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श्रीलंका धमाके से 10 दिन पहले मिली थी खुफिया रिपोर्ट, चर्च पर हमले की हो रही है तैयारी

श्रीलंका में आतंकी हमलों की खुफिया जानकारी सरकार को पहले ही मिल चुकी थी, लेकिन इसके बावजूद सुरक्षा को लेकर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। 11 अप्रैल को मिले एक पत्र में इस बात को लेकर साफ चेतावनी दी गई...

श्रीलंका धमाके से 10 दिन पहले मिली थी खुफिया रिपोर्ट, चर्च पर हमले की हो रही है तैयारी
एजेंसी,कोलंबोWed, 24 Apr 2019 05:39 AM
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श्रीलंका में आतंकी हमलों की खुफिया जानकारी सरकार को पहले ही मिल चुकी थी, लेकिन इसके बावजूद सुरक्षा को लेकर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। 11 अप्रैल को मिले एक पत्र में इस बात को लेकर साफ चेतावनी दी गई थी कि एक स्थानीय समूह श्रीलंका में गिरजाघरों पर आत्मघाती हमला करने की योजना बना रहा है।

डिप्टी इंस्पेक्टर जनरल ऑफ पुलिस प्रियालाल दिसानायक के हस्ताक्षर वाले पत्र में श्रीलंका की सुरक्षा एजेंसियों के निदेशकों को यह खुफिया जानकारी दी गई थी। उन्होंने नेशनल तौहीक जमान के नेता मोहम्मद जहारान का भी जिक्र किया है और कहा है कि खुफिया रिपोर्ट इस ओर इशारा करती है कि जहारान समूह देश में आत्मघाती हमले की तैयारी कर रहा है।

दिसानायक ने चारों सुरक्षा निदेशकों को इस दिशा में जरूरी कदम उठाने को कहा था, जिसके अंतर्गत अहम स्थानों और महत्वपूर्ण व्यक्तियों की तरफ विशेष ध्यान देना था।  देश के रक्षा मंत्री हेमासिरी फर्नांडो ने भी मंगलवार को स्थानीय मीडिया से बातचीत में इस बात को स्वीकार किया कि खुफिया जानकारी पहले मिल जाने के बावजूद देश में बड़ी संख्या में मौजूद गिरजाघरों को सुरक्षा प्रदान करना तकरीबन 'असंभव' था।

फर्नांडो ने कहा कि, ''इन हमलों की जानकारी पहले मिल जाने के बाद भी गत रविवार को इतनी अधिक संख्या में मौजूद चर्चों को सुरक्षा प्रदान करना असंभव था।" उन्होंने संडे टाइम्स से कहा कि सरकार ने कल्पना नहीं की थी कि इतने बड़े पैमाने पर हमले को अंजाम दिया जायेगा। फर्नांडो ने कहा कि देश की खुफिया एजेंसियों ने सरकार को पहले ही सूचित कर दिया था कि देश में एक छोटा लेकिन ताकतवर आपराधिक समूह सक्रिय है।

इस्लामिक स्टेट ने ली श्रीलंका में सीरियल ब्लास्ट की जिम्मेदारी, मरने वालों की संख्या बढ़कर 321

माना जा रहा है कि सात आत्मघाती हमलावरों ने इन हमलों को अंजाम दिया। इनका संबंध स्थानीय कट्टर इस्लामिक संगठन नेशनल तौहीद जमात (एनटीजे) से माना जा रहा है। हालांकि हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट ने ली है।

वहीं दूसरी ओर श्रीलंका सरकार ने इस संभावित आतंकी हमले की अग्रिम जानकारी होने के बावजूद कार्रवाई करने में नाकाम रहने को लेकर माफी मांगी है। सरकार के प्रवक्ता रजीथा सेनारत्ने ने कहा कि धमाकों की चेतावनी पहले ही मिल गई थी। उन्होंने कहा, ''हमें बहुत बहुत दुख है, बतौर सरकार हमें कहना चाहिये..हम इस घटना को लेकर परिवारों और संस्थाओं से क्षमा मांगते हैं।"

अब तक 40 संदिग्ध गिरफ्तार
पुलिस प्रवक्ता रूवान गुणाशेखरा ने बताया कि श्रीलंका पुलिस ने पिछले 24 घंटे के दैरान 16 और गिरफ्तारियां की हैं जिससे अबतक गिरफ्तार किये गये संदिग्धों की कुल संख्या 40 हो गयी है। गुणाशेखरा ने कहा, ''उनमें से 26 सीआईडी के पास हैं, तीन आतंकवाद जांच संभाग की गिरफ्त में हैं। उनमें से नौ को पहले ही हिरासत में भेज दिया गया है और दो कोलंबो के दक्षिण में एक थाने में हैं।"
     
हमले में 10 भारतीय सहित 321 की मौत
श्रीलंका में ईस्टर के मौके पर तीन गिरजाघरों और लक्जरी होटलों में जबर्दस्त धमाके हुए थे जिसमें 321 लोगों की जान चली गयी और 500 से अधिक अन्य घायल हो गये। मारे गये लोगों में 10 भारतीयों समेत 38 विदेशी हैं। ये विस्फोट स्थानीय समयानुसार रविवार (21 अप्रैल) को सुबह साढ़े आठ बजे ईस्टर प्रार्थना सभा के दौरान कोलंबो के सेंट एंथनी चर्च, पश्चिमी तटीय शहर नेगोम्बो के सेंट सेबेस्टियन चर्च और बट्टिकलोवा के एक चर्च में हुए थे। वहीं अन्य तीन विस्फोट पांच सितारा होटलों - शंगरीला, द सिनामोन ग्रांड और द किंग्सबरी में हुए।

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