगों का कहना है कि कंपनी के मैनेजर की गिरफ्तारी के बाद खलबली मच गई है। दर्जनों लड़के लड़कियां सच्चाई उजागर होने के बाद अपने घर रवाना हो गए। शुक्रवार को सड़क पर लाइन लगाकर चलने वाले लड़के लड़कियां गायब थे। सभी को कथित रूप से सुबह और शाम में प्रशिक्षण दिया जाता है।
बता दें कि डालटनगंज की दो लड़कियों ने नेटवर्क कंपनी के मैनेजर पर अश्लील हरकत करते हुए छेड़खानी करने और बंधक बनाकर रखने का आरोप लगाते हुए मधुपुर थाने में मामला दर्ज कराया था। पुलिस ने मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए मैनेजर को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। बताया जाता है कि नेटवर्क कंपनी बेरोजगार युवक युवतियों को आकर्षक नौकरी का झांसा देकर मधुपुर बुलाते हैं। बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश समेत कई राज्यों के बेरोजगारों को नेटवर्क कंपनी से जोड़ा गया है। प्रत्येक बेरोजगारों से न्यूनतम 25 हजार रूपए कंपनी से जोड़ने के नाम पर वसूला जाता है। जब तक लड़के लड़कियां निर्धारित राशि नहीं देते तब तक उनका खूब खातिरदारी किया जाता है। पैसा वसूलने के बाद सभी को भेड़ बकरियों की तरह समूह में रहने को भेज दिया जाता है। बेरोजगार लड़के-लड़कियों को समुचित खाना भी नहीं दिया जाता। नेटवर्क कंपनी में प्रतिदिन औसतन सौ बेरोजगारों को जोड़कर प्रतिदिन लाखों रुपए की कमाई की जा रही है। सभी को बंगला, गाड़ी और हजारों रुपए का मासिक वेतन का ख्वाब दिखाया जाता है। कुछ माह बीतने के बाद जब बेरोजगार अपने को ठगा महसूस करते हैं, तो वापस घर लौट जाते हैं। हैरत की बात तो यह है कि युवक- युवतियों को अपने रिश्तेदारों को फोन कर नेटवर्क कंपनी से जोड़ने का टारगेट निर्धारित किया जाता है। नेटवर्क कंपनी यूं तो ऑर्गेनिक खाद, देसी सामानों की बिक्री करने का दावा करती है, लेकिन अधिकांश दिखावा होता है। नेटवर्क कंपनियों के लिए मधुपुर का इलाका सुरक्षित अड्डा बन गया है। कई सफेदपोश इस धंधे को संरक्षण देते हैं। बाहर से आने वाले लड़के- लड़कियों को स्थानीय लोगों से बातचीत करने की मनाही है। खासकर कंपनी के संबंध में किसी तरह की जानकारी साझा नहीं करनी है। नेटवर्क कंपनी के संचालक पूर्व में भी जेल जा चुके हैं, उसके बावजूद यह धंधा फिर से चालू हो जाता है।
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