हजारीबाग केंद्रीय कारा के मुख्य उच्च कक्षपाल के निलंबन की खबर मिलते ही सिमरिया प्रखंड के सलगी निवासी राधिका रमण सिंह के दिल को अब जाकर सुकून मिला। दरअसल श्री सिंह का पुत्र प्रभात कुमार दहेज उत्पीड़न के मामले में केंद्रीय कारा में बंद है। तीन वर्ष पूर्व कक्षपाल ने मोबाइल रखने के आरोप में प्रभात के अलावा दो अन्य कैदियों को कपड़ा उतरवाकर जमकर पीटा था,और थूक कर चटवाया था। हालांकि बाद में उच्च अधिकारियों के पास इस बात की शिकायत पहुंचने पर कक्षपाल को निलंबित कर दिया था। निलंबन से तिलमिलाए कक्षपाल ने प्रभात को बदला लेने की धमकी दे डाली थी। इधर एक महीना पूर्व उक्त कक्षपाल के फिर हजारीबाग केंद्रीय कारा में पदस्थापना हो जाने के बाद प्रभात के पिता सकते में आ गए। उन्हें यह डर सताने लगा कि अब शायद उक्त कक्षपाल प्रभात को फिर से प्रताड़ित करना शुरू कर देगा। उन्होंने इस संबंध में कारा विभाग के उच्च अधिकारियों को फिर पत्र लिखा। हालांकि उक्त कक्षपाल को कोरोना की जानकारी छिपाने के आरोप में निलंबित किया गया है। पर प्रभात के पिता का कहना है कि भगवान ने उनकी सुन ली। भगवान के घर देर है, अंधेर नहीं। प्रभात के पिता ने कहा कि उक्त कक्षपाल द्वारा प्रताड़ित होने के कारण प्रभात डिप्रेशन का शिकार हो गया था। और हमेशा गुमसुम डरा सहमा रहता था।
अगली स्टोरी