इंडिया गठबंधन ने उपराष्ट्रपति चुनाव को बताया वैचारिक लड़ाई
विपक्षी इंडिया गठबंधन ने आगामी उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए पूर्व जज जस्टिस बी सुदर्शन रेड्डी को अपना प्रत्याशी चुना है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने इस निर्णय की पुष्टि की। नामांकन की अंतिम...

विपक्षी इंडिया गठबंधन ने मंगलवार, 19 अगस्त को आगामी उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए अपने प्रत्याशी की घोषणा कर दी.इंडिया गठबंधन ने सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस बी सुदर्शन रेड्डी को अपना उम्मीदवार बनाया है.- भारत की रेयर अर्थ एलिमेंट्स की जरूरत पर ध्यान देगा चीन: सूत्र- इस्राएल-मिस्र के बीच 35 अरब डॉलर का ऐतिहासिक गैस समझौता- हमास ने इस्राएल के साथ युद्ध विराम और बंधकों की रिहाई के प्रस्ताव को स्वीकार किया- राहुल गांधी ने कहा, मौजूदा चुनाव आयुक्तों के खिलाफ कार्रवाई करेंगेमहत्वपूर्ण खनिजों का उत्पादन बढ़ाने के लिए संसद में पास हुआ विधेयकमंगलवार, 19 अगस्त को राज्यसभा में खान और खनिज (विकास और विनियमन) संशोधन विधेयक, 2025 पास हुआ.यह बिल लोकसभा में पिछले हफ्ते ही पास हो चुका है.इस बिल का उद्देश्य खनिजों के संरक्षण और जीरो वेस्ट माइनिंग को बढ़ावा देना और नेशनल क्रिटिकल मिनरल मिशन के उद्देश्यों का समर्थन करना है.केंद्रीय कोयला एवं खान मंत्री जी किशन रेड्डी ने संसद में कहा कि सरकार ने 24 महत्वपूर्ण खनिजों की पहचान की है, जिनका इस्तेमाल ऑटोमोटिव पुर्जों, मशीनों, इलेक्ट्रिक गाड़ियों, बैटरियों और अंतरिक्ष समेत कई क्षेत्रों में होता है.उन्होंने कहा कि दुनियाभर में महत्वपूर्ण खनिजों की मांग बढ़ रही है और सरकार इनका घरेलू उत्पादन बढ़ाना चाहती है, ताकि इनके आयात पर निर्भरता कम हो सके.अधिकारियों ने कहा कि देश के विकास में महत्वपूर्ण और रणनीतिक खनिजों का महत्व लगातार बढ़ रहा है और हाल के वैश्विक भू-राजनीतिक घटनाक्रमों ने इन खनिजों की आपूर्ति श्रृंखलाओं को सीमित कर दिया है.ऐसे में केंद्र सरकार ने महत्वपूर्ण खनिज क्षेत्र में आत्मनिर्भरता हासिल करने के लिए एक मजबूत ढांचा स्थापित करने के उद्देश्य से 2025 में राष्ट्रीय महत्वपूर्ण खनिज मिशन (एनसीएमएम) शुरू किया है.गाजा के लिए 1,200 टन खाने का सामान लेकर जहाज अशदोद बंदरगाह पहुंचागाजा पट्टी में बिगड़ते मानवीय हालात और भुखमरी के खतरे के बीच मंगलवार को 1,200 टन खाद्य सामग्री से लदा एक जहाज इस्राएल के अशदोद बंदरगाह पर पहुंचा.यह सहायता गाजा के लोगों तक राहत पहुंचाने की कोशिशों का हिस्सा है.इस जहाज पर पनामा का झंडा लगा है.रवाना होने से पहले इसे साइप्रस के लिमासोल बंदरगाह पर इस्राएली अधिकारियों ने जांचा.जहाज में पास्ता, चावल, बच्चों का खाना और डिब्बाबंद सामान जैसे खाद्य पदार्थ शामिल हैं.कुल मदद में से करीब 700 टन सामान साइप्रस से भेजा गया है, जिसे संयुक्त अरब अमीरात के सहयोग से बने अमलथीया फंड से खरीदा गया.यह फंड पिछले साल समंदर के जरिए राहत भेजने के लिए बनाया गया था.बाकी सामग्री इटली, माल्टा सरकार, माल्टा के एक कैथोलिक धार्मिक संगठन और कुवैत की गैर-सरकारी संस्था "अल सलाम एसोसिएशन" की ओर से भेजी गई है.भारत की रेयर अर्थ एलिमेंट्स की जरूरत पर ध्यान देगा चीन: सूत्रभारत और चीन के सुधरते रिश्तों के बीच बीजिंग ने वादा किया है कि वह भारत की रेयर अर्थ एलिमेंट्स की जरूरत पर ध्यान देगा.एक उच्च भारतीय अधिकारी और एक सूत्र ने मंगलवार को न्यूज एजेंसी रॉयटर्स को यह जानकारी दी.चीनी विदेश मंत्री वांग यी फिलहाल भारत यात्रा पर हैं और उन्होंने भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ कई मुद्दों पर बातचीत की है.रॉयटर्स के सूत्र के मुताबिक, चीन ने भारत की तीन अहम चिंताओं पर ध्यान देने की बात कही है.सूत्र के मुताबिक, वांग ने जयशंकर को भरोसा दिलाया है कि बीजिंग भारत की खाद, रेयर अर्थ और टनल बोरिंग मशीन की जरूरतों पर ध्यान दे रहा है.हालांकि, रेयर अर्थ के मामले में अभी यह स्पष्ट नहीं है कि क्या चीन निर्यात लाइसेंस तेजी से देने पर राजी हुआ है या भारत को व्यापक छूट देने पर सहमति बनी है.ईयू पर दक्षिणपंथी नेताओं ने इस्लाम और इस्लामोफोबिया पर रिसर्च फंडिंग पर उठाए सवालयूरोपीय आयोग ने इस्लाम और इस्लामोफोबिया से जुड़ी रिसर्च परियोजनाओं पर खर्च किए गए फंड को लेकर उठ रहे विवाद पर प्रतिक्रिया दी है.पिछले कुछ सालों में यूरोपीय संघ ने रिसर्च फंड का उपयोग कुरान, शरीयत, इस्लाम और इस्लामोफोबिया जैसे विषयों पर शोध के लिए किया है.इस पर दक्षिणपंथी दलों ने सवाल खड़े किए.विवाद तब शुरू हुआ जब इटली की धुर दक्षिणपंथी सांसद सिल्विया सरदोने ने इन परियोजनाओं को "संदेहास्पद उपयोगिता वाले अध्ययन" बताते हुए कहा कि ये केवल इस्लाम पर केंद्रित हैं.उन्होंने आयोग से पूछा कि आखिर पब्लिक फंड का इस्तेमाल इस तरह क्यों किया जा रहा है.फ्रांस के दक्षिणपंथी सांसद ज्यां-पॉल गरॉ ने भी इसी तरह की आपत्ति जताई.दोनों नेताओं का कहना था कि ये प्रोजेक्ट इस्लाम को बढ़ावा देते हैं और यूरोप में इस्लामोफोबिया को बढ़ा-चढ़ाकर दिखाते हैं, जैसा है नहीं.हालांकि, सोमवार को जारी जवाब में ईयू की शोध आयुक्त एकतेरिना यहारिएवा ने स्पष्ट किया कि ये सभी प्रोजेक्ट यूरोपीय रिसर्च काउंसिल यानी ईआरसी द्वारा फंड किए गए हैं और इन्हें "विश्व-स्तरीय अकादमिक शोध" माना जाता है, जो ज्ञान के नए आयाम खोलते हैं. इस्राएल-मिस्र के बीच 35 अरब डॉलर का ऐतिहासिक गैस समझौतायूरो न्यूज के अनुसार, इस्राएल सरकार जल्द ही मिस्र के साथ अब तक का सबसे बड़ा गैस समझौता करने जा रही है.इस समझौते के तहत इस्राएल अपने सबसे बड़े गैस क्षेत्र लेवायथन से 22 फीसदी और देश के कुल प्राकृतिक गैस उत्पादन का 13 फीसदी हिस्सा काहिरा को सप्लाई करेगा.यह सप्लाई कई सालों तक चलेगी.इस समझौते पर दो साल की देरी के बाद अगले दो हफ्तों में हस्ताक्षर होने की उम्मीद है.न्यू एनर्जी, जो लेवायथन क्षेत्र की साझेदार कंपनी है, उसने इसे इस्राएल के इतिहास का "सबसे बड़ा समझौता" बताया.कंपनी के अनुसार, इस डील से 2028 तक इस्राएल का गैस निर्यात तीन गुना हो जाएगा.समझौते के तहत मिस्र 2040 तक इस्राएल से 130 अरब घन मीटर गैस खरीदेगा.इसकी कीमत लगभग 35 अरब डॉलर बताई जा रही है.यह प्रोजेक्ट 2019 में इस्राएली राष्ट्रपति बेन्यामिन नेतन्याहू और मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतेह अल-सीसी के बीच हुए पुराने समझौते का एक संस्करण है.जीएसटी घटने पर आठ फीसदी तक सस्ती हो सकती हैं छोटी कारें: रिपोर्टएचएसबीसी बैंक की एक रिपोर्ट के मुताबिक, अगर सरकार मौजूदा जीएसटी रेट को 28 फीसदी से घटाकर 18 फीसदी कर देती है, तो भारत में छोटी कारों की कीमतों में लगभग आठ फीसदी की कमी आ सकती है.रिपोर्ट के मुताबिक, इससे बड़ी कारों की कीमतों में तीन से पांच फीसदी की कमी आ सकती है.रिपोर्ट में बताया गया है कि भारत में फिलहाल यात्री वाहनों पर 29 से 50 फीसदी तक टैक्स लगता है.इसमें से 28 फीसदी जीएसटी होता है और बाकी सेस होता है, जो गाड़ी की लंबाई और आकार के हिसाब से लगाया जाता है.छोटी गाड़ियों पर कम सेस और बड़ी गाड़ियों पर अधिक सेस.नए बदलाव के तहत, सरकार छोटी कारों पर जीएसटी को 28 फीसदी से घटाकर 18 फीसदी करने पर विचार कर रही है.इसके अलावा, बड़ी गाड़ियों के लिए 40 फीसदी की "विशेष दर" शुरू की जा सकती है और सेस को हटाया जा सकता है.रिपोर्ट के मुताबिक, जीएसटी दर के घटने से दोपहिया निर्माताओं को भी फायदा होगा.जर्मनी और जापान साथ मिलकर करेंगे चीन का सामनाजर्मनी के विदेश मंत्री योहान वाडेफुल ने जापान की पहली औपचारिक यात्रा की शुरुआत में दोनों देशों की गहरी दोस्ती और साझेदारी पर जोर दिया.उन्होंने जापान को एशिया में बर्लिन का "प्रीमियम पार्टनर" बताते हुए कहा कि टोक्यो और बर्लिन के बीच लंबे समय से घनिष्ठ और भरोसेमंद संबंध रहे हैं.वाडेफुल ने जापानी विदेश मंत्री ताकेशी इवाया के साथ बयान में कहा कि लोकतंत्र और कानून के शासन पर भरोसा दोनों देशों की एक समान मूल्य व्यवस्था है, जो मौजूदा संकट और संघर्ष के दौर में और भी अहम हो जाती है.वाडेफुल ने चीन को एशिया में लोकतंत्र और कानून के शासन के लिए खतरे का स्रोत बताया.उन्होंने इस पर स्पष्ट रूप से बात की और चीन की बार-बार आने वाली धमकियों की कड़ी निंदा की.वेडफुल ने कहा, "चीन बार-बार, कमोबेश खुले तौर पर, यथास्थिति को एकतरफा बदलने और सीमाओं को अपने पक्ष में करने की धमकी देता है"उन्होंने यूक्रेन, गाजा और ईरान का जिक्र करते हुए कहा कि ऐसे हालाता में "मित्र देशों और स्वाभाविक सहयोगियों के बीच नजदीकी साझेदारी पहले से कहीं ज्यादा जरूरी हो गई है" जापान के विदेश मंत्री ने भी इस बात पर बल दिया कि जी-7 देशों के सदस्य होने के नाते यूरोप और एशिया की इन दो बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के बीच मजबूत तालमेल अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था को खतरों से निपटने के लिए तैयार करेगा.इंडिया गठबंधन ने उपराष्ट्रपति चुनाव को बताया वैचारिक लड़ाईविपक्षी इंडिया गठबंधन ने मंगलवार, 19 अगस्त को आगामी उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए अपने प्रत्याशी की घोषणा कर दी.इंडिया गठबंधन ने सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस बी सुदर्शन रेड्डी को अपना उम्मीदवार बनाया है.कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने गठबंधन की बैठक के बाद इसकी घोषणा की.उन्होंने बताया कि नामांकन 21 अगस्त को किया जाएगा, जो नामांकन की आखिरी तारीख भी है.तृणमूल कांग्रेस के सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि आम आदमी पार्टी (आप) सहित सभी विपक्षी पार्टियां इस उम्मीदवारी को लेकर एकमत हैं.खड़गे ने उपराष्ट्रपति चुनाव को एक वैचारिक लड़ाई बताया और जस्टिस रेड्डी की उम्मीदवारी का समर्थन करने के लिए एकजुट विपक्ष का आभार जताया है.खड़गे ने कहा कि बी सुदर्शन रेड्डी भारत के सबसे प्रतिष्ठित और प्रगतिशील न्यायविदों में से एक हैं.न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, जस्टिस रेड्डी का जन्म 8 जुलाई, 1946 को हुआ था. वे 1971 में आंध्र प्रदेश बार काउंसिल में वकील के रूप में पंजीकृत हुए थे.वकालत में अपनी छाप छोड़ने के बाद, 1995 में उन्हें आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट का स्थायी जज बनाया गया.2005 में वे गुवाहटी हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस बने और 2008 में उन्हें सुप्रीम कोर्ट का जज नियुक्त किया गया.वे जुलाई, 2011 में रिटायर होने तक इस पद पर बने रहे.यूरोप में बढ़ती हीटवेव के चलते ऊर्जा संसाधनों पर दबाव बढ़ाइस साल गर्मियों में यूरोप एक बार फिर तेज और लगातार पड़ रही हीटवेव की चपेट में है.सिर्फ इसी हफ्ते दक्षिण-पश्चिम फ्रांस, क्रोएशिया और हंगरी में रिकॉर्ड तोड़ गर्मी पड़ी है.कुछ जगहों पर पारा 40 डिग्री सेल्सियस से ऊपर चला गया.इसके चलते लोगों की ऊर्जा मांग बढ़ गई है और इससे यूरोप के ऊर्जा संसाधनों पर गंभीर प्रभाव पड़ रहा है.वैज्ञानिकों का कहना है कि जलवायु परिवर्तन के कारण हीटवेव अब ज्यादा बार और ज्यादा तीव्र हो रही हैं.इसकी वजह से लोग ठंडक के लिए ज्यादा बिजली इस्तेमाल कर रहे हैं.अब इससे बिजली उत्पादन भी प्रभावित हो रहा है, खासकर वे थर्मल प्लांट जो नदियों के पानी से ठंडे होते हैं.विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि हीटवेव यूरोप की बिजली व्यवस्था पर भारी दबाव डाल रही हैं.उनका कहना है कि ऊर्जा प्रणाली को तुरंत बदला जाना चाहिए—ज्यादा लचीला बनाया जाना चाहिए और नवीकरणीय ऊर्जा (जैसे सौर और पवन) पर जोर दिया जाए ताकि प्रदूषण फैलाने वाले ईंधन पर निर्भरता कम हो.सरकारों के सामने यह चुनौती भी है कि वे हीटवेव से निपटें, लेकिन इस दौरान ना तो बिजली की कटौती हो और ना ही प्रदूषण बढे.एशिया कप के लिए टीम घोषित, शुभमन गिल बने उप-कप्तानभारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने आगामी एशिया कप 2025 के लिए भारतीय टीम की घोषणा कर दी है.इस टूर्नामेंट में सूर्य कुमार यादव भारतीय टीम की कप्तानी करेंगे और शुभमन गिल उप-कप्तान होंगे.इस साल एशिया कप 20-20 फॉर्मेट में खेला जाना है.एशिया कप की शुरुआत 9 सितंबर को होगी और फाइनल मुकाबला 28 सितंबर को खेला जाएगा.टीम में शामिल किए गए खिलाड़ी:सूर्य कुमार यादव (कप्तान), शुभमन गिल (उप-कप्तान), अभिषेक शर्मा, तिलक वर्मा, हार्दिक पंड्या, शिवम दुबे, अक्षर पटेल, जितेश शर्मा (विकेटकीपर), जसप्रीत बुमराह, अर्शदीप सिंह, वरुण चक्रवर्ती, कुलदीप यादव, संजू सैमसन (विकेटकीपर), हर्षित राणा और रिंकू सिंह.नॉर्वे: क्राउन के बेटे पर बलात्कार सहित 32 मामलों में मुकदमा दायरनॉर्वे के अभियोजकों ने सोमवार को घोषणा की कि उन्होंने लंबी जांच के बाद क्राउन प्रिंसेस मेत्ते-मारे के सबसे बड़े बेटे मारियुस बोर्ग होइबी पर करीब 32 गंभीर आरोपों में मुकदमा दायर किया है.नॉर्वे मीडिया के अनुसार, ओस्लो के सरकारी वकील स्टुर्ला हेनरिक्सबो ने कहा है कि अगर होइबी दोषी पाए जाते हैं, तो उन्हें 10 साल तक की जेल हो सकती है.होइबी पर लगभग तीन दर्जन आरोप लगाए गए हैं, जिनमें बलात्कार और दुर्व्यवहार के कई मामले शामिल हैं.उन पर अपनी एक्स के साथ हिंसा, जान से मारने की धमकी और यातायात नियमों के उल्लंघन सहित अन्य अपराधों के भी आरोप लगाए गए हैं.होइबी के पास कोई शाही उपाधि या आधिकारिक कर्तव्य नहीं है और पिछले साल कई गिरफ्तारियों और गलत कामों के आरोपों के बाद से उन पर नॉर्वे में ही कई उंगलियां उठाई जा रही हैं.इटली का ग्लेशियर इतना पिघला कि अब उसे मापना भी दूभर हो गयाइटली का वेंटिना ग्लेशियर जलवायु परिवर्तन के कारण इतनी तेजी से पिघल रहा है कि भूविज्ञानी अब उसे उस तरीके से नहीं माप पा रहे हैं जैसा पिछले 130 सालों से करते आ रहे थे.यह ग्लेशियर उत्तरी लॉम्बर्डी के सबसे बड़े ग्लेशियरों में से एक है.इस साल गर्मी के मौसम के बाद जब वैज्ञानिक वहां पहुंचे, तो उन्होंने देखा कि ग्लेशियर की हर साल पीछे हटने की रफ्तार को मापने के लिए लगाए गए साधारण खूंटे अब भूस्खलन और मलबे के नीचे दब गए हैं.इलाके की जमीन भी इतनी अस्थिर हो चुकी है कि अब वहां जाकर माप लेना मुश्किल हो गया है.लॉम्बर्डी ग्लेशियोलॉजिकल सर्विस ने सोमवार को बताया कि अब ग्लेशियर की स्थिति पर नजर रखने के लिए ड्रोन इमेजरी और रिमोट सेंसिंग का इस्तेमाल किया जाएगा.वैज्ञानिकों के अनुसार, 1895 में जब पहली बार मापने के लिए खूंटे लगाए गए थे, तब से अब तक वेंटिना ग्लेशियर की लंबाई 1.7 किलोमीटर कम हो चुकी है. जलवायु परिवर्तन के कारण पिछले कुछ वर्षों में ग्लेशियरों के पिघलने की रफ्तार और बढ़ गई है.केवल पिछले 10 सालों में ही ग्लेशियर 431 मीटर पीछे जा चुका है.यह यूरोप के ग्लेशियरों पर बढ़ते वैश्विक तापमान के असर का एक और उदाहरण है, जो पर्यावरण और इंसानी जीवन पर गहरा प्रभाव डाल रहा है.हमास ने इस्राएल के साथ युद्ध विराम और बंधकों की रिहाई के प्रस्ताव को स्वीकार कियाहमास ने इस्राएल के साथ 60 दिन के संघर्षविराम (सीजफायर) के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.इस समझौते में गाजा में बंदी बनाए गए आधे बंधकों को छोड़ना और इसके बदले इस्राएल द्वारा कुछ फलीस्तीनी कैदियों को रिहा करना शामिल है.यह जानकारी समाचार एजेंसी रॉयटर्स के हवाले से आ रही है, जिसे कथित तौर पर सोमवार को मिस्र के एक अधिकारी ने यह बात बताई.हमास के वरिष्ठ नेता बासेम नईम ने भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक पर इस फैसले की पुष्टि की.हमास ने कहा कि अन्य फलीस्तीनी गुटों ने भी मध्यस्थों को अपनी सहमति दे दी है.फिलहाल इस्राएल ने इस पर कोई औपचारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है, लेकिन एक अधिकारी ने पुष्टि की है कि प्रस्ताव उन्हें मिला है.इस बातचीत में मिस्र, कतर और साथ ही अमेरिका भी मध्यस्थ की भूमिका निभा रहे हैं.रॉयटर्स के अनुसार, इस्राएल की गाजा सिटी पर कब्जे की योजना ने विदेशों और इस्राएल के भीतर भी चिंता बढ़ा दी है.रविवार को इस्राएल में हजारों लोगों ने युद्ध शुरू होने के बाद की सबसे बड़ी रैलियों में से एक रैली निकाली और मांग की कि लड़ाई खत्म हो और गाजा में बचे हुए 50 बंधकों को भी छुड़वाया जाए.अधिकारियों का मानना है कि उनमें से लगभग 20 अभी जिंदा हैं.इस बीच, गाजा सिटी के पूर्वी इलाकों में रहने वाले हजारों फलीस्तीनी लगातार हो रही इस्राएली कार्रवाई से अपने घर छोड़कर पश्चिम और दक्षिण की ओर भाग रहे हैं.ओपनएआई ने भारत के लिए पेश किया चैटजीपीटी का सबसे सस्ता प्लानओपनएआई ने मंगलवार को भारतीय यूजर्स के लिए "चैटजीपीटी गो" लॉन्च किया.इसके सब्सक्रिप्शन के लिए हर महीने 399 रुपये चुकाने होंगे.न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, यह चैटजीपीटीका अब तक का सबसे सस्ता प्लान है.भारत ओपनएआई के लिए दूसरा सबसे बड़ा बाजार है इसलिए यहां अपनी पहुंच बढ़ाने के लिए कंपनी ने यह कदम उठाया है.इस प्लान के तहत यूजर्स फ्री वर्जन की तुलना में दस गुना अधिक मैसेज भेज सकेंगे और दस गुना अधिक तस्वीरें बनवा सकेंगे.इसके अलावा, चैटजीपीटी के जवाब देने का समय भी कम होगा.एआई कंपनी ने अपने बयान में कहा कि "चैटजीपीटी गो" उन भारतीयों के लिए बनाया गया है जो अधिक किफायती मूल्य पर चैटजीपीटी की उन्नत क्षमताओं तक बेहतर पहुंच चाहते हैं.चैटजीपीटी के सबसे उन्नत वर्जन- "चैटजीपीटी प्रो" के लिए भारत में हर महीने 19,900 रुपये देने होते हैं.वहीं, चैटजीपीटी प्लस के लिए हर महीने 1,999 रुपये चुकाने होते हैं.ऐसे में इस सस्ते प्लान के जरिए चैटजीपीटी ऐसे भारतीय यूजर्स की संख्या बढ़ाना चाहता है, जो उसे भुगतान करते हैं.राहुल गांधी ने कहा, मौजूदा चुनाव आयुक्तों के खिलाफ कार्रवाई करेंगेकांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी बिहार में "वोट चोरी" के मुद्दे पर वोट अधिकार यात्रा निकाल रहे हैं.मंगलवार, 19 अगस्त को उनकी यात्रा का तीसरा दिन है.आरजेडी नेता तेजस्वी यादव भी इस यात्रा में राहुल गांधी का साथ दे रहे हैं.यात्रा के दूसरे दिन राहुल ने कथित वोट चोरी के मुद्दे पर चुनाव आयोग को सीधी चेतावनी दी.उन्होंने बिहार के गया जिले में लोगों को संबोधित करते हुए कहा, "एक दिन ऐसा आएगा, जब बिहार में और दिल्ली में इंडिया गठबंधन की सरकार होगी, फिर हम आप तीनों (मौजूदा चुनाव आयुक्तों) के खिलाफ कार्रवाई करेंगे…चुनाव आयुक्त, आप अच्छी तरह समझ लीजिए, अगर आपने अपना काम नहीं किया तो आप पर सख्त कार्रवाई होने जा रही है"राहुल ने कहा कि चोरी चुनाव आयोग की पकड़ी गई है और वे हलफनामा मुझसे मांग रहे हैं.उन्होंने चुनाव आयोग से कहा, "थोड़ा सा समय दे दो.हर राज्य में, हर विधानसभा में, हर लोकसभा में हम आपकी चोरी पकड़कर देश को दिखाने जा रहे हैं" राहुल ने कहा कि बिहार में एसआईआर के जरिए वोट चोरी की कोशिश की जा रही है लेकिन बिहार की जनता ऐसा नहीं होने देगी.
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