चित्राल जिले पर आतंकियों का कब्जा, कई जवान किडनैप; तहरीक-ए-तालिबान के आगे पाक आर्मी का सरेंडर
ताजा हमले पाकिस्तानी सेना के लिए नई मुसीबत लेकर आए हैं। चित्राल पर कब्जा करने पर तहरीक ए तालिबान का बयान सामने आया है। इसने कहा कि चित्राल में हजारों टीटीपी आतंकवादी तैनात हैं।

तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) ने बुधवार को पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के चित्राल जिले में "बड़े पैमाने पर" सैन्य आक्रमण शुरू किया। इस आतंकी संगठन ने कथित तौर पर क्षेत्र के कई गांवों पर कब्जा कर लिया है। इस हमले में कई पाकिस्तानी सुरक्षाकर्मी भी मारे गए हैं। टीटीपी को पाकिस्तान तालिबान के नाम से भी जाना जाता है। टीटीपी के एक प्रमुख कमांडर ने कहा, "टीटीपी ने चित्राल जिले में एक ऑपरेशन शुरू किया है और विभिन्न गांवों पर कब्जा कर लिया गया है। यह आज सुबह 4 बजे (पाकिस्तान समय) शुरू हुआ। हम तस्वीरें साझा करेंगे। वर्तमान में, हमारे पास खराब इंटरनेट है।"
ताजा हमले पाकिस्तानी सेना के लिए नई मुसीबत लेकर आए हैं। चित्राल पर कब्जा करने पर तहरीक ए तालिबान का बयान सामने आया है। इसने कहा कि चित्राल में हजारों टीटीपी आतंकवादी तैनात हैं और पिछले दो दिनों से तीव्र झड़पें चल रही हैं। रिपोर्टों से संकेत मिलता है कि टीटीपी द्वारा 90 से अधिक पाकिस्तानी सेना के जवानों का अपहरण कर लिया गया है। हमलों में 11 सैनिक मारे गए हैं। वहीं 40 से अधिक सैनिक घायल हुए हैं।
अलग-अलग दावे कर रहे आतंकी और पाक सेना
वहीं पाकिस्तानी सेना ने दावा किया कि बुधवार को उसने चित्राल जिले के कलश क्षेत्र में बड़े आतंकी हमले को विफल कर दिया। पाकिस्तान सेना की मीडिया विंग के अनुसार, गोलीबारी के दौरान कम से कम 12 आतंकवादी मारे गए, जबकि चार पाकिस्तानी सैनिक शहीद हो गए। आईएसपीआर ने कहा कि बढ़ते खतरे के माहौल के कारण सुरक्षा पहले से ही हाई अलर्ट पर थी। हालांकि टीटीपी ने 11 पाकिस्तानी सैनिकों की हत्या का दावा किया है, वहीं पाकिस्तानी सेना ने 4 सैनिकों के मारे जाने की पुष्टि की है।
आतंकी संगठन ने कहा, "पाकिस्तानी सेना एक बार फिर से फेल साबित हुई है और इसी वजह से वे दावा कर रहे हैं कि हमने अफगानिस्तान की जमीन का इस्तेमाल हमले के लिए किया है। पाकिस्तानी सेना को हम बताना चाहते हैं कि हजारों की तादाद में हमारे लड़ाके चित्राल में पहले से ही मौजूद हैं।" आतंकियों ने दावा किया कि यह अभियान चित्राल के लोगों की मांग पर शुरू किया गया है।
आतंकियों का कहना है कि वे अफगानिस्तान की तरह पाकिस्तान में शरिया कानून लागू करेंगे। इस अभियान के दौरान उन्हें चित्राल के लोगों का पूरा समर्थन मिलने का दावा किया जा रहा है। उसने कहा कि लोग पाकिस्तान के अन्याय से ऊब गए हैं और वे पाकिस्तान के अन्य इलाकों में भी इसी तरह के सफल अभियान को चलाने की मांग कर रहे हैं।
अफगानिस्तान के तालिबानियों से भी हो रहीं झड़पें
अधिकारियों ने बुधवार को कहा कि इस बीच, पाकिस्तान और अफगान बलों के बीच तोरखम में सीमा पर गोलीबारी हुई, जिससे दोनों देशों के बीच व्यापार और लोगों की आवाजाही के लिए मुख्य क्रॉसिंग प्वाइंट बंद हो गया। ताजा झड़पों के बारे में अभी तक किसी भी पक्ष की ओर से कोई बयान नहीं आया है, लेकिन अधिकारियों ने निजी तौर पर कहा कि सीमा पर एक चौकी बनाने के अफगान पक्ष के प्रयासों के कारण झड़प शुरू हुई थी।
दोनों देशों के बीच बनी सहमति के अनुसार, तोरखम में सीमा के दोनों ओर कोई भी नया निर्माण दूसरी तरफ से मंजूरी लेने के बाद ही किया जा सकता है। हालांकि, अधिकारियों के अनुसार अफगान पक्ष ने पाकिस्तानी पक्ष को विश्वास में लिए बिना नई चौकी का निर्माण शुरू कर दिया, जिसके कारण झड़पें हुईं। दोनों तरफ से किसी के हताहत होने की खबर नहीं है।
हालांकि, गोलीबारी के कारण दोनों देशों के बीच की प्रमुख सीमा बंद हो गई। सोशल मीडिया पर जारी फुटेज में दिखाया गया है कि लोग छिपने के लिए भाग रहे हैं क्योंकि उनके पीछे गोलियों की आवाज सुनी जा सकती है। सीमा बंद होने के कारण दोनों तरफ सामान ले जाने वाले सैकड़ों ट्रक फंसे हुए हैं। आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि दोनों पक्षों ने स्थिति को शांत करने के लिए घटना के तुरंत बाद द्विपक्षीय तंत्र को सक्रिय कर दिया। यह पहली बार नहीं है जब तोरखम सीमा बंद की गई। इससे पहले भी, दोनों देशों के बीच गोलीबारी हुई थी और हताहत भी हुए थे। ताजा घटना पर दोनों तरफ से चुप्पी से पता चलता है कि दोनों पड़ोसी देश इस घटना को कमतर करने की कोशिश कर रहे हैं।
